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बारिश से सरसों की फसल बिछी, शहर में हुआ जलभराव

जनवरी में नियमित अंतराल पर हो रही बारिश से सर्दी के तेवर कम नहीं हो रहे हैं। पहाड़ों पर हो रहे हिमपात का असर मैदानी इलाकों में हो रहा है।

By JagranEdited By: Published: Sun, 23 Jan 2022 05:40 PM (IST)Updated: Sun, 23 Jan 2022 05:40 PM (IST)
बारिश से सरसों की फसल बिछी, शहर में हुआ जलभराव
बारिश से सरसों की फसल बिछी, शहर में हुआ जलभराव

- 19 मिलीमीटर हुई बावल में बारिश

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-18 मिलीमीटर रेवाड़ी में बरसा पानी -12 मिलीमीटर बारिश पाल्हावास में मापी गई

-9 मिलीमीटर नाहड़ और डहीना में पड़ा पानी

-8 मिलीरीटर पानी कोसली, धारूहेड़ा में बरसा

-7.5 मिलीमीटर बारिश हुई मनेठी मे

-5 मिलीमीटर जाटूसाना में बारिश हुई

-4 मिलीमीटर हुई परखोत्तमपुर में बारिश

जागरण संवाददाता, रेवाड़ी : जनवरी में नियमित अंतराल पर हो रही बारिश से सर्दी के तेवर कम नहीं हो रहे हैं। पहाड़ों पर हो रहे हिमपात का असर मैदानी इलाकों में हो रहा है। शनिवार रात तक हुई बारिश के कारण अगेती सरसों जमीन पर बिछ गई वहीं पछेती सरसों और गेहूं के लिए बारिश बेहतर साबित होगी। देर शाम को जमकर हुई बारिश से फसल को आंशिक नुकसान हुआ है। कृषि विशेषज्ञों का कहना है कि अच्छी धूप निकलती है और बारिश का पानी सूखता है तो बिछी हुई सरसों उभर सकती है। रविवार को मौसम में काफी सुधार हुआ। दिनभर आसमान में बादल छाने के साथ दोपहर बाद हल्की धूप निकलने से राहत मिली। अन्य दिनों की तुलना में रविवार को सर्दी कम थी। रविवार सुबह आठ बजे तक जिले में सबसे ज्यादा बावल में 19 मिलीमीटर बारिश हुई। इसके अलावा रेवाड़ी में 18, पाल्हावास में 12, नाहड़ और डहीना में नौ-नौ, कोसली, धारूहेड़ा में आठ - आठ, मनेठी में 7.5, जाटूसाना में पांच, परखोत्तमपुर में चार मिलीमीटर बारिश हुई। इससे रविवार को तापमान में हल्की बढ़ोतरी हुई। रविवार को अधिकतम तापमान 16.2 व न्यूनतम 10.5 डिग्री सेल्सियस रहा। शनिवार को अधिकतम 15.5 और न्यूनतम नौ डिग्री सेल्सियस था। फसलों में नहीं होंगी बीमारियां कृषि विशेषज्ञों के अनुसार बारिश से एक ओर जहां किसानों को सिचाई करने की जरूरत नहीं पड़ेगी, वहीं फसलों में आ रही विभिन्न बीमारियां भी नहीं होंगी। बारिश के पानी से सरसों और गेहूं के दानों में फुटाव बेहतर होगा। इससे किसानों को जहां सिचाई की जरूरत नहीं पड़ेगी। वहीं उत्पादन भी बढ़ेगा। भूमिगत लवणीय व क्षारीय पानी के मुकाबले बारिश का पानी फसलों के लिए खाद की तरह काम करता है। वैवाहिक आयोजनों में डाला बारिश ने खलल शनिवार को जिले में जगह जगह वैवाहिक आयोजन थे। बारिश के कारण टैंट भीग गए तथा पूरा कार्यक्रम ही अस्त व्यस्त हो गया। इतना ही नहीं देर रात तक शहर में बिजली भी गुल रही, जिसके कारण परेशानी और भी बढ़ गई थी। जलभराव से झील बनीं सड़कें शनिवार को रात तक हुई बारिश के कारण शहर और कस्बों की गलियां और सड़कें जलमग्न हो गईं। शहर के कोनसीवास रोड का मुख्य मार्ग पर रविवार शाम तक पानी भरा रहा। कंपनीबाग, माडल टाउन, ब्रास मार्केट, नई अनाजमंडी, बस अड्डा, नाईवाली चौक, दिल्ली रोड़ का मुख्य मार्ग, बावल, धारूहेड़ा सहित विभिन्न स्थानों पर जलभराव से लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ा। जगह जगह सीवर जाम और नालियां अवरुद्ध होने से लोगों का घरों से निकलना मुश्किल हुआ।

------- बाजार में निर्माणाधीन नाला बना मुसीबत

शहर के मुख्य बाजार में नगर परिषद की ओर से नाले का निर्माण कराया जा रहा है। कई जगह नाले के लिए खोदाई करके छोड़ी हुई है। बारिश के पानी से नाले के लिए खोदा गया गड्ढा भर गया है और पानी रिसकर दुकानों में भी घुस गया है। व्यापारी विजय गुप्ता का कहना है कि नाले का पानी उनकी दुकान तक में घुस गया, जिसके कारण काफी नुकसान हुआ है। --------

अब धुंध छाने की संभावना हिसार के हरियाणा कृषि विश्वविद्यालय के मौसम विज्ञान विभाग के अनुसार 24 जनवरी को आंशिक बादलवाई रहने की संभावना है। 25 जनवरी को मौसम खुश्क तथा सुबह धुंध छाने तथा 26 जनवरी से हल्की गति से उत्तर पश्चिमी हवाएं चलने से रात्रि तापमान में कमी आने की संभावना है।


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