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संशोधित---भाजपा व कांग्रेस छोड़ जजपा में शामिल हुए तीन नेता, हाथोंहाथ मिला टिकट

जिले में बृहस्पतिवार को कांग्रेस व भाजपा को करारा झटका लगा। टिकट न मिलने से नाराज भाजपा से एक और कांग्रेस से दो नेताओं ने जननायक जनता पार्टी (जजपा) का दामन थाम लिया। तीनों नेताओं ने दुष्यंत चौटाला से मिलकर जजपा में आस्था दिखाई। इतना ही नहीं तीनों को हाथों-हाथ अपने-अपने हलके से जजपा का टिकट भी मिल गया। इनमें खरखौदा से पवन खरखौदा बरोदा से भूपेंद्र मलिक व गन्नौर से रणधीर मलिक शामिल हैं।

By JagranEdited By: Published: Thu, 03 Oct 2019 07:22 PM (IST)Updated: Fri, 04 Oct 2019 06:31 AM (IST)
संशोधित---भाजपा व कांग्रेस छोड़ जजपा में शामिल हुए तीन नेता, हाथोंहाथ मिला टिकट
संशोधित---भाजपा व कांग्रेस छोड़ जजपा में शामिल हुए तीन नेता, हाथोंहाथ मिला टिकट

जागरण टीम, सोनीपत : जिले में बृहस्पतिवार को कांग्रेस व भाजपा को झटका लगा। टिकट न मिलने से नाराज भाजपा से एक और कांग्रेस से दो नेताओं ने जननायक जनता पार्टी (जजपा) का दामन थाम लिया। तीनों नेताओं ने दुष्यंत चौटाला से मिलकर जजपा में आस्था दिखाई। इतना ही नहीं तीनों को हाथोंहाथ अपने-अपने हलके से जजपा का टिकट भी मिल गया। इनमें खरखौदा से पवन खरखौदा, बरोदा से भूपेंद्र मलिक व गन्नौर से रणधीर मलिक शामिल हैं।

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पिछले विधानसभा चुनाव में कांग्रेस से बगावत कर निर्दलीय चुनाव मैदान में उतरे पवन खरखौदा ने कई राजनीतिक पार्टियों को पछाड़ते हुए दूसरा स्थान हासिल किया था, लेकिन कुछ समय बाद भी वह फिर से अशोक तंवर के खेमे में जुड़कर कांग्रेस में इंट्री मार गए थे। इस लोकसभा चुनाव में उन्होंने कांग्रेस को एक बार फिर अलविदा कहा और भाजपा का दामन थाम लिया। भाजपा के टिकट के प्रबल दावेदारों में शामिल रहे पवन खरखौदा को भाजपा से भी निराशा हाथ लगी और टिकट मीना नरवाल के खाते में चला गया। इससे आहत पवन ने बृहस्पतिवार को भाजपा को भी अलविदा कहते हुए जजपा का दामन थाम लिया। जजपा ने पवन खरखौदा को हाथोंहाथ लिया और दुष्यंत चौटाला से हुई मुलाकात के कुछ ही घंटों बाद उन्हें खरखौदा विधानसभा क्षेत्र से प्रत्याशी घोषित कर दिया गया।

दूसरी तरफ, कांग्रेस पार्टी को भी बरोदा हलके में चुनाव से ठीक पहले झटका लगा है। पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा के विश्वासपात्र रहे भूपेंद्र सिंह मलिक जजपा में शामिल हो गए। भूपेंद्र सिंह मलिक कांग्रेस पार्टी से बरोदा हलका के सक्रिय नेता थे। हुड्डा जब सत्ता में तो उन्होंने मलिक को मार्केट कमेटी गोहाना का चेयरमैन भी बनाया था। मलिक कांग्रेस संगठन भी विभिन्न पदों पर रह चुके हैं। विधानसभा चुनाव में मलिक कांग्रेस पार्टी से बरोदा हलका से टिकट मांग रहे थे, लेकिन उन्हें टिकट नहीं मिला। इस पर उन्होंने कांग्रेस को छोड़ कर जजपा का दामन थाम लिया। मलिक पूर्व सांसद दुष्यंत चौटाला की मौजूदगी में जजपा में शामिल हुए। जजपा ने मलिक को बरोदा हलका से मैदान में उतार दिया है।

वहीं, गन्नौर से रणधीर मलिक बृहस्पतिवार को कांग्रेस को छोड़ जेजेपी में अचानक शामिल हो गए। जेजेपी में शामिल होते हुए उन्हें पार्टी ने गन्नौर विधानसभा से टिकट भी दे दिया। अब वह शुक्रवार को अपना नामांकन पत्र दाखिल करेंगे। रणधीर मलिक पूर्व परिवहन मंत्री एवं जेजेपी के राष्ट्रीय सचिव रह चुके दिवंगत वेद सिंह मलिक के छोटे भाई हैं। रणधीर मलिक 2014 विधानसभा चुनाव में इनेलो पार्टी से टिकट मांग रहे थे, लेकिन उन्हें टिकट न मिलने पर वे इनेलो को अलविदा कह कर कांग्रेस पार्टी में शामिल हो गए। रणधीर मलिक पार्टी में सक्रिय नेता के तौर पर काम करते रहे।


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