बरोदा के अखाड़े में पहलवान याेगेश्वर को टिकट पर दांवपेंच, BJP में जातीय समीकरण को लेकर द्वंद्व
बरोदा उपचुनाव के अखाड़े में पहलवान योगेश्वर दत्त काे टिकट पर भाजपा में दांवपेंच चरम पर है। पार्टी में जातीय समीकरण को लेकर द्वंद्व है लेकिन संकेत हैं कि वह इसे दरकिनार कर मनोहरलाल के काम और पीएम मोदी के नाम पर बरोदा के रण में कूदेगी।
नई दिल्ली, [बिजेंद्र बंसल]। हरियाणा के बरोदा विधानसभा सीट के उपचुनाव के अखाड़े में ओलंपिक पदक विजेता पहलवान योगेश्वर दत्त को टिकट पर भाजपा में दांवपेंच जारी है और जातीय समीकरण को लेकर पार्टी में द्वंद्व है। वैसे संकेत हैं कि सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी बरोदा उपचुनाव में जातीय समीकरणों को ज्यादा तवज्जो नहीं देगी। पार्टी मनोहर लाल सरकार के काम और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नाम पर ही बरोदा के रण में कूदेगी। इसके संकेत खुद मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने नई दिल्ली स्थित हरियाणा भवन में प्रदेश भर से जुटे खिलाड़ियों और उनके कोच को संबाेधित करते हुए दिए। बरोदा से 2019 में चुनाव लड़ चुके पहलवान योगेश्वर दत्त के समर्थन में जुटे इन खिलाड़ियों में पहलवान बबीता फोगाट भी मौजूद थीं।
पहलवान योगेश्वर दत्त ने साथी खिलाड़ियों के साथ टिकट में जातीय समीकरण दरकिनार करने का दिया संदेश
बता दें, मुख्यमंत्री मनोहर लाल और प्रदेशाध्यक्ष ओमप्रकाश धनखड़ प्रदेश संगठन मंत्री सुरेश भट्ट के साथ बुधवार देर शाम ही पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा को बरोदा में प्रत्याशी घोषित करने के लिए चार नाम का पैनल दे आए थे। इससे पहले मुख्यमंत्री और प्रदेशाध्यक्ष ने सोनीपत के सांसद रमेश कौशिक, जिलाध्यक्ष मोहन लाल, बरोदा के लिए चुनाव प्रभारी बने जेपी दलाल, सांसद संजय भाटिया के साथ अंतिम चर्चा की थी।
दिल्ली स्थित हरियाणा भवन में खिलाडि़यों व योगेश्वर दत्त के साथ सीएम मनोहरलाल व भाजपा नेता।
इनमें सांसद रमेश कौशिक चाहते थे कि टिकट ओलंपिक पदक विजेता पहलवान योगेश्वर दत्त को ही मिले, लेकिन कुछ नेता जननायक जनता पार्टी (जजपा) से भाजपा में आने को तैयार भूपेंद्र मलिक का नाम सुझा रहे थे। रमेश कौशिक के सुझाव को काटने वाले नेताओं का तर्क था कि बरोदा में मौजूदा परिस्थितियों में जाट उम्मीदवार ही उतारा जाना चाहिए।
यह भी बताया जा रहा है कि मुख्यमंत्री मनोहर लाल जातीय समीकरणों के आधार पर टिकट वितरण के खिलाफ थे। असल में मुख्यमंत्री का तर्क यह था कि यदि छह साल तक बिना भेदभाव के सभी वर्गों और क्षेत्रों की सेवा करने के बाद भी यदि भाजपा को उपचुनाव में जातीय समीकरण देखकर प्रत्याशी उतारना पड़े तो यह आत्मविश्लेषण का विषय है।
योगेश्वर दत्त केे समर्थन में हरियाणा भवन पहुंची पहलवान बबीता फाेगाट।
दूसरी ओर, राष्ट्रीय अध्यक्ष से मिलने के बाद प्रदेशाध्यक्ष ओमप्रकाश धनखड़ ने बताया था कि प्रदेश की तरफ से केंद्रीय चुनाव समिति को चार नाम का पैनल भेजा गया है। पैनल में चार नाम आने के साथ ही यह साफ हो गया है कि प्रदेश की तरफ से योगेश्वर दत्त का नाम भी दिया गया है।
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अचानक पूरे दमखम के साथ हरियाणा भवन पहुंचे योगेश्वर दत्त
