सुधर नहीं रही राशन वितरण प्रणाली, डिपो होल्डरों पर मेहरबान अधिकारी, समिति सदस्यों पर शिकायतों की भरमार
सस्ते अनाज के डिपो पर राशन वितरण गड़बड़ा गई है। काफी समय से लोगों को राशन महीने के आखिर दो-तीन दिनों में ही डिपो होल्डरों द्वारा बांटा जा रहा है। इससे काफी लोग राशन से वंचित रह जाते हैं। डीएफएससी समेत पूरा प्रशासन इस प्रणाली को सुधारने में विफल रहा है। यह मामला शुक्रवार को जिला सचिवालय में कष्ट निवारण समिति की बैठक में रोजगार विभाग के कमिश्नर एवं सचिव नितिन यादव के समक्ष भी उठा। कमिश्नर ने इसके लिए डीएफएससी को भविष्य के लिए वितरण प्रणाली में सुधार करने के आदेश दिए।
जागरण संवाददाता, यमुनानगर :
सस्ते अनाज के डिपो पर राशन वितरण गड़बड़ा गई है। काफी समय से लोगों को राशन महीने के आखिर दो-तीन दिनों में ही डिपो होल्डरों द्वारा बांटा जा रहा है। इससे काफी लोग राशन से वंचित रह जाते हैं। डीएफएससी समेत पूरा प्रशासन इस प्रणाली को सुधारने में विफल रहा है। यह मामला शुक्रवार को जिला सचिवालय में कष्ट निवारण समिति की बैठक में रोजगार विभाग के कमिश्नर एवं सचिव नितिन यादव के समक्ष भी उठा। कमिश्नर ने इसके लिए डीएफएससी को भविष्य के लिए वितरण प्रणाली में सुधार करने के आदेश दिए। जानबूझ आखिरी दिनों में बांटते हैं राशन :
विभागीय नियमानुसार तो हर महीने की एक तारीख को बंटना शुरू हो जाना चाहिए। परंतु ऐसा नहीं होता। डिपो पर राशन ही महीने की 15 तारीख के बाद पहुंचता है। कई दिन तक यह डिपो पर ही पड़ा रहता है। लोग राशन लेने जाते हैं तो उन्हें एक जवाब दिया जाता है कि राशन की डिटेल अभी मशीन में अपडेट नहीं हुई है। जब महीने के आखिरी तीन दिन रह जाते हैं तब राशन बांटना शुरू होता है। इसमें से भी कई लोग बाहर होते हैं या डिपो बंद हो गया व अन्य कारणों से लोग राशन नहीं ले पाते। जिला में करीब 600 डिपो हैं जिनसे लोगों को राशन दिया जाता है। जिला में करीब 188257 राशन कार्ड धारक हैं। जिनमें एपीएल 42602, एएवाई 9678, ओपीएच 80909, सीबीपीएल 32903, एसबीपीएल 22165 राशन कार्ड धारक हैं। लोगों का राशन हड़पा और बहाल कर दी सप्लाई :
डीएफएससी भी डिपो होल्डरों पर पूरे मेहरबान हैं। खंड प्रतापनगर के लाकड़मय प्रतापपुर के डिपो होल्डर के खिलाफ लोगों ने राशन नहीं दिए जाने की शिकायत दी थी। आरोप था कि डिपो होल्डर महीने के आखिरी दिन राशन बांटता है। एएफएसओ विरेंद्र कुमार की जांच में आरोप सही पाए गए। विभाग ने डिपो होल्डर की सप्लाई बंद कर दी और पांच हजार रुपये जुर्माना लगा दिया। रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि डिपो होल्डर व्यक्तिगत सुनवाई के दौरान अपनी स्थिति को स्पष्ट नहीं कर सका। फिर भी डीएफएससी ने डिपो होल्डर को भविष्य में सतर्क रहने की बात कहकर उसकी सप्लाई को बहाल कर दिया। फोटो : 18
लोगों को कहते हैं राशन नहीं आया : पवन बिट्टू
जिला कष्ट निवारण समिति सदस्य पवन बिट्टू का कहना है कि कहने को तो डिपो पर राशन बायोमीट्रिक मशीन से दिया जा रहा है। एक आदमी अंगूठा लगाकर राशन लेता है। परंतु डिपा होल्डर कभी उसके हिस्से का सरसों का तेल रख लेते हैं तो कभी चीनी। लोग कम राशन के बारे में पूछते हैं तो उन्हें कह दिया जाता है कि सरकार ने राशन नहीं भेजा। अंगूठा स्कैन करने के बाद भी इस बात का कोई सबूत नहीं है कि कार्ड धारक को कितना राशन दिया गया। ऐसी बहुत शिकायतें लोग उनके पास लेकर आ रहे हैं। फोटो : 17
इंस्पेक्टर पर केस दर्ज होना चाहिए : दाता राम
जिला कष्ट निवारण समिति सदस्य दाता राम का कहना है लगभग सभी डिपो होल्डर लोगों को राशन देने के नाम पर परेशान कर रहे हैं। महीने की आखिरी दिनों में राशन बांटने से काफी लोग इससे वंचित रह जाते हैं। आखिरी तारीख को रात 12 बजे के बाद मशीन किसी का अंगूठा स्कैन नहीं करती, जिस कारण किसी को राशन नहीं मिल पाता। डिपो पर देरी से राशन बंटने के लिए खाद्य एवं आपूर्ति विभाग के इंस्पेक्टर जिम्मेदार हैं। इसलिए इंस्पेक्टर पर ही केस दर्ज होना चाहिए, ताकि वितरण में सुधार हो सके। फोटो: 21
बोर्ड पर लिखना होगा कब राशन आया : गिरीश अरोड़ा
डीसी गिरीश अरोड़ा का कहना है कि यह मामला कष्ट निवारण समिति की बैठक में भी उठा था। जिसमें डीएफएससी से कहा गया है कि वह सभी डिपो होल्डर के बाहर बोर्ड लगवाएं। जिस पर लिखा हो कि कब राशन आया, कब राशन बंटेगा और उनके पास कितना स्टाक बचा है। यदि किसी को राशन नहीं मिलता तो वह शिकायत कर सकता है।