Govt Bank Strike Today: निजीकरण के विरोध में बैंक बंद, कल भी हड़ताल, पानीपत में करोड़ों का लेनदेन प्रभावित
Government Bank Strike Today निजीकरण के विरोध में आज और कल बैंक में हड़ताल की घोषण की गई है। जींद से लेकर पानीपत करनाल अंबाला में बैंक बंद है। जींद में 196 ब्रांच बंद। वहीं कल भी हड़ताल की वजह से करोड़ों रुपये का लेन देन प्रभावित रहने का आसार।
पानीपत, जेएनएन। बैंकों के निजीकरण के विरोध में बैंक कर्मचारी हड़ताल कर रहे हैं। बैंकों के बाहर आकर कर्मचारियों ने प्रदर्शन शुरू कर दिया है। कई बैंकों की ब्रांच को बंद कर दिया गया। इससे लेन देन का काम प्रभावित हो गया है।
जींद में भी सरकार द्वारा बैंकों के निजीकरण के विरोध में यूनाइटेड फोरम ऑफ बैंक यूनियन के आह्वान पर सोमवार को बैंक कर्मचारी हड़ताल पर रहे। डीआरडीए के सामने की हुडा मार्केट में स्थित पंजाब नेशनल बैंक की मुख्य शाखा के सामने हड़ताल कर कर्मचारियों ने सरकार के खिलाफ नारेबाजी की। मंगलवार को भी बैंक कर्मियों की हड़ताल जारी रहेगी।
दोनों दिन बंद रहेंगे बैंक
शनिवार को और रविवार को अवकाश होने के कारण पहले ही बैंक बंद थे, इसलिये लोगों को बैंक संबंधी परेशानी का सामना करना पड़ रहा है।
यूनाइटेड फोरम ऑफ बैंक यूनियन के आह्वान पर दो दिन की हड़ताल के बाद सोमवार को जिले के सभी सरकारी बैंक बंद रहे। हुडा मार्केट स्थित पंजाब नेशनल बैंक के बाहर कर्मचारी एकत्रित हुए और यहां पर सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। यूनाइटेड फोरम ऑफ बैंक यूनियन के जिला सचिव दलबीर सिंह ने बताया कि सरकारी बैंकों की जींद में 196 ब्रांच हैं। एक दिन में सरकारी बैंकों में लगभग एक हजार करोड़ रुपए का लेनदेन होता है। दो दिन हड़ताल के कारण बैंक बंद होने से यह सारा लेनदेन नहीं हो पाएगा।
सबसे ज्यादा सरकारी कामकाज प्रभावित
हड़ताल का सबसे अधिक प्रभाव सरकारी कामकाज पर होगा। क्योंकि अधिकतर सरकारी लेनदेन स्टेट बैंक ऑफ इंडिया से ही होता है। जिले की मुख्य ट्रेजरी भी सफीदों गेट स्थित स्टेट बैंक ऑफ इंडिया बैंक में है। जहां से सरकारी लेनदेन होता है। स्टेट बैंकों के माध्यम से अपने कारोबार के लिए लेन देन करने वाले व्यापारियों को भी दिक्कतें आ सकती हैं। सरकार हर दिन बैंकों के निजीकरण करने में जुटी है। इसके विरोध में फोरम ने 15 व 16 मार्च को दो दिन लगातार हड़ताल करने का फैसला किया है। दो दिन की हड़ताल का बैंक कर्मचारी वेतन नहीं लेंगे।
करनाल में भी बैंककर्मियों की हड़ताल, नीतियों का विरोध
अखिल भारतीय बैंक अधिकारी संघ के बैनर तले बैंक कर्मचारियों ने सोमवार को हड़ताल की। बैंक कर्मचारियों ने निजीकरण के विरोध में हड़ताल की है। उनकी यूनियन के नेताओं का कहना है कि सरकार लगातार अनुचित नीतियां बैंकों में लागू कर रही है। निजीकरण के चलते आम आदमी को भी परेशानी का सामना करना पड़ेगा। इसलिए वे हर सीमा तक सघर्ष करेंगे। सोमवार को सुबह से ही अखिल भारतीय बैंक अधिकारी संघ व अन्य कर्मचारी संगठनों से जुड़े तमाम बैंककर्मी हड़ताल पर रहे। इसके चलते विभिन्न बैंक शाखाओं में पहुंचे उपभोक्ताओं को तमाम समस्याओं का सामना करना पड़ा। वहीं हड़ताली बैंक कर्मचारियों ने सभा आयोजित करके आंदोलन की रणनीति पर मंथन किया।
कुरुक्षेत्र में भी हड़ताल पर उतरे कर्मी
यूनाइटेड फेडरेशन ऑफ बैंक यूनियन के आवाहन पर जिले के सभी बैंकों के कर्मचारी हड़ताल में शामिल हुए बैंक कर्मचारियों ने सेक्टर 13 स्थित बैंक के बाहर धरना दिया। 2 दिन के अवकाश के बाद सोमवार को हड़ताल होने से लोग बैंकों से लेन-देन नहीं कर पाए। जिले में बैंकों की हड़ताल से करीब सवा 300 करोड का लेन देन प्रभावित हुआ है। बैंकों की हड़ताल में जिले के 15 बैंकों के कर्मचारी शामिल हुए हैं।
कैथल में भी बैंक के काम के लिए भटकते रहे लोग
कैथल में एसोसिएशन के प्रधान प्रवेश मोर ने बताया कि सरकार लगातार हर विभाग में निजीकरण कर रही है। जिससे कर्मचारियों में रोष है। बैंको में हड़ताल होने के कारण कामकाज पूरी तरह से बंद रहा। हालांकि कर्मचारियों की ओर से एटीएम सुविधा बंद नहीं की गई है। जबकि यदि किसी एटीएम में कोई तकनीकी खराबी आती है तो उसे ठीक नहीं किया जाएगा। बैंकों में लेनदेन बिल्कुल नहीं हो सका।
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