पेपर लीक के चलते 3206 पदों की भर्ती का रिजल्ट रद करने के लिए हाई कोर्ट में याचिका, सरकार से मांगा जवाब
हरियाणा में कौशल विकास विभाग द्वारा की जा रही 3206 पदों की भर्ती परीक्षा का मामला हाई कोर्ट में पहुंच गया है। इसको रद करने के लिए पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट में याचिका दायर की गई है। इस संबंध में हाई कोर्ट ने हरियाणा सरकार से जवाब मांगा है।
राज्य ब्यूरो, चंडीगढ़। Haryana Recruitment: हरियाणा के कौशल विकास विभाग द्वारा की जा रही 3206 पदों की भर्ती में इंस्ट्रक्टर के परीक्षा परिणाम व नियुक्ति का मामला हाई कोर्ट में पहुंच गया है। इस पर रोक लगाने की मांग करते हुए पंजाब एवं हरियाणा में याचिका दायर की गई है। हाई कोर्ट ने हरियाणा सरकार ने इस संबंध में जवाब मांगा है।
याचिका में आरोप लगाया गया है कि पांच दिसंबर 2019 को इस भर्ती के लिए चंडीगढ़ के एक सेंटर में परीक्षा के दौरान पेपर लीक हो गया था और इस बाबत चंडीगढ़ पुलिस ने मामला भी दर्ज किया था। इसलिए यह परीक्षा रद की जाए। सुनवाई के दौरान सरकार की तरफ से कोर्ट को बताया गया कि जिस सेंटर का नाम बताया जा रहा है, वहां तो परीक्षा आयोजित ही नहीं की गई।
इस जवाब पर कोर्ट ने सरकार को एक हलफनामा दायर कर पक्ष रखने का आदेश दिया है। ज्ञात रहे कुछ सप्ताह पूर्व ही इस मामले में हाई कोर्ट ने संबंधित भर्ती पर रोक हटाते हुए चयनित उम्मीदवारों को नियुक्ति देने का आदेश दिया था। हरियाणा सरकार के कौशल विकास विभाग की ओर से विभिन्न तरह के 3206 पदों के लिए विज्ञापन जारी किया गया था। इस विज्ञापन को विभाग में अनुबंध के आधार पर कार्य कर रहे कर्मचारियों ने चुनौती दी हुई है। याचिकाकर्ताओं ने दलील दी थी कि वह अनुबंध आधार पर 2011 में चयन प्रक्रिया पूरी होने के बाद नियुक्त हुए थे।
हरियाणा की रेगुलराइजेशन पालिसी के तीन वर्ष पूर्ण न होने के चलते वह इस भर्ती प्रक्रिया का हिस्सा नहीं बन सके थे। हाई कोर्ट ने याचिका पर हरियाणा सरकार को नोटिस जारी करते हुए परीक्षा आयोजित करने की छूट दे दी थी लेकिन भर्ती आगे बढ़ाने पर रोक लगा दी थी। अब हरियाणा सरकार व चयन प्रक्रिया में शामिल आवेदकों ने हाई कोर्ट में अर्जी दाखिल करते हुए रोक को हटाने की मांग की है।
हाई कोर्ट ने कहा कि जब सरकार नियमित भर्ती कर रही है तो अनुबंध के आधार पर नियुक्त व्यक्ति कैसे इस पर रोक लगाने की मांग कर सकता है। यह मांग तभी की जा सकती है, जब उनके स्थान पर अनुबंध पर नियुक्ति की जा रही है। हाई कोर्ट ने इन टिप्पणियों के साथ अर्जी को मंजूर करते हुए भर्ती से रोक हटा दी है। हालांकि हाई कोर्ट ने स्पष्ट किया कि यह भर्ती इस याचिका के अंतिम फैसले पर निर्भर होगी। अब एक नई याचिका दायर होने से इस भर्ती पर फिर संकट के बादल नजर आ रहे है।