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आइटीआइ में नहीं खलेगी अनुदेशकों की कमी

प्रदेश के औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान (आइटीआइ) में अब अनुदेशकों की कमी नहीं खलेगी। साथ ही छात्रों को ई-लर्निंग विडियो द्वारा प्रशिक्षित किया जाएगा। इसके लिए औद्योगिक विकास एवं प्रशिक्षण विभाग ने प्रदेश के सभी संस्थानों में ई-लर्निंग विडियो बनाने के निर्देश दिए हैं। इसके लिए विभाग के निदेशक ने सभी संस्थानों को पत्र भी जारी कर दिया है। पहले चरण में ये विडियो 12 ट्रेडों के बनाए जा रहे हैं। जिन संस्थानों में अनुदेशकों की कमी होगी, वहां इन ई-लर्निंग विडियो के जरिए छात्रों को प्रशिक्षण दिया जाएगा।

By JagranEdited By: Published: Tue, 18 Sep 2018 06:58 PM (IST)Updated: Tue, 18 Sep 2018 06:58 PM (IST)
आइटीआइ में नहीं खलेगी अनुदेशकों की कमी
आइटीआइ में नहीं खलेगी अनुदेशकों की कमी

- संस्थानों में तैयार करवाए जा रहे हैं ई-लर्निग वीडियो

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सुरेंद्र चौहान, पलवल

प्रदेश के औद्योगिक प्रशिक्षण संस्थान (आइटीआइ) में अब अनुदेशकों की कमी नहीं खलेगी। साथ ही छात्रों को ई-लर्निंग वीडियो द्वारा प्रशिक्षित किया जाएगा। औद्योगिक विकास एवं प्रशिक्षण विभाग ने प्रदेश के सभी संस्थानों में ई-लर्निंग वीडियो बनाने के निर्देश दिए हैं। इसके लिए विभाग के निदेशक ने सभी संस्थानों को पत्र भी जारी कर दिया है। पहले चरण में ये वीडियो 12 ट्रेडों के बनाए जा रहे हैं। जिन संस्थानों में अनुदेशकों की कमी होगी, वहां इन ई-लर्निंग वीडियो के जरिए छात्रों को प्रशिक्षण दिया जाएगा।

विभाग के अधीन प्रदेश में करीब 160 सरकारी संस्थान हैं, जिनमें अनुदेशकों की संख्या काफी कम है। पिछले कुछ वर्षों में छात्रों का आइटीआइ के प्रति रुझान कम रहा था, जिसके चलते अनुदेशक भी पूरे नहीं बन पाए। अकेले पलवल जिले में पलवल, हथीन, कुशक व दीघोट में सरकारी आइटीआइ हैं, जबकि ¨हदुस्तान आइटीआइ मित्रोल, श्रीकृष्णा आइटीआइ घर्रोंट हथीन, एलआर आइटीआइ दीघोट, शहीद भगत ¨सह आइटीआइ अल्लीका व वर्धमान आइटीआइ नया गांव में प्राइवेट आइटीआइ हैं। सभी अनुदेशकों की कमी से जूझ रहे हैं।

कुछ कोर्स तो ऐसे हैं, जिनमें अनुदेशक न होने से छात्र सही प्रशिक्षण प्राप्त नहीं कर पाते हैं। निजी कंपनियों में आइटीआइ से कोर्स करने वाले छात्रों की मांग बहुत ज्यादा है, परंतु प्रशिक्षण सही रूप से न मिल पाने के कारण कंपनियों में उन्हें सही वेतन नहीं मिल पाता है। दूसरी तरफ कंपनियों को भी परेशानी होती है। अब जिन संस्थानों में अनुदेशक अच्छा प्रशिक्षण दे रहे हैं, उनके ई-लर्निंग वीडियो बनवाए जा रहे हैं।

विभाग द्वारा लिए गए निर्णय के अनुसार पहले चरण में इलेक्ट्रीशियन, कोपा, फिटर, वेल्डर, टर्नर, मशीनिस्ट, डीएमसीए, सरफेस आर्नामेंटेशन टेक्निक, से¨वग टेक्नालॉजी, ड्रेस मे¨कग, बेसिक कॉस्मेटोलॉजी, हेल्थ सेनेटरी इंस्पेक्टर कोर्सों की ई-लर्निंग वीडियो बनाने के निर्देश दिए गए हैं। पलवल आइटीआइ में भी कुछ कोर्सों के करीब 20 ई-लर्निंग वीडियो बनवाए गए हैं। निदेशालय के निर्देशानुसार संबंधित कोर्सों की ई-लर्निंग वीडियो तैयार करवाकर भिजवाई जा रही हैं। विभाग की यह अच्छी पहल है। इससे अनुदेशकों की कमी कुछ हद तक दूर हो जाएगी और छात्रों को प्रशिक्षण भी अच्छा मिलेगा।

- भगत ¨सह, प्रधानाचार्य आइटीआइ पलवल


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