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अब तक जिले में साइबर क्राइम के 73 मामले हुए दर्ज

साइबर क्राइम के मामले लगातार बढ़ रहे हैं। जिला में अब तक साइबर क्राइम के 73 मामले दर्ज हो चुके हैं।

By JagranEdited By: Published: Sat, 11 Jul 2020 04:51 PM (IST)Updated: Sat, 11 Jul 2020 04:51 PM (IST)
अब तक जिले में साइबर क्राइम के 73 मामले हुए दर्ज
अब तक जिले में साइबर क्राइम के 73 मामले हुए दर्ज

जागरण संवाददाता, नारनौल :

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साइबर क्राइम के मामले लगातार बढ़ रहे हैं। जिला में अब तक साइबर क्राइम के 73 मामले दर्ज किए गए हैं। इनमें से पिछले साल 48 मामले दर्ज हुए तो इस वर्ष अब तक 25 मामले दर्ज हो चुके हैं। इसके अलावा शातिर बदमाशों द्वारा 25 लोगों के खाते से राशि निकालने की भी शिकायत आई हैं। पुलिस द्वारा बार बार साइबर क्राइम से बचने के लिए लोगों को जागरूक किया जा रहा है फिर भी लोग आसानी से इस साइबर ठगी के शिकार हो जाते हैं। इस संबंध में पुलिस अधीक्षक सुलोचना गजराज ने थाना प्रभारी, चौकी इंचार्ज को साइबर क्राइम से संबंधित लोगों को जागरूक करने के लिए दिशा-निर्देश जारी किए हैं। वहीं साइबर क्राइम से बचाव के लिए एडवाइजरी भी जारी की है। पुलिस अधीक्षक ने कहा कि कोरोना महामारी में लोग शॉपिग व पेमेंट करने के लिए ऑनलाइन प्रक्रिया अपना रहे हैं। जैसे-जैसे लोग टेक्नोलॉजी की तरफ बढ़ रहे हैं वैसे-वैसे साइबर जालसाज लोगों को अपनी ठगी का शिकार बना रहे हैं। इसलिए हमें साइबर ठगी से बचने के उपाय व साइबर अपराध के तरीकों के बारे में जानकारी होना आवश्यक है।

अपरिचित के बहकावे में नहीं आएं:

अगर कोई अपरिचित व्यक्ति फोन करके किसी एप्लीकेशन को डाउनलोड करने के लिए कहता है तो ऐसा नहीं करें। इससे आपका मोबाइल हैंग हो सकता है। वहीं जालसाल केवाईसी करने के नाम पर आपसे 1 या 10 रुपये आपके ही बैंक अकाउंट में ट्रांसफर करने के लिए कहते हैं। जब आप उनके कहे मुताबिक ट्रॉजेक्शन करते है तो उसी वक्त वे आपके फोन से आपके खाते से पैसे निकाल लेते हैं। वहीं एटीएम बूथ पर पैसे निकालते वक्त किसी को अपना पिन नंबर न बताएं और न दिखाएं। पैसे निकालने में असमर्थ होने पर किसी भी अपरिचित व्यक्ति की सहायता न लें। वह अपरिचित आपके साथ धोखेबाजी कर आपका एटीएम कार्ड को बदल सकता है और आपके खाते से पैसा निकाल सकता है। किसी भी व्यक्ति के साथ अपने बैंक डिटेल, एटीएम कार्ड नंबर, कार्ड की एक्सपायरी एवं कार्ड पर पीछे लिखे 3 नंबर किसी के साथ शेयर न करें। जैसे ही आपको अपने साथ हुई धोखाधड़ी के बारे में पता चलता है तुरंत बैंक को सूचित कर अपना एटीएम कार्ड को बंद करवाएं। कुछ जालसाज बैंक अधिकारी बनकर आपका बैंक अकाउंट बंद, डेबिट या क्रेडिट कार्ड बंद होने पर अकाउंट की केवाईसी करने के नाम पर आपसे आपकी बैंकिग डिटेल्स मांगते है। पुलिस भी ऐसे जालसाजों से लोगों को जागरूक करती है। फिर भी आपके साथ कोई ऑनलाइन धोखाधड़ी होती है तो अपनी शिकायत पुलिस में दें।


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