हरियाणा में पुरानी पेंशन स्कीम और नियमितिकरण बिल पर फिर एक हुए कर्मचारी
हरियाणा विधानसभा का बजट सत्र नजदीक आते ही कच्चे कर्मचारियों को पक्का करने और पुरानी पेंशन स्कीम की बहाली का विधेयक लाने का मुद्दा फिर उठने लगा है।
जेएनएन, चंडीगढ़। हरियाणा विधानसभा का बजट सत्र नजदीक आते ही कच्चे कर्मचारियों को पक्का करने और पुरानी पेंशन स्कीम की बहाली का विधेयक लाने का मुद्दा फिर उठने लगा है। विधानसभा में बिल पास कर केंद्र को भेजने का दबाव बना रहे सर्व कर्मचारी संघ ने 25 फरवरी को जिला मुख्यालयों पर सामूहिक धरने देने का एलान किया है।
सर्व कर्मचारी संघ के महासचिव सुभाष लांबा ने कहा कि जनसेवाओं के निजीकरण के विरोध में सभी 90 विधानसभा क्षेत्रों में नागरिक सम्मेलन किए जाएंगे। दो हजार से ज्यादा हड़ताली एनएचएम कर्मचारियों की बर्खास्तगी का विरोध करते हुए उन्होंने सभी जिलों में प्रदर्शन करने का एलान किया।
लांबा ने कहा कि ग्रुप डी के नवचयनित कर्मचारियों की ज्वाइनिंग के बाद कई विभागों से हजारों कच्चे कर्मचारियों को निकाल दिया गया है। इन कर्मचारियों को वापस सेवा में लेकर प्री मेच्योर रिटायरमेंट की थोपी गई शर्तों को वापस लिया जाए। पुरानी पेंशन की बहाली और कच्चे कर्मचारियों को पक्का करने की मांग को लेकर देशभर के कर्मचारी 21 फरवरी को संसद कूच करेंगे। अखिल भारतीय राज्य सरकारी कर्मचारी फेडरेशन के आह्वान पर आयोजित इस कूच में हरियाणा से दस हजार से ज्यादा कर्मचारी शामिल होंगे।
सर्व कर्मचारी संघ ने 19 फरवरी को सबको शिक्षा, समान शिक्षा और निशुल्क शिक्षा आदि मांगों को लेकर मंडी हाउस से संसद तक आयोजित मार्च में शामिल होने की घोषणा की। साथ ही हरियाणा एजुकेशन मिनिस्ट्रियल स्टाफ एसोसिएशन के 17 फरवरी को रोहतक में वित्त मंत्री के आवास पर होने वाले प्रदर्शन और नगरपालिका कर्मचारी संघ के 27 फरवरी को चंडीगढ़ कूच का समर्थन किया।