Move to Jagran APP

बदलाव के बावजूद हरियाणा कांग्रेस में गुटबाजी कम होने के आसार नहीं, सैलजा पर बड़ी जिम्‍मेदारी

हरियाणा कांग्रेस में बदलाव के बावजूद पार्टी में गुटबाजी समाप्‍त होने के आसार नहीं है। ऐसे में कुमारी सैलजा के लिए इस पर काबू पाना बड़ी चुनौती होगी।

By Sunil Kumar JhaEdited By: Published: Thu, 05 Sep 2019 09:16 AM (IST)Updated: Thu, 05 Sep 2019 09:16 AM (IST)
बदलाव के बावजूद हरियाणा कांग्रेस में गुटबाजी कम होने के आसार नहीं, सैलजा पर बड़ी जिम्‍मेदारी
बदलाव के बावजूद हरियाणा कांग्रेस में गुटबाजी कम होने के आसार नहीं, सैलजा पर बड़ी जिम्‍मेदारी

चंडीगढ़, जेएनएन। हरियाणा कांग्रेस में बदलाव के बावजूद पार्टी में गुटबाजी कम होने की संभावना नहीं है। वैसे,हरियाणा कांग्रेस में हाईकमान जातीय संतुलन बरकरार रखने में कामयाब रहा है। कांग्रेस हाईकमान ने दलित समुदाय के मौजूदा अध्यक्ष डा. अशोक तंवर को हटाकर दलित समुदाय की ही वरिष्ठ नेता कुमारी सैलजा को बागडोर सौंपी है, ताकि दलित समाज नाराज न हो सके। यही फार्मूला कांग्रेस विधायक दल की नेता किरण चौधरी को हटाने में अपनाया गया है।

loksabha election banner

 दलित और जाट का संतुलन बरकरार रखने में कामयाब रही कांग्रेस

किरण चौधरी जाट समुदाय से ताल्लुक रखती हैं। उनकी कांग्रेस हाईकमान में अच्छी पकड़ रही है, लेकिन हुड्डा खेमे के विधायक किरण चौधरी को हटाने की मुहिम लंबे समय से चलाए हुए थे। हाईकमान ने जाटों की नाराजगी की चिंता करते हुए भूपेंद्र सिंह हुड्डा को कांग्रेस विधायक दल का नेता बना दिया है। इसका फायदा यह हुआ कि किरण के हटने से जाटों में गलत संदेश नहीं गया।

कांग्रेस में इस बदलाव के बाद अब बड़ा सवाल पैदा हो रहा कि क्या अब हरियाणा में गुटबाजी खत्म हो सकेगी। इस सवाल का जवाब नहीं में है। हाईकमान ने तंवर और किरण की जोड़ी को हटाकर सैलजा और हुड्डा की जोड़ी को हरियाणा की बागडोर सौंपी है। रणदीप सिंह सुरजेवाला कांग्रेस के वरिष्ठ नेता हैं। वह दिल्ली दरबार की राजनीति करते हैं। कैथल उनका विधानसभा क्षेत्र हैं। चुनाव के मद्देनजर हालांकि उन्होंने हरियाणा में अपनी गतिविधियां बढ़ा रखी हैं, लेकिन सुरजेवाला का अपना खुद का अलग वजूद है।

अहीरवाल में कैप्टन अजय सिंह यादव की गिनती तंवर और किरण खेमे में होती है। मौजूदा बदलाव के बाद कैप्टन अजय सिंह यादव पूर्व मुख्यमंत्री भूपेंद्र सिंह हुड्डा के विरोध की ताल ठोंकते रहेंगे, इस बात की संभावना से इंकार नहीं किया जा सकता। रही कुलदीप बिश्नोई की बात। कुलदीप कांग्रेस के गैर जाट नेता हैं। उन्हें भूपेंद्र सिंह हुड्डा का नेतृत्व किसी सूरत में स्वीकार नहीं है।

यह भी पढ़ें: सैलजा को मिली हरियाणा कांग्रेस की कमान, हुड्डा चुनाव कमेटी के प्रधान और विधायक दल के नेता

लोकसभा चुनाव के दौरान कुलदीप बिश्नोई साफ संकेत दे चुके कि वे हुड्डा के नेतृत्व में काम नहीं करेंगे। इसीलिए वह हुड्डा के नेतृत्व वाली बस में भी सवार नहीं हुए। ऐसे में अब कुलदीप पूर्व सीएम हुड्डा के नेतृत्व में चुनावी रण में आगे बढ़ेंगे, इसकी संभावना काफी कम है।

यह भी पढ़ें: विस्‍फोट से दहला Punjab का बाॅर्डर शहर बटाला, 24 लोगों की मौत व 26 घायल, अब भी कई के दबे होने की आशंका

हरियाणा कांग्रेस के निवर्तमान अध्यक्ष अशोक तंवर भी इस बदलाव से शायद ही खुश हों। उन्होंने पिछले पांच सालों में हर जिले में घूमकर अपने समर्थकों की एक फौज खड़ी की है। ऐसे में विधानसभा चुनाव के दौरान उन्हें हुड्डा का विरोध करते हुए साफ देखा जा सकता है। कुमाारी सैलजा के लिए जरूर तंवर का भरोसा जीतना किसी चुनौती से कम नहीं होगा। सैलजा यदि तंवर का भरोसा जीतने में कामयाब हो जाती हैं तो भी तंवर पूर्व सीएम हुड्डा का विरोध करते रहेंगे।

पंजाब की ताजा खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें

हरियाणा की ताजा खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.