OLX के जरिए ठगी का खेल, WhatsApp पर भेजा कोड, स्कैन किया तो खाता खाली
ओएलएक्स पर सोफा खरीदने का झांसा देकर फर्नीचर दुकानदार से ठगी की वारदात को अंजाम दिया गया। आरोपित की लोकेशन उत्तर प्रदेश की बताई जा रही है।
पानीपत, जेएनएन। जाटल रोड के फर्नीचर दुकानदार ने सोफा बेचने के लिए ओएलएक्स पर पोस्ट डाली। ठग ने दुकानदार से पेटीएम नंबर लेकर उनके खाते से 27 हजार हजार रुपये निकाल लिये। ठग तीसरी बार भी नंबर पूछता रहा, लेकिन पीडि़त ने नहीं बताया। इसी वजह से उनके खाते से 9000 रुपये बच गए। ठग के मोबाइल फोन की लोकेशन उत्तर प्रदेश की मिली है।
घटना दिन के 11:30 बजे की है। सौंधापुर की फौजी कॉलोनी में रहने वाले रितेश कुमार शर्मा ने बताया कि उसकी जाटल रोड पर फर्नीचर की दुकान है। 11 बजे नौकर सद्दाम ने दो सोफे बेचने के लिए ओलएलक्स पर पोस्ट डाल दी। इसमें सद्दाम ने अपना मोबाइल नंबर और एक सोफे का दाम 13500 रुपये तय किया। इसके कुछ देर बाद एक व्यक्ति ने सद्दाम के मोबाइल फोन पर कॉल कर बताया कि सोफा एनएफएल टाउनशिप के पास विकास नगर में उसके भाई के लिए खरीदना है। सद्दाम ने उससे बात कराई। व्यक्ति ने उसे कहा कि पेमेंट ऑनलाइन ट्रांसफर कर रहा है। उसके बाद बोला कि पेमेंट फेल हो गई है। व्हाट्स एप पर एक कोड भेज रहा हूं। इसे स्कैन पेमेंट प्राप्त कर लेना। उसने कोड स्कैन किया तो उसके ही खाते से दो बार 13500 रुपये कट गए। उससे 27 हजार रुपये की धोखाधड़ी कर ली गई। ठग ने उससे फिर से कहा कि गलती से रुपये उसके खाते में आ गए हैं। वह 200 रुपये खाते में डलवा देगा। खाता नंबर दें। उसने ठग को नंबर देने से मना कर दिया। आठ मरला चौकी प्रभारी राजेश कुमार ने बताया कि मामला दर्ज करके ठग की तलाश की जा रही है।
गिरोह पकड़ा फिर भी हो रही ठगी की वारदात
24 मई 2019 को सीआइए-2 ने ओएलएक्स पर कार, बाइक, मोबाइल फोन की फोटो अपलोड कर बेचने के नाम पर खुद को फौजी बता पेटीएम के जरिये रुपये की ठगी करने वाले गिरोह को भंडाफोड़ किया था। गिरोह के बदमाश अलवर (राजस्थान) चंदौली के साजिद, सोनू और वाहिद को गिरफ्तार किया था। उनके कब्जे से फौजी कैंटीन के तीन कार्ड, दो आधार कार्ड, दो मोबाइल फोन और 35 हजार रुपये बरामद किए। इसके बावजूद ओएलएक्स पर ठगी की वारदात हो रही हैं।
ऑनलाइन ठगी करने वालों को पकडऩे के लिए पुलिस स्पेशल टीम बना रखी है। लोगों से अपील है कि वे ऑनलाइन डेबिट कार्ड, खाता संबंधित और पेटीएम के नंबर किसी से शेयर न करें। ठग इन्हीं के जरिये लोगों के साथ ठगी कर रहे हैं।
सतीश कुमार वत्स, डीएसपी मुख्यालय।