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कोरोना काल में प्रॉपर्टी टैक्स की छलांग, रिकवरी में टूटा रिकार्ड

कोरोना के बावजूद नगर निगम में प्रॉपर्टी टैक्स की रिकार्ड रिकवरी हुई है। वित्तीय वर्ष में 15 करोड़ रुपये जमा हुए। यह गत चार वर्षों में सबसे ज्यादा है। इसको लेकर निगम अधिकारी काफी उत्साहित हैं। टैक्स जमा करवाने वालों में शहरवासियों ने जागरूकता दिखाई है जबकि सरकारी कार्यालयों पर पेंडिग टैक्स भरने के लिए अधिकारी आगे नहीं आए हैं। वर्ष 2021-22 में 48 करोड़ रुपये प्रॉपर्टी टैक्स जुटाने का लक्ष्य रखा है।

By JagranEdited By: Published: Sun, 02 May 2021 09:30 AM (IST)Updated: Sun, 02 May 2021 09:30 AM (IST)
कोरोना काल में प्रॉपर्टी टैक्स की छलांग, रिकवरी में टूटा रिकार्ड
कोरोना काल में प्रॉपर्टी टैक्स की छलांग, रिकवरी में टूटा रिकार्ड

संजीव कांबोज, यमुनानगर : कोरोना के बावजूद नगर निगम में प्रॉपर्टी टैक्स की रिकार्ड रिकवरी हुई है। वित्तीय वर्ष में 15 करोड़ रुपये जमा हुए। यह गत चार वर्षों में सबसे ज्यादा है। इसको लेकर निगम अधिकारी काफी उत्साहित हैं। टैक्स जमा करवाने वालों में शहरवासियों ने जागरूकता दिखाई है, जबकि सरकारी कार्यालयों पर पेंडिग टैक्स भरने के लिए अधिकारी आगे नहीं आए हैं। वर्ष 2021-22 में 48 करोड़ रुपये प्रॉपर्टी टैक्स जुटाने का लक्ष्य रखा है। इनसेट

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कब कितनी हुई रिकवरी

वर्ष रिकवरी

2016-17 19 करोड़ 21 लाख

-2017-18 आठ करोड़ 98 लाख

2018-19 14 करोड़ 53 लाख

2019-20 11 करोड़ चार लाख

2020-21 15 करोड़ 32 लाख इनसेट

शहर में प्रॉपर्टी बढ़ी

शहरी क्षेत्र में घर, दुकान व शोरूम लगातार बन रहे हैं। वर्ष-2017-18 में हुए सर्वे के मुताबिक नगर निगम एरिया में एक लाख 49 हजार 519 प्रॉपर्टी थी।इनमें 91636 रिहायशी, 15450 व्यवसायिक, 2893 औद्योगिक व 39540 अन्य शामिल है। इस बार हुए सर्वे में एक लाख 75 हजार प्रापर्टी धारक बताए गए हैं। यूनिट में लगातार इजाफा हो रहा है। टैक्स जमा कराने पर प्रदेश सरकार ने टैक्स की मूल राशि में 25 फीसद छूट के साथ पूरा ब्याज माफ करने की सुविधा दी थी। इनसेट

सरकारी भवनों से भी रिकवरी की आस

सरकारी विभागों के भवनों का प्रापर्टी टैक्स भरने में अधिकारी बच रहे हैं। पीडब्ल्यूडी, जन स्वास्थ्य विभाग सहित दर्जनों विभागों पर 20 करोड़ रुपये से अधिक बकाया हैं। हालांकि गत माह नोटिस दिए जाने के बाद कुछ विभागों ने टैक्स जमा करवा दिया। लेकिन अभी भी 60 से अधिक भवनों का प्रापर्टी टैक्स बकाया पड़ा है। एक-एक विभाग के कई-कई भवन हैं। नगर निगम से इनकी इनकी रिपोर्ट अब यूएलबी ने मांगी है। ताकि, संबंधित विभागों के निदेशालय कार्यालयों में पत्र-व्यवहार किया जा सके। अधिकारियों को उम्मीद है जल्दी रिकवरी हो जाएगी। इनसेट

छूट का उठाया फायदा

सरकार की ओर से वर्ष 2010-11 से 2020 तक के बकाया प्रॉपर्टी टैक्स पर 100 फीसद ब्याज की छूट प्रदान की है। इसके अलावा वर्ष 2010-11 से 2017 तक के बकाया प्रॉपर्टी टैक्स एकमुश्त जमा करवाने पर 25 फीसद की छूट भी दी गई। यह छूट 31 मार्च तक जारी रही। इस छूट का शहरवासियों ने जमकर फायदा उठाया। वर्जन

प्रॉपर्टी टैक्स की रिकवरी में इस बार रिकार्ड कायम किया है। सभी के प्रयासों से रिकवरी 15 करोड़ पार कर गई। हमारा प्रयास है कि टैक्स की अधिक से अधिक रिकवरी हो, ताकि यह पैसा शहर के विकास पर खर्च किया जा सके।

अशोक कुमार, डिप्टी, म्युनिसिपल कमिश्नर।


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