हरियाणा की जवानी को बड़ा खतरा, इस कारण घट रहा गबरुओं के बाजुओं का जाेर
हरियाणा के युवाओं के लिए नया खतरा पैदा हो गया है। कभी अपने बाजुओं के जोर के कारण खास पहचान रखने वाले हरियाणवी गबरुओं की हड्डियां कमजोर हो रही हैं।
रोहतक, [पुनीत शर्मा]। कभी 'दूध-दही का खाणा' कहे जाने वाले हरियाणा में आज हालात इसके उलट हो रहा है। यही कारण है कि अपनी जांबाजी और मजबूत कदकाठी के लिए खास पहचान रखने वाले हरियाणवी जवानों की हड्डियां कमजोर हो रही हैं। प्रदेश के प्रत्येक पांच में से तीन लोगों की हड्डियां कमजोर हैं। इनमें बड़ी संख्या में 18 से 45 आयु वर्ग के लोग शामिल हैं।
रोहतक पीजीआइ के चिकित्सकों के शोध में खुलासा, प्रदेश के 60 फीसद लोगों की हड्डियां कमजोर
पीजीआइ के आर्थो विभाग द्वारा लोगों की हड्डियों की जांच में उक्त तथ्य सामने आए हैं। शोध में जिन लोगों की हड्डियां कमजोर पाई गई हैं, उनमें बड़ी संख्या में ऐसे हैं जो धू्म्रपान करने व शराब पीने करने के साथ पौष्टिक खाने से दूर रहते हैं। चिकित्सकों ने ऐसे लोगों को पौष्टिक भोजन करने के साथ व्यायाम करने की सलाह दी है।
पौष्टिक खानपान के अभाव और स्मोकिंग के कारण कमजोर हो रहीं हड्डियां
चिकित्सकों द्वारा करीब 1000 लोगों की हड्डियों की जांच की गई। इसमें से करीब 588 लोगों की हड्डियां अपेक्षित रूप से मजबूत नहीं मिलीं। विशेषज्ञों के अनुसार यह हालत चिंताजनक है। 18 से 45 आयु वर्ग के लोगों की हड्डियां सबसे अधिक कमजोर पाई गई हैं। शोध करने वाले डॉक्टरों इनमें से करीब 70 फीसद लोग ऐसे हैं जो धूम्रपान करते हैं और शराब पीते हैं।
हड्डियां कमजोर होने के मुख्य कारण
- अधिक आराम करना : आज के समय में लोग मेहनत कम आराम अधिक करते हैं। लोगों के आलसी होने के कारण शरीर पर्याप्त मात्रा में मूवमेंट नहीं कर पाता है। अधिक आराम करने के चलते शरीर में ऑस्टियोपोरोसिस की संभावना बढ़ जाती है। ऑ़स्टियोपोरोसिस एक ऐसी बीमारी है जिससे हड्डियों पर हल्का प्रेशर आने पर ही वह टूट जाती हैं।
- कैल्शियम की कमी: शरीर में कैल्शियम की कमी के कारण भी हड्डियां कमजोर हो रहीं हैं। दूध कम पीने वाले या पौष्टिक आहार न लेने वाले लोगों में कैल्शियम की कमी हो जाती है। इससे हड्डियां कमजोर हो जाती हैं, और थोड़े से दवाब से ही टूट जाती हैं।
- धूम्रपान और शराब: हड्डियों के कमजोर होने की बड़ी वजह धूम्रपान और शराब का सेवन है। इनका सेवन करने से हड्डियां खोखली होनी शुरू हो जातीं हैं। इससे ऑस्टियोपोरोसिस नामक बीमारी फैलने की संभावनाएं बढ़ जातीं हैं और हड्डियां कमजोर हो जाती हैं।
- आनुवांशिकता: आनुवांशिकता यानि मां-बाप की हड्डियां कमजोर होने पर बच्चे की भी हड्डियां कमजोर होती हैं। हालांकि आज के समय में ऐसे केसों की संख्या करीब तीन फीसद ही पाई जाती है।
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क्या करें
विशेषज्ञों के अनुसार शरीर को चुस्त दुरुस्त रखने के लिए आवश्यक है कि नियमित रूप से पौष्टिक भोजन करें। इसके साथ ही धूम्रपान और शराब से दूर रहें। लोगों को प्रतिदिन आधा घंटे तक व्यायाम करने के साथ ही नियमित रूप से टहलना चाहिए। इसके अलावा बच्चों के लिए आवश्यक है कि वह अधिक समय टीवी, मोबाइल का प्रयोग न करें। आउट डोर गेम्स में भी हिस्सा लें।
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'' रेफर किए गए मरीजों की हड्डियों की जांच की जाती है। जांच में पांच में से तीन मरीजों की हड्डियां कमजोर पाई गई हैं। मरीजों को स्वस्थ रहने के लिए आवश्यक सलाह दी जाती है। बड़ी संख्या में लोगों की हड्डियां शराब के सेवन, धूम्रपान, जंक फूड का सेवन करने, पौष्टिक आहार न मिलने के कारण कमजोर होती हैं। लोगों को अपने स्वास्थ्य के प्रति खुद ही जागरूक होना पड़ेगा।
- डाॅ. प्रदीप कांबोज, विभागाध्यक्ष आर्थोपेडिक्स विभाग पीजीआइएमएस, रोहतक।