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सीआइए ने बरामद 29 गाड़ियों का जगाधरी से मांगा रिकार्ड

फर्जी कागजात के आधार पर आरसी बनाए जाने के मामले में सिरसा सीआइ

By JagranEdited By: Published: Tue, 16 Feb 2021 06:18 AM (IST)Updated: Tue, 16 Feb 2021 06:18 AM (IST)
सीआइए ने बरामद 29 गाड़ियों का जगाधरी से मांगा रिकार्ड
सीआइए ने बरामद 29 गाड़ियों का जगाधरी से मांगा रिकार्ड

जागरण संवाददाता, सिरसा : फर्जी कागजात के आधार पर आरसी बनाए जाने के मामले में सिरसा सीआइए ने बरामद 29 गाड़ियों का रिकार्ड मांगा है। जगाधरी से रिकार्ड हासिल करने के लिए पूर्व में भी पत्र लिखा गया था। यमुनानगर जिले में जगाधरी व बिलासपुर में दो केस दर्ज होने के चलते यमुनानगर पुलिस ने रिकार्ड को सील किया हुआ है। अब यमुनानगर पुलिस अधिकारियों की अनुमति से ही रिकार्ड हासिल होगा।

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सिरसा सीआइए ने गत 14 जनवरी को जगाधरी नंबर की तीन गाड़ियों को पकड़ा। जांच में सामने आया कि तीनों गाड़ियों के फर्जी कागजात के आधार पर जगाधरी में पंजीकरण किया गया है। इसके बाद पुलिस ने गिरोह के मास्टर माइंड रोहतक के सुनील चिटकारा को गिरफ्तार कर लिया और उसकी निशानदेही पर 29 गाड़ियां बरामद की गई तथा 600 ऐसी गाड़ियों की जानकारी मिली जो फर्जी कागजात के आधार पर विभिन्न स्थानों पर पंजीकृत करवाई गई थी। जांच में यह भी सामने आया कि सुनील चिटकारा फाइनेंस की किस्त अदा न करने वाली गाड़ियों को बैंक की ऑनलाइन नीलामी में खरीदता है। इसके बाद बैंक गाड़ी का चेसिस नंबर बदला जाता है और बैंक के फर्जी कागजात तैयार किए जाते हैं ताकि उसकी कीमत कम दर्शाई जा सके। मोटर व्हीकल इंस्पेक्टर की फर्जी रिपोर्ट तैयार की जाती है और फिर उसे अधूरे पते ही पंजीकृत करवा लिया जाता है। सिरसा सीआइए की जांच में पंजीकरण से जुड़े क्लर्क राजेंद्र दांगी और कंप्यूटर आपरेटर अमित कुमार का नाम सामने आया। अमित कुमार ने सिरसा की कोर्ट में सरेंडर कर दिया और उसे पुलिस रिमांड पर लिया हुआ है। जबकि राजेंद्र को जगाधरी केस में पुलिस ने गिरफ्तार किया है।


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