नीरज की तरह एक और सितारा चमकने को तैयार, बीमारी को मात देकर बना जैवलिन थ्रो का स्टेट चैंपियन
हरियाण के पानीपत के रहने वाले नीरज चोपड़ा को भला कौन नहीं जानता। अब एक ऐसा ही सितारा चमकने को तैयार है। पानीपत के रहने वाले विक्रांत मलिक। बीमारी को मात देकर विक्रांत मलिक बना जैवलिन थ्रो का स्टेट चैंपियन।

पानीपत, जागरण संवाददाता। बीमारी से पार पाकर उग्राखेड़ी गांव के विक्रांत मलिक ने 12वीं हरियाणा स्टेट सीनियर एथलेटिक्स चैंपियनशिप में जैवलिन थ्रो में 73.80 मीटर थ्रो कर स्वर्ण पदक जीता। यह प्रतियोगिता 14 से 15 मई को करनाल के कर्ण स्टेडियम में आयोजित की गई। इंटर स्टेट चैंपियनशिप जून में चेन्नई में होगी, जिसके लिए विक्रांत ने क्वालीफाई कर लिया है।
विक्रांत ने बताया कि अप्रैल महीने में वह बीमार हो गया था। अभ्यास छूट गया था और शरीर भी कमजोर गया था। वह पहले 80 मीटर जैवलिन थ्रो कर चुका है। अब उसका लक्ष्य इंटर स्टेट चैंपियनशिप व फेडरेशन कप में स्वर्ण पदक जीतने का है। वह कामनवेल्थ गेम्स की ट्रायल की भी तैयार कर रहा है। इसके लिए वह रोज सुबह-शाम छह घंटे अभ्यास कर रहा है। तकनीक सुधार व स्पीड पर ध्यान केंद्रित है। हरियाणा एथलेटिक्स के महासचिव राजकुमार मिटान ने विक्रांत को स्वर्ण पदक से सम्मानित किया। उन्होंने कहा कि नीरज चोपड़ा की तरह विक्रांत मलिक भी जिले का प्रतिभावान जैवलिन थ्रोअर हैं। उनसे अंतरराष्ट्रीय प्रतियोगिताओं में पदक की उम्मीद है।
पिता देते हैं जैवलिन के टिप्स
विक्रांत के पिता राजेंद्र मलिक राष्ट्रीय स्तर के एथलीट रहे हैं। वे ही उग्राखेड़ी गांव में विक्रांत को जैवलिन के टिप्स देते हैं। विक्रांत अपने गांव के अलावा चार किलोमीटर दूर सिवाह के स्टेडियम में अभ्यास करने जाते हैं। वह अन्य कई थ्रोअर को भी जैवलिन की ट्रेनिंग देते हैं।
विक्रांत की सफलता
विक्रांत तीन बार नेशनल और आठ बार राज्य स्तरीय एजैवलिन थ्रो प्रतियोगिता में पदक जीत चुके हैं। जनवरी में उन्होंने आल इंडिया यूनिवर्सिटी गेम्स में स्वर्ण पदक जीता। कुरुक्षेत्र यूनिवर्सिटी में भी उन्हीं के नाम रिकार्ड है।
-2013 में जूनियर नेशनल एथलेटिक्स चैंपियनशिप में रजत पदक।
-2018 में सीनियर नेशनल चैंपियनशिप रजत पदक।
- आल इंडिया यूनिवर्सिटी चैंपियनशिप में रजत पदक
- 2021 में अल इंडिया जैवलिन थ्रो चैंपियनशिप में स्वर्ण पदक।
Edited By Anurag Shukla