2019 में भाजपा के टिकट पर चुनाव लड़ चुके पहलवान योगेश्वर दत्त जब गुरुवार को नई दिल्ली हरियाणा भवन अपने साथी खिलाड़ियों के साथ पहुंचे तो एकदम राजनीतिक हलचल बढ़ गई। योगेश्वर दत्त के हरियाणा भवन आने के पीछे पहले तो यह कारण माना जा रहा था कि भाजपा टिकट जाट नेता को देने जा रही है। इसलिए योगेश्वर दत्त दबाव बनाने के लिए मुख्यमंत्री के पास आ रहे हैं।
मुख्यमंत्री मनोहर लाल ने योगेश्वर के साथ आए राज्यभर के खिलाड़ियों के समक्ष राजनीति से जातीय बाधाओं को उखाड़ फेंकने का आह्वान किया तो स्थिति साफ हुई। मुख्यमंत्री ने कहा कि बरोदा हल्के में चुनाव से पहले ही प्रतिद्वंद्वी सेवाभाव की बजाए जातीय समीकरणों पर बात करने लगे हैं। मनोहर लाल के अनुसार खिलाड़ियों को एकजुट होकर जात-पात के जहर को खत्म करना है।
मुख्यमंत्री के इस कथन को अंतरराष्ट्रीय पहलवान बबीता फोगाट ने भी आगे बढ़ाया और कहा कि पहलवान या खिलाड़ी कभी जात-पात नहीं देखते। खिलाड़ी तो खेल की भावना से खेलते हैं और देश के लिए खेलते हैं। राजनीति में भी पहलवान योगेश्वर दत्त 36 बिरादरी को अपना देश मानते हुए सेवा करेंगे।
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-भूपेंद्र मलिक पर डोरे डालने से जजपा नाराज
गठबंधन सहयोगी के रूप में जननायक जनता पार्टी ने साफ तौर पर बरोदा उपचुनाव में भाजपा उम्मीदवार का साथ देने की घोषणा के बाद अब जजपा के रणनीतिकार नाराज हैं। इसके पीछे कारण जजपा के नेता यह बताते हैं कि भाजपा ने उनके नेता भूपेंद्र मलिक पर डोरे डालने का प्रयास किया है। इसमें भाजपा ने जजपा को विश्वास में भी लेना उचित नहीं समझा। जबकि जजपा और भाजपा गठबंधन के दौरान यह साफ हो गया था कि
दोनों दल एक-दूसरे के विधायक या नेताओं से दूरी बनाए रखेंगे। गठबंधन धर्म को कहीं भी ठेस पहुंचाने का काम नहीं किया जाएगा। बावजूद इसके भाजपा प्रदेशाध्यक्ष ओमप्रकाश धनखड़ ने हरियाणा भवन में भूपेंद्र मलिक से मुलाकात की। माना तो यह भी जा रहा है कि प्रदेश भाजपा ने चार नाम के पैनल में भूपेंद्र मलिक का भी नाम दिया है।
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हुड्डा और सैलजा के बीच झूल रहता रहा कपूर नरवाल का टिकट
इनेलो के टिकट पर बरोदा से 2009 में 32 हजार और 2014 में 45 हजार वोट लेने वाले भाजपा नेता कपूर नरवाल अब कांग्रेस के योद्धा हो सकते हैं। पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा ने कपूर नरवाल के नाम पर सहमति दे दी है और माना जा रहा है कि कपूर को सीधे कांग्रेस का टिकट मिलेगा और वह शुक्रवार को बरोदा के लिए नामांकन दाखिल करेंगे। हालांकि कपूर नरवाल कांग्रेस में आ रहे हैं, इस पर प्रदेशाध्यक्ष कुमारी सैलजा सहित प्रदेश प्रभारी विवेक बंसल भी अनभिज्ञता जताते रहे।
दिल्ली में सत्ता के गलियारों में तो यह भी चर्चा रही कि कांग्रेस के पूर्व विधायक श्रीकृष्ण हुड्डा की पुत्रवधु गायत्री हुड्डा को सैलजा पार्टी की राष्ट्रीय अध्यक्ष सोनिया गांधी से भी मिलवाकर आ चुकी हैं। सैलजा तो गायत्री को ही बरोदा से कांग्रेस उम्मीदवार बनवाना चाहती हैं। हालांकि देर शाम तक यही चर्चा रही कि कांग्रेस ने कपूर नरवाल का टिकट फाइनल कर दिया है।