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करनाल को बजट में मिले मेडिकल यूनिवर्सिटी की सौगात

स्मार्ट सिटी करनाल के बाशिदे हरियाणा के भावी बजट से ढेरों उम्मीदें लगाए बैठे हैं। इस लंबी फेहरिस्त में यहां मेडिकल यूनिवर्सिटी की बरसों पुरानी मांग भी शामिल है जो अभी तक सिरे नहीं चढ़ सकी है।

By JagranEdited By: Published: Thu, 27 Feb 2020 09:50 AM (IST)Updated: Thu, 27 Feb 2020 09:50 AM (IST)
करनाल को बजट में मिले मेडिकल यूनिवर्सिटी की सौगात
करनाल को बजट में मिले मेडिकल यूनिवर्सिटी की सौगात

जागरण संवाददाता, करनाल: स्मार्ट सिटी करनाल के बाशिदे हरियाणा के भावी बजट से ढेरों उम्मीदें लगाए बैठे हैं। इस लंबी फेहरिस्त में यहां मेडिकल यूनिवर्सिटी की बरसों पुरानी मांग भी शामिल है, जो अभी तक सिरे नहीं चढ़ सकी है। करनालवासी चाहते हैं कि इस बार मुख्यमंत्री मनोहर लाल पूरी प्राथमिकता के साथ अपनी विधानसभा को यह सौगात दें ताकि कर्ण नगरी में न चिकित्सकों की कमी रहे और न ही चिकित्सा क्षेत्र में नवीनतम शोध-अनुसंधान की गति प्रभावित हो।

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करनाल में ॉकल्पना चावला मेडिकल कॉलेज तो है लेकिन मेडिकल यूनिवर्सिटी की विधिवत शुरुआत अभी तक नहीं हुई है। हालांकि, आए दिन तमाम जनप्रतिनिधियों से लेकर प्रशासनिक अधिकारियों के स्तर पर इस बाबत तमाम दावे तो किए जाते हैं। लेकिन, अभी तक वास्तविकता के धरातल पर बहुत कुछ ठोस नहीं हो सका है। इसीलिए प्रदेश सरकार के भावी बजट में करनालवासियों को उम्मीद है कि यूनिवर्सिटी को लेकर कायम गतिरोध दूर करने में मुख्यमंत्री जरूर सक्रियता दर्शाएंगे। ऐसा होने पर करनाल सही मायने में जहां मेडिकल हब के रूप में उभरकर आएगा तो वहीं इससे प्रत्यक्ष व परोक्ष रूप से पूरे प्रदेशवासियों सहित उत्तर भारत को भी फायदा होगा। फिलहाल कल्पना चावला मेडिकल यूनिवर्सिटी में नर्सिंग कॉलेज की 50 और फिजियोथैरेपी कॉलेज की 50 सीटों की कक्षाएं कुटेल स्थित नवनिर्मित यूनिवर्सिटी में स्थानांतरित की जा चुकी हैं। लेकिन, अभी भी इसकी विधिवत शुरुआत का इंतजार बरकरार है। शुरुआत में फंस रहा मुख्य मार्ग का पेंच

नेशनल हाईवे से यूनिवर्सिटी को जोड़ने के लिए करीब डेढ़ किलोमीटर का क्षेत्र अभी तक विवादित है। दो कॉलेज बने हैं लेकिन अभी काफी काम बाकी है। अगले सत्र से कक्षाएं शुरू होनी हैं लेकिन अभी तक मुख्य रास्ते का हल नहीं निकलना न केवल अधिकारियों बल्कि स्थानीय विधायक के लिए भी चिता का सबब बना है। हालांकि पूरी कोशिश की जा रही है कि कॉलेजों के उद्घाटन से पूर्व ही इसका हल निकल जाए। मुख्यमंत्री मनोहर लाल की सख्त हिदायत के बाद विधायक हरविद्र कल्याण ने आश्वस्त किया है कि समस्या का समाधान जल्द कराया जाएगा। अभी अधूरी है आस

140 एकड़ में यूनिवर्सिटी निर्माण पर 2500 करोड़ रुपये की लागत आई है। इसका निर्माण कार्य जोरों पर है। यूनिवर्सिटी में 500 बिस्तर का सुपर-स्पेशलिटी अस्पताल सहित 50 बिस्तर का ट्रॉमा सेंटर, स्नातकोत्तर और पोस्टडॉक्टोरल पाठ्यक्रम, जैव प्रौद्योगिकी विभाग, मेडिकल जेनेटिक्स में एडवांस रिसर्च सेंटर, मानसिक स्वास्थ्य संस्थान, खेल चोट उपचार केंद्र, इम्यूनोलॉजी और वायरोलॉजी अनुसंधान केंद्र, फार्मेसी कॉलेज, 50 सीट के डेंटल कॉलेज के प्रोजेक्ट निर्माणाधीन हैं। दोनों कॉलेजों के निर्माण का काम हिदुस्तान प्री-फैब लिमिटेड ने किया है। इस प्रोजेक्ट के बाद दूसरे काम की तैयारी है। दूर होगी डॉक्टरों की कमी

करनालवासियों को उम्मीद है कि बजट में मुख्यमंत्री यूनिवर्सिटी शीघ्र शुरू होने की घोषणा करेंगे। ऐसा होने पर ही करनाल सही मायने में मेडिकल हब के रूप में उभर सकेगा। डॉक्टरों की कमी झेल रहे प्रदेश के मेडिकल संस्थानों को इसका लाभ मिलेगा। कल्पना चावला राजकीय मेडिकल कॉलेज में हर वर्ष 100 एमबीबीएस डॉक्टर निकलेंगे। यूनिवर्सिटी में एमबीबीएस के साथ नर्सिंग व फिजियोथैरेपी विशेषज्ञ निकलेंगे।


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