अब नरवाना-कुरुक्षेत्र रेल मार्ग पर तेजी से दौड़ेगी ट्रेन, बदला जा रहा ट्रैक
रेलवे की ओर से विद्युतीकरण का कार्य पूरा करने के बाद अब कैथल-कुरुक्षेत्र रेल मार्ग पर ट्रैक बदलने का कार्य शुरू कर दिया गया है। यह कार्य रेल मार्ग पर थानेसर से पहले आने वाले पिडारसी रेलवे हॉल्ट तक करीब 59 किलोमीटर तक बदला जाएगा।
कमल बहल, कैथल : रेलवे की ओर से विद्युतीकरण का कार्य पूरा करने के बाद अब कैथल-कुरुक्षेत्र रेल मार्ग पर ट्रैक बदलने का कार्य शुरू कर दिया गया है। यह कार्य रेल मार्ग पर थानेसर से पहले आने वाले पिडारसी रेलवे हॉल्ट तक करीब 59 किलोमीटर तक बदला जाएगा। इसी कड़ी में रेलवे ने अब कैथल रेलवे स्टेशन के क्षेत्र में ट्रैक बदलने के कार्य की भी शुरूआत की दी है। बता दें कि कैथल रेलवे स्टेशन का निर्माण वर्ष 1870 में हुआ था, जिससे इसे 150 वर्ष हो चुके है, लेकिन इस पर कोई कार्य नहीं हो पाया। हालांकि नरवाना और कैथल के क्षेत्र में रेल मार्ग पर मरम्मत का कार्य तो होता रहता था, लेकिन इसे बदलने का कार्य कभी नहीं किया गया। इसी वर्ष करीब 11 महीने पहले जनवरी में विद्युतीकरण का कार्य पूरा किया गया। विद्युतीकरण का कार्य पूरा होने के बावजूद ट्रैक के काफी वर्ष पुराना होने के कारण यहां पर ट्रेनों की स्पीड नहीं बढ़ पाई। अब ट्रैक बदलने का कार्य पूरा होने के बाद स्पीड बढ़ेगी। स्पीड बढ़ने से जिला के लोगों को नई ट्रेन की सौगात मिलेगी। इस वर्ष के बजट में हुई थी घोषणा, अब कार्य शुरू :
गौरतलब है कि केंद्र सरकार की ओर से प्रस्तुत किए गए आम बजट में सरकार ने रेल बजट में नरवाना कुरुक्षेत्र रेल मार्ग पर 59 किलोमीटर तक ट्रैक बदलने के लिए 9 करोड़ रुपये की राशि को स्वीकृति दी थी। जिस पर कार्य शुरू किया गया है। अब ट्रैक बदलने का कार्य पूरा होने के बाद स्पीड बढ़ने के बाद जिला के लोगों को नई ट्रेनों के मिलने की और अधिक संभावनाएं बढ़ जाएगी। शुरू किया गया कार्य :
रेलवे के गैंग नंबर चार के सुपरवाइजर मंगल सिंह ने बताया कि कैथल रेलवे स्टेशन पर करीब तीन किलोमीटर तक ट्रैक बदलने के कार्य को शुरू कर दिया गया है। मंगल सिंह ने बताया कि इस ट्रैक को बदलने का कार्य गैंग नंबर चार को सौंपा गया है। एक किलोमीटर तक ट्रैक को बदल भी दिया गया है। कैथल, कलायत और ढांड में स्थापित होगी इलेक्ट्रिोनिक इंटरलॉकिग :
इसी वर्ष रेलवे ने जिला के तीन स्टेशन कलायत, कैथल और ढांड के नवीनीकरण को लेकर बजट जारी किया था, जिस पर कलायत और कैथल रेलवे स्टेशन पर तो कार्य शुरू भी हो चुका है। रेल मार्ग इलेक्ट्रिकल होने के बाद कैथल, कलायत और ढांड में स्थित पिहोवा रोड रेलवे स्टेशन पर जइलेक्ट्रिोनिक इंटरलॉकिग भी स्थापित
करने का प्रस्ताव है, जिस पर अभी कार्य होना बाकी है। इस कार्य पर 18 लाख रुपये की लागत आएगी। नई ट्रेनें मिलने की उम्मीद जगेगी
रेल कल्याण समिति के चेयरमैन सतपाल गुप