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हरियाणा में पहली-दूसरी कक्षाएं आंगनबाड़ियों और एनजीओ के हवाले, अध्यापक संघ में आक्रोश, होगा आंदोलन

हरियाणा में पहली व दूसरी कक्षाएं आंगनबाड़ियों और एनजीओ के हवाले। हरियाणा अध्यापक संघ इस फैसले के विरोध में उतर आया है। अध्यापकों की मानें तो सरकार नई शिक्षा नीति की आड़ में पहली-दूसरी कक्षाओं को आंगनबाड़ियों और एनजीओ को सौंप रही है। इसका अध्यापक संघ विरोध करेगा।

By Rajesh KumarEdited By: Published: Sun, 16 Jan 2022 05:14 PM (IST)Updated: Sun, 16 Jan 2022 05:14 PM (IST)
हरियाणा में पहली-दूसरी कक्षाएं आंगनबाड़ियों और एनजीओ के हवाले, अध्यापक संघ में आक्रोश, होगा आंदोलन
जींद के अक्षर भवन में बैठक करते हुए अध्यापक संघ के पदाधिकारी।

जींद, जागरण संवाददाता। हरियाणा विद्यालय अध्यापक संघ की बैठक रविवार को अक्षर भवन में जिला प्रधान साधुराम की अध्यक्षता में हुई। जिला प्रधान साधुराम ने कहा कि राज्य सरकार नई शिक्षा नीति की आड़ में पहली-दूसरी कक्षाओं को आंगनबाड़ियों और एनजीओ को सौंप रही है। इसका अध्यापक संघ विरोध करेगा। जिला सचिव मामराज जांगड़ा ने कहा कि सरकार शिक्षा के सार्वजनिक ढांचे को पूरी तरह बर्बाद करने पर तुली हुई है और संसद में बहस कराए बिना ही शिक्षा नीति को देश पर थोपा जा रहा है।

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शिक्षा विभाग को निजी हाथों में देना चाहती है सरकार

साधुराम ने कहा कि शिक्षा नीति के बहाने केंद्र और राज्य सरकार शिक्षा विभाग को निजी हाथों में देना चाहती है। उन्होंने कहा कि संगठन पिछले साल से ही इसके दुष्परिणामों को देखते हुए इसे वापस लेने की मांग करता आ रहा है। इसके खिलाफ 30 जनवरी को शिक्षा मंत्री के आवास पर जोरदार प्रदर्शन किया जाएगा। जिला कोषाध्यक्ष भूप सिंह वर्मा ने कहा कि पुरानी पेंशन बहाली को लेकर सरकार का लगातार टरकाऊ रवैया जारी है। वर्ष 2016-19 की एलटीसी अभी तक पेंडिंग है, जबकि एलटीसी का अगला सत्र भी अंतिम चरण में है। एसीपी मामलों में जान बुझकर मनमाने ऐतराज लगाए जा रहे हैं। हजारों अध्यापकों की एसीपी इस समय विभिन्न स्तर पर पेंडिंग हैं। स्कूलों में शिक्षा व्यवस्था दिन प्रतिदिन चरमराती जा रही है।

शिक्षा विभाग को एक प्रयोगशाला बनाकर रखा है

आनलाइन शिक्षण के नाम पर सरकार ने शिक्षा विभाग को एक प्रयोगशाला बना कर रख दिया है। उन्होंने कहा कि सरकार विभाग को निजी हाथों में सौंपने पर उतारू है और इसे बिल्कुल भी बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। उन्होंने कहा कि हटाए गए पीटीआइ, ड्राइंग टीचर्स व अन्य कर्मियों को सरकार समायोजित करने के आनाकानी कर रही है। राज्य आडिटर वेदपाल रिढ़ाल ने कहा कि अगर इन सभी समस्याओं का अतिशीघ्र समाधान नहीं किया गया तो प्रदेशभर के शिक्षकों को लामबंद करते हुए केंद्र व राज्य सरकार के खिलाफ 23-24 फरवरी को राष्ट्रव्यापी हड़ताल की जाएगी। इस अवसर पर भूप सिंह वर्मा, सत्येंद्र कुमार, संजीव सिंगला, रोहतास आसन, शमशेर कौशिक, रणधीर सिंह, हैप्पी सिंह, रोहतास आसन, सत्येंद्र कुमार, महेंद्र गौतम, शमशेर बूरा मौजूद रहे।


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