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संगोष्ठी में कैंसर रोधी दवा पर की चर्चा, 197 प्रतिभागियों ने प्रस्तुत किए पोस्टर व शोधपत्र

दयाल सिंह कालेज में रसायन शास्त्र विभाग की ओर से निदेशक उच्चतर शिक्षा हरियाणा के संयुक्त तत्वावधान में रीसेंट ट्रेंडस इन केमिकल एंड एन्वायरमेंटल सांइसिज विषय पर राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन किया गया। संगोष्ठी में क्षेत्र के विशेषज्ञों तथा विभिन्न महाविद्यालयों से आए प्रतिभागियों को कैंसर विषय पर विचार व्यक्त किए। 197 प्रतिभागियों ने अपना पंजीकरण कराया। डॉ. अर्जव शर्मा निदेशक रिटायर्ड एनबीएजीआर करनाल मुख्यातिथि रहे।

By JagranEdited By: Published: Sat, 30 Mar 2019 09:08 AM (IST)Updated: Sat, 30 Mar 2019 09:08 AM (IST)
संगोष्ठी में कैंसर रोधी दवा पर की चर्चा,  197 प्रतिभागियों ने प्रस्तुत किए पोस्टर व शोधपत्र
संगोष्ठी में कैंसर रोधी दवा पर की चर्चा, 197 प्रतिभागियों ने प्रस्तुत किए पोस्टर व शोधपत्र

जागरण संवाददाता, करनाल : दयाल सिंह कालेज में रसायन शास्त्र विभाग की ओर से निदेशक उच्चतर शिक्षा हरियाणा के संयुक्त तत्वावधान में रीसेंट ट्रेंडस इन केमिकल एंड एन्वायरमेंटल सांइसिज विषय पर राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन किया गया। संगोष्ठी में क्षेत्र के विशेषज्ञों तथा विभिन्न महाविद्यालयों से आए प्रतिभागियों को कैंसर विषय पर विचार व्यक्त किए। सभी प्रतिभागियों ने पोस्टर व शोध पत्र प्रस्तुत किए। 197 प्रतिभागियों ने अपना पंजीकरण कराया। संगोष्ठी में डॉ. अर्जव शर्मा निदेशक रिटायर्ड एनबीएजीआर करनाल मुख्यातिथि रहे।

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एन्वायमेंटल साइंसिज का जीवन प्रणाली पर सीधा प्रभाव : डॉ. अखिलेश

वहीं दिल्ली विश्वविद्यालय के रसायन शास्त्र विभाग के प्रोफेसर डॉ. अखिलेश कुमार वर्मा ने बीज वक्ता के रूप में व्याख्यान प्रस्तुत किया।  रसायन शास्त्र के विभागाध्यक्ष एवं संगोष्ठी के संयोजक डॉ. एसपी भट्टी ने संगोष्ठी के विषय की जानकारी देते हुए संबंधित विषयों की चर्चा की। डॉ. अखिलेश कुमार वर्मा ने कहा कि कैमिकल एंड एन्वायरमेंटल साइंसिज विज्ञान की मुख्य शाखाएं हैं जिनका जीवन प्रणाली पर सीधा प्रभाव रहता है।

प्रथम के बजाय अद्वितीय बनने की करें कोशिश : डॉ. अर्जव

उद्घाटन सत्र में मुख्यातिथि डॉ. अर्जव शर्मा ने कहा कि केमिस्ट्री सभी विज्ञानों की जननी है तथा पर्यावरण अध्ययन व्यक्तिगत तथा सामाजिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है। युवा वर्ग को प्रोत्साहित करते हुए डॉ. शर्मा ने कहा कि जीवन में प्रथम स्थान प्राप्त करने की बजाय अद्वितीय बनने की कोशिश करनी चाहिए। पहले तकनीकी सत्र में कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय से प्रो. मीरा राघव ने कहा कि अच्छे स्वास्थ्य के लिए रसोई में प्राकृतिक उत्पादों का प्रयोग करना चाहिए। इसी सत्र में डॉ. रमन सेठ प्रिसिपल साइंटिसट एनडीआरआइ ने दूध तथा दुग्ध उत्पादों में मिलावट पता लगाने की किट के विषय में जानकारी दी।

कैंसर के इलाज संबंधित चुनौतियों पर डाला प्रकाश

दूसरे तकनीकी सत्र में प्रो. नीरा राघव की अध्यक्षता में प्रतिभागियों ने पोस्टर तथा शोध पत्र प्रस्तुत किए। तीसरे तकनीकी सत्र में प्रो दिलीप कुमार रसायन शास्त्र विभाग बिट्स पिलानी ने अपने व्याख्यान में वर्तमान समय में कैंसर रोधी दवा और कैंसर के इलाज से संबंधित चुनौतियों पर प्रकाश डाला। कुरुक्षेत्र से प्रो संजीव अरोड़ा ने प्लास्टिक वेस्ट मैनेजमेंट पर अपने विचार प्रस्तुत किए। उन्होंने प्राचार्य से शपथ भी दिलवाई कि कॉलेज कैंटीन में प्लास्टिक तथा थर्मोकॉल के प्रयोग पर पूरी तरह से पाबंदी लगवाएंगे। अंत में उन्होंने प्लास्टिक वेस्ट मैनेजमेंट पर एक लघु फिल्म भी दिखाई।

समापन सत्र में प्रो अमलेंदू पाल एमेरिटस सांइटिस्ट रसायन शास्त्र विभाग कुरुक्षेत्र विश्वविद्यालय ने अपने व्याख्यान में मानवता के लिए रसायन शास्त्र की महत्वपूर्ण भूमिका पर जोर दिया। प्रो बीआर गुलाटी जनरल मैनेजर दयाल सिंह कॉलेज ट्रस्ट सोसायटी ने आयोजकों को सफल आयोजन के लिए बधाई दी। धन्यवाद ज्ञापन डॉ एसपी भट्टी ने किया। इस अवसर पर डॉ. रवि, डॉ. महावीर प्रसाद व प्रो. संदीप मौजूद रहे।


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