बिजली का तार टूटने से रेल यातायात बाधित, घंटों खड़ी रही जनशताब्दी व गंगानगर एक्सप्रेस
चांदपुर के पास रेलवे की ओएचसी तार टूटने से रेल यातायात घंटो बाधित रहा। रविवार शाम अमृतसर जा रही जनशताब्दी (12053) चांदपुर फाटक के पास ही खड़ी हो गई। इसके अलावा हरिद्वार-श्रीगंगानगर एक्सप्रेस (14711)भी घंटो रेलवे स्टेशन यमुनानगर-जगाधरी पर खड़ी रही। देर रात जगाधरी वर्कशाप से डीजल इंजन को मंगवा कर जनशताब्दी को गंतव्य के लिए रवाना करने की तैयारी हो रही थी।
जागरण संवाददाता, यमुनानगर : चांदपुर के पास रेलवे की ओएचसी तार टूटने से रेल यातायात घंटो बाधित रहा। रविवार शाम अमृतसर जा रही जनशताब्दी (12053) चांदपुर फाटक के पास ही खड़ी हो गई। इसके अलावा हरिद्वार-श्रीगंगानगर एक्सप्रेस (14711)भी घंटो रेलवे स्टेशन यमुनानगर-जगाधरी पर खड़ी रही। देर रात जगाधरी वर्कशाप से डीजल इंजन को मंगवा कर जनशताब्दी को गंतव्य के लिए रवाना करने की तैयारी हो रही थी।
जनशताब्दी एक्सप्रेस रविवार शाम अमृतसर जा रही थी। करीब 4 बजकर 50 मिनट पर ट्रेन जैसे ही चांदपुर फाटक के पास पहुंची तो ट्रेन अचानक रूक गई। ट्रेन अचानक रूकने से इसमें बैठे यात्री हैरान रह गए। जांच में पता चला कि आगे रेलवे की ओएचसी तार टूटी हुई थी। इसकी सूचना तुरंत रेलवे स्टेशन यमुनानगर-जगाधरी के एसएस सुनील कुमार जोशी को दी गई। इसकी सूचना अन्य स्टेशनों पर भी दी गई। एसके जोशी तुरंत मौके पर पहुंची। तार को जोड़ने के लिए अंबाला व सहारनपुर से मेकेनिकल स्टाफ को बुलाया गया। समाचार लिखे जाने तक स्टाफ मौके पर नहीं पहुंचा था। स्टेशन मास्टर ने जगाधरी वर्कशाप से डीजल इंजन को मंगवाया जिसकी मदद से ट्रेन को आगे रवाना किया गया। घंटो परेशान रहे यात्री :
जब जनशताब्दी रूकी तो पीछे से हरिद्वार-श्रीगंगानगर ट्रेन भी पहुंच गई। आगे रास्ता न होने के कारण इस ट्रेन को यमुनानगर स्टेशन पर ही रोक दिया गया। दोनों ट्रेन घंटो लाइन व स्टेशन पर खड़ी रहने से दोनों ट्रेनों में सवार हजारों यात्री परेशान रहे। दोनों ही ट्रेन धार्मिक स्थलों को जाती है जिनमें काफी संख्या में श्रद्धालु सवार होते हैं। इसके अलावा ये ट्रेन पंजाब, हरियाणा समेत अन्य राज्यों के कई शहरों को आपस में जोड़ती हैं। ट्रेन के नहीं चलने के कारण कई यात्री तो स्टेशन से ही वापस लौट गए। डीजल इंजन मंगवाया है : जोशी
एसएस सुनील कुमार जोशी ने बताया कि जगाधरी वर्कशाप से डीजल इंजन मंगवाया है। जिसकी मदद से जनशताब्दी को रवाना किया जाएगा। इसके बाद टूटी तार को ठीक किया जाएगा। कई ट्रेनों का दूसरे स्टेशनों पर ठहराव किया गया है।