थोड़ी सी बारिश में ही परेशानियां बेशुमार
जिला में दो दिन पहले हुई बारिश का असर आज भी कायम है।
जागरण संवाददाता, नारनौल:
जिला में दो दिन पहले हुई बारिश का असर आज भी कायम है। शहर के सीआइए रोड, खड़खड़ी, मेहता चौक, सलामपुरा, पीर आगा, जमालपुर, सेन चौक, गणेश कॉलोनी, रामनगर, कैलाश नगर, नलापुर, रावका, चांदुवाड़ा आदि क्षेत्रों में आज भी बारिश का पानी जमा है। थोड़ी सी बारिश में ही जलभराव की समस्या से शहर को निजात नहीं मिल पा रही है। इन क्षेत्रों में थोड़ी सी बारिश होने के बाद पानी निकासी के उचित प्रबंध नहीं होने के कारण लोगों को अच्छी धूप निकलने के बाद ही सूखने का इंतजार करने के अलावा कोई विकल्प नहीं बचता। बरसात के मौसम में जलभराव के साथ बीमारियां फैलने का कारण बनने से लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। अब कोविड-19 की बंदिशों ने अधिकारियों के पास शिकायत लेकर जाने पर भी रोक लगने से छोटी छोटी समस्याएं भी नासूर बनने लगी हैं। करीब दस दिन पहले कैलाश नगर में बारिश के बाद सीवर पाइप से लीकेज होने के कारण जमीन धंसने से लोग बाल बाल बचे थे। प्रशासन की ओर से इस पर लीपापोती करते हुए धंसी हुई जमीन को जेसीबी से मिट्टी भरने का काम किया गया, इसके बावजूद लोगों में थोड़ी सी बारिश होते ही डर बना रहता है। कहीं दूसरी जगह से जमीन न धंस जाए। बारिश के हालात बनते हैं तो लोगों के दिल किसी खतरे की आशंका से सहमने लगते हैं।
रामनगर के लोगों ने कृषिमंत्री को की शिकायत:
इसी प्रकार महेंद्रगढ़ रोड स्थित रामनगर कॉलोनी के निवासियों का प्रतिनिधिमंडल 14 अगस्त शाम को कृषिमंत्री जयप्रकाश दलाल से मिलकर समस्या से अवगत कराया। यहां सीवर लाइन बिछाने में बरती गई कोताही के कारण गलियों और घरों के सामने पानी और कीचड़ जमा है। 14 अगस्त को हुई आधे घंटे की बारिश ने रामनगर के गली नंबर एक व दो को पूरी तरह जलमग्न कर दिया। दो दिन बाद भी सीवर और बरसात के पानी के साथ भारी कीचड़ जमा होने से न केवल लोगों को घरों में रहना दूभर हो रहा है बल्कि दुर्गंध से स्वास्थ्य पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ रहा है। लोगों का कहना है कि बदहाल गलियों के कारण वृद्धों, बच्चों और महिलाओं का घर निकलना दूभर हो रहा है। कॉलोनी निवासी वीरेंद्र सिंह सैनी, बीरेंद्र सिंह एडवोकेट, कृष्ण यादव, शंकरलाल शर्मा आदि का कहना है कि पहले से ही गली में पानी निकासी की समस्या से जूझ रहे थे वहीं पिछले दिनों लगातार हो रही बारिश से जलभराव ने परेशानियां और बढ़ा दी हैं। घरों के अंदर पानी भरने के साथ दीवारों की नींव भी कमजोर होती जा रही है।
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अभी बारिश का दौर थमने के बाद सीवर व्यवस्था को दुरुस्त कराने के लिए योजना बनाई जा रही है। इसके लिए बजट आया हुआ है। नगर परिषद और विभाग के बीच तालमेल कर समस्याओं के प्रमुख बिदुओं को चिह्नित किया जा रहा है। जहां ज्यादा दिक्कत हैं वहां प्राथमिकता के आधार पर समाधान कराया जाएगा। बाकि जगहों को भी उसी के अनुसार दुरुस्त कराए जाएंगे।
- केके गिल, कार्यकारी अभियंता, जनस्वास्थ्य विभाग।