पंचायती भूमि पर खड़ी गेहूं की फसल में लगी आग, पट्टे को लेकर विवाद
एमटी करेहड़ा बी-13 घाट के समीप तीन एकड़ पंचायती भूमि में खड़ी गेह थी।
संवाद सहयोगी, रादौर: एमटी करेहड़ा बी-13 घाट के समीप तीन एकड़ पंचायती भूमि में खड़ी गेहूं की फसल में अचानक आग लग गई। लोगों ने आग पर काबू पाया लेकिन फिर भी आधा एकड़ फसल जलकर राख हो गई। यह वही भूमि है जिस पर खनन ठेकेदार व किसानों के बीच विवाद चला आ रहा है। जिसके चलते किसानों ने रेत ठेकेदार पर आरोप लगाया कि गेहूं की फसल में जानबूझ कर आग लगाई जाती है। पहले भी कई बार ऐसा हो चुका है। उन्हें शक है कि रेत ठेकेदार ऐसा करता है। जो न तो खुद गेहूं की कटाई करता है और न किसानों को काटने दे रहा है। उधर ठेकेदार ने सभी आरोपों को निराधार बताया है।
किसान पार्थ सिंह ने बताया कि गांव की तीन एकड़ पंचायती भूमि पर उन्होंने गेहूं की बिजाई की थी। जब गेहूं पक कर तैयार हो गई तो ठेकेदार ने इस भूमि को उसके पास पट्टे पर होने की बात कह कर उन्हें कटाई करने से रोक दिया। जिसको लेकर विवाद भी हो चुका है। लेकिन वह फिर भी यह कह चुके है कि तैयार फसल को खराब न होने दे। वीरवार को अचानक गेहूं की फसल में आग लग गई। जिसे उन्हें गांव के लोगों की मदद से बुझाया। आधा एकड़ फसल नष्ट हो गई। उन्हें अंदेशा है कि कोई व्यक्ति जानबूझ कर ऐसा कर रहा है। क्योंकि पहले भी ऐसा हो चुका है। उन्हें ठेकेदार पर शक है।
ठेकेदार ने आरोप नकारे :
खनन ठेकेदार सिदक बतरा का कहना है कि आरोप पूरी तरह से निराधार है। यह भूमि उन्होंने ठेके पर ली हुई है। फसल की कटाई भी उन्हीं को करनी है। लेकिन कई दिनों से कंबाइन का प्रबंध नहीं हो रहा जिस कारण गेहूं कटाई में देरी हो रही है। कल गेहूं को कटवा लिया जाएगा। जब फसल उनकी है तो वह उसमें आग क्यों लगवाएंगें।