लाखों निर्माण मजदूरों को पंजीकरण खोने का डर, अगले माह घेरेंगे उप मुख्यमंत्री का आवास
निर्माण मजदूरों का 90 दिन का कार्य तसदीक न होने के कारण पंजीकरण रद होने के कगार पर है। 16 अक्टूबर को जिला के निर्माण मजदूर उप मुख्यमंत्री के आवास पर प्रदर्शन करेंगे।
संवाद सहयोगी, डबवाली : निर्माण मजदूरों का 90 दिन का कार्य तसदीक न होने के कारण पंजीकरण रद होने के कगार पर है। 16 अक्टूबर को जिला के निर्माण मजदूर उप मुख्यमंत्री के आवास पर प्रदर्शन करेंगे। यह निर्णय शनिवार को गोरीवाला गांव में हुई भवन निर्माण कामगार यूनियन की जिला स्तरीय आमसभा में लिया गया।
बैठक को संबोधित करते हुए यूनियन के प्रदेश महासचिव सुखबीर सिंह ने कहा कि लोक डाउन के पीरियड में प्रदेश की भाजपा सरकार व निर्माण मजदूर कल्याण बोर्ड के प्रशासन की ओर से निर्माण मजदूरों की सुविधाओं को निशाना बनाया गया है। निर्माण मजदूर कल्याण कानून के मुताबिक निर्माण के क्षेत्र में काम करने वाले मजदूर का पंजीकरण करवाने के लिए 1 वर्ष में 90 दिन निर्माण में काम करना आवश्यक है जिसकी तसदीक कानून के मुताबिक यूनियनों को भी अधिकार मिला हुआ था। लेकिन प्रदेश सरकार व कल्याण बोर्ड ने अपनी मनमानी करते हुए यूनियनों को इस अधिकार से वंचित कर दिया और पंचायत के सचिव, पटवारी सहित अनेक अधिकारियों को यह अधिकार दिया गया, लेकिन वे इस काम को करने के लिए तैयार नहीं है, जिसके चलते प्रदेश में पिछले 13 सालों में पंजीकृत हुए लाखों निर्माण मजदूर अपना पंजीकरण खोने को मजबूर हो जाएंगे और कल्याण बोर्ड से मिलने वाले लाभों से वंचित हो जाएंगे।
बैठक की प्रधानता जिला प्रधान कृष्ण सैनी व संचालन जिला सचिव नत्थूराम भारूखेड़ा ने किया। बैठक को कृष्ण खारिया, राजू मिसन, पालेराम चकजलु, राजेश अबूबश्वर, साहबराम चौटाला, राजविदर, महाबीर, विनोद,गुरमीत, राजू मौजगढ़, नरेश मसीता, मांगेराम जंडवाला ने भी संबोधित किया।