पानीपत के सागर जागलान अमेरिकी पहलवान को हरा बने विश्व चैंपियन, इस दांव से प्रतिद्वंद्वी चित
सागर जागलान ने अमेरिकी पहलवान को हरा विश्व चैंपियनशिप का खिताब अपने नाम कर लिया। सागर जागलान मूलरूप से हरियाणा के पानीपत के रहने वाले हैं। 18 जुलाई से हंगरी में विश्व कैडेट कुश्ती चैंपियनशिप हुई। 80 किलोग्राम भार वर्ग में 4-0 से अमेरिकी पहलवान को हराया।
पानीपत, [विजय गाहल्याण]। पानीपत के सागर जागलान मंगलवार को 80 किलोग्राम भार वर्ग में अमेरिका के पहलवान जेम्स माकलर को 4-0 से हराकर विश्व कैडेट कुश्ती प्रतियोगिता जीत चैंपियन बने। हंगरी में 18 जुलाई से शुरू हुई इस प्रतियोगिता में सागर ने अमेरिकी पहलवान को मैट से बाहर कर सफलता हासिल की। इससे पहले हुए चार मुकाबलों में सागर ने फितले दांव का इस्तेमाल कर प्रतिद्वंद्वियों को हराया।
कमजोर शरीर का तंज झेल बने विश्व चैंपियन
मूल रूप से नौल्था गांव के रहने वाले सागर पानीपत शहर के राजनगर में रहते हैं। बचपन में शारीरिक रूप से कमजोर थे। दोस्त ही मजाक करते थे। उन्हें गुस्सा भी आता था, लेकिन ताकतवर दोस्तों के पास जाने में घबराते। पिता मुकेश कुमार पहलवान रहे हैं। उन्होंने ठान लिया कि बेटे को भी पहलवान बनाऊंगा ताकि कोई कमजोर शरीर पर तंज न कसे। बेटे को अखाड़े में कुश्ती के अभ्यास के लिए छोड़ दिया। सागर ने कड़ा अभ्यास किया और शरीर को मजबूत बनाया। राष्ट्रीय व अंतरराष्ट्रीय स्तर पर लगातार पदक जीते। तंज कसने वाले दोस्त अब उन पर गर्व करते हैं।
घर से लेकर अखाड़े तक मना जश्न
सागर की जीत पर घर में पिता मुकेश, मां सरिता, भाई दीपक, दादा रणधीर, दादी कमला देवी और चाचा नरेश ने लड्डू बांटे। सागर खरखौदा स्थित अश्वनी कुश्ती एकेडमी के कोच अश्वनी के पास अभ्यास करते हैं। कोच अश्वनी ने पहलवानों को लड्डू खिलाकर जश्न मनाया।
फितले दांव का करते हैं हर रोज 120 बार अभ्यास
सागर जागलान ने बताया कि वह स्टार पहलवान बजरंग पूनिया के फितले दांव के मुरीद हैं। पूनिया से कई बार मिल चुके हैं। दांव की बारीकी सीख चुके हैं। वह हर रोज 120 बार फितले दांव का अभ्यास करते हैं। एशियन चैंपियनशिप व वर्ल्ड चैंपियनशिप में फितले दांव की वजह से जीत दर्ज कर पाया है।
ऐसे लगता है फितला दांव
पूर्व अंतरराष्ट्रीय कुश्ती कोच प्रेम सिंह आंतिल ने बताया कि फितले दांव में पहलवान जमीन पर लेटे पहलवान के दोनों पांव पकड़कर घूम जाता है। दांव लगाने वाले पहलवान को दो प्वाइंट मिल जाते हैं। इस दांव से नीचे गिरे पहलवान को प्वाइंट से बचाव करना मुश्किल हो जाता है। सागर यह दांव लगाने में माहिर है।
सेमीफाइनल में पांच सेकंड शेष रहते जार्जिया के पहलवान को हराया
सागर ने बुलगारिया, अजरबेजान के पहलवानों सहित तीन पहलवानों को हराकर सेमीफाइनल में प्रवेश किया था। सेमीफाइनल मुकाबला जार्जिया के पहलवान के साथ हुआ। शुरू में वह पिछड़ गए। अंतिम पांच सेकंड में सागर ने जार्जिया के पहलवान के दोनों पांव पकड़े और उलटकर चित कर मुकाबला जीत लिया।
सागर की उपलब्धियां
-एशियन अंडर-15 कुश्ती चैंपियनशिप में स्वर्ण पदक।
-स्कूल नेशनल कुश्ती प्रतियोगिता में स्वर्ण।
-कैडेट कुश्ती प्रतियोगिता में दो रजत।
-दो बार भारत केसरी का खिताब।