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हरियाणा सरकार का बड़ा फैसला, शहरी क्षेत्रों की खेती योग्य भूमि पर नहीं लगेगा प्रापर्टी टैक्स

हरियाणा सरकार ने प्रापर्टी टैक्‍स को लेकर बड़ा फैसला किया है। अब राज्‍य के शहरी क्षेत्रों में कृषि योग्‍य भूमि पर प्रापर्टी टैक्‍स नहीं लगेगा। राज्‍य सरकार ने विधानसभा के बजट सत्र में यह घोषणा की। ऐसा कदम उठाने वाला हरियाणा देश का छठा राज्‍य बन गया है।

By Sunil Kumar JhaEdited By: Published: Wed, 17 Mar 2021 06:42 AM (IST)Updated: Wed, 17 Mar 2021 06:42 AM (IST)
हरियाणा सरकार का बड़ा फैसला, शहरी क्षेत्रों की खेती योग्य भूमि पर नहीं लगेगा प्रापर्टी टैक्स
हरियाणा विधानसभा के बजट सत्र का दृश्‍य। (स्रोत- हरियाणा डीपीआरओ )

चंडीगढ़, जेएएनएन। Haryana Assembly Budget Session: हरियाणा सरकार ने विधानसभा में कई कई अहम घोषणाएं की हैं। प्रदेश सरकार ने कहा है कि शहरी क्षेत्रों में कृषि उपयोग वाली भूमि पर कोई प्रापर्टी टैक्स नहीं लगेगा। ऐसा फैसला लेने वाला हरियाणा छठा राज्य है। संपत्ति कर लगाने वाली धारा संशोधित कर केवल कृषि के लिए ही उपयोग की जाने वाली भूमि को कर के दायरे से बाहर कर किया गया है।

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राजस्थान, आंध्रप्रदेश, तेलंगाना, मध्यप्रदेश व मणिपुर के बाद हरियाणा छठा राज्य बना

विधायकों के सवालों के जवाब में हरियाणा सरकार ने दावा किया है कि संपत्ति कर में इन सुधारों को लागू करने के फलस्वरूप राज्य को सकल राज्य घरेलू उत्पाद (जीएसडीपी) का अतिरिक्त 0.25 प्रतिशत उधार के तौर पर मिलेगा। अब तक इस प्रकार का संशोधन कर पांच राज्यों राजस्थान, आंध्रप्रदेश, तेलंगाना, मध्यप्रदेश व मणिपुर को वित्त मंत्रालय द्वारा अतिरिक्त उधार के रूप में 0.25 प्रतिशत देने की सिफारिश कर दी गई हैं।

विधानसभा में मंत्रियों ने विधायकों के सवालों का जवाब देते हुए की कई घोषणाएं

राज्य के कृषि मंत्री जेपी दलाल ने कहा कि हरियाणा राज्य कृषि विपणन बोर्ड द्वारा स्वीकृत सड़क निर्माण नीति के अनुसार नजदीकी मार्केट यार्ड की दूरी कम करने के लिए पांच करम चौड़ाई वाले रास्तों को पक्का करने का कार्य किया जाएगा। कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री जेपी दलाल ने विधानसभा में यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि मुख्यमंत्री की घोषणा के तहत एक गांव से दूसरे गांव को जोड़ने वाले सभी रास्ते को पक्का किया जाएगा।

कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री जेपी दलाल ने कहा कि प्रदेश में घटते भूमिगत जल स्तर में सुधार करने और दोहन को रोकने के लिए फसल विविधिकरण कार्यक्रम तेज किया जाएगा। इसके अलावा टपका एवं फव्वारा सिंचाई योजनाओं के तहत भी किसानों को जल दोहन रोकने के लिए प्रोत्साहित किया जाएगा। प्रदेश में अधोभूमि जल संरक्षण अधिनियम लागू किया गया है। इसके तहत हर वर्ष 15 मई से पहले धान की बुवाई तथा 15 जून से पहले धान की रोपाई पर प्रतिबंध लगाया गया है।

संसदीय कार्य मंत्री कंवर पाल गुर्जर ने हरियाणा सरकार की प्रदूषण को रोकने की प्रतिबद्धता दोहराई। उन्‍होंने कहा कि राज्य सरकार प्रदेश में हर प्रकार के प्रदूषण को रोकने के लिए दृढ़संकल्पित है। प्रदूषण पर नियंत्रण के लिए फरीदाबाद जिले सहित राज्य के राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र के जिलों में 10 वर्ष से पुराने डीजल वाहनों के पंजीकरण पर प्रतिबंध लगा दिया गया है। राज्य प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने गुरुग्राम और फरीदाबाद जिले की वायु प्रदूषण से संबंधित शिकायतों के समाधान के लिए गुरुग्राम में नियंत्रण कक्ष की स्थापना की है। फरीदाबाद सहित राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र के अधिक यातायात वाले जिलों में वायु गुणवत्ता निगरानी शुरू की गई है।

परिवहन तथा खान एवं भू-विज्ञान मंत्री मूलचंद शर्मा ने कहा कि प्रदेश में अवैध खनन को किसी भी हाल में बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। सरकार द्वारा की गई सख्ती का ही परिणाम है कि वर्ष 2020-21 के दौरान 905 करोड़ रुपये का राजस्व मिला है।

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