अस्थायी शिक्षकों के मानदेय में अब नहीं होगी देरी, शिक्षा विभाग साल के लिए तैयार कर रहा मानदेय का पूरा बजट
Himachal Education Department राज्य के सरकारी स्कूलों में अस्थायी शिक्षकों के मानदेय में अब देरी नहीं होगी। शिक्षा विभाग हर महीने की 7 तारीख से पहले ही शिक्षकों के वेतन का भुगतान कर देगा। इसके लिए शिक्षा विभाग ने प्रक्रिया शुरू कर दी है।
शिमला, जागरण संवाददाता। राज्य के सरकारी स्कूलों में अस्थायी शिक्षकों के मानदेय में अब देरी नहीं होगी। शिक्षा विभाग हर महीने की 7 तारीख से पहले ही शिक्षकों के वेतन का भुगतान कर देगा। इसके लिए शिक्षा विभाग ने प्रक्रिया शुरू कर दी है। शिक्षा विभाग ने सभी जिलों के उपनिदेशकों से अस्थायी शिक्षकों का रिकाॅर्ड मांगा है। इसमें पूछा गया है कि कितने शिक्षक ऐसे हैं जो एसएमसी के तहत नियुक्त हैं, कितने पीटीए, या किसी अन्य एजेंसी के तहत नियुक्त हैं। इनके वेतन पर हर महीने कितना खर्चा आता है। वित्तीय वर्ष 2020-21 की कोई देनदारी लंबित तो नहीं है।
वित्तीय वर्ष 2021-22 में इनके वेतन सहित अन्य मदाें पर कुल कितना बजट खर्च होगा। इसका पूरा रिकाॅर्ड एक सप्ताह के भीतर शिक्षा निदेशालय को एक सप्ताह के भीतर भेजे। सभी जिलों के उपनिदेशकों को एक परफॉर्मा भी भेजा गया है। जिस पर यह सारा रिकाॅर्ड भेजने को कहा गया है।
कई बार दो महीने बाद भी आता है वेतन
शिक्षा विभाग में 2555 एसएमसी, 1326 के करीब कंप्यूटर शिक्षकों के अलावा लेफ्टआउट पीटीए व अन्य श्रेणियों के शिक्षक कार्यरत हैं। इनका बजट अलग अलग हेड से जारी किया जाता है। शिक्षा विभाग हर महीने सरकार को इसका प्रस्ताव भेजता है। बजट अप्रूव होने के बाद ही शिक्षकों के वेतन की अदायगी होती है। हाल ही में मुख्यमंत्री ने सभी विभागों को निर्देश दिए थे कि 7 तारीख से पहले अस्थायी व आउटसोर्स कर्मचारियों के वेतन की अदायगी करें। इसमें सामने आया था कि विभागीय खामियों की वजह से ही इसमें देरी होती है। जिसके चलते अब इस नई व्यवस्था को बनाया गया है। निदेशक उच्चतर शिक्षा डॉ. अमरजीत शर्मा ने कहा कि सभी जिलों के उप शिक्षा निदेशकों को सर्कुलर जारी कर रिकाॅर्ड मांगा गया है। इसके बाद इस मामले में आगामी कार्रवाई की जाएगी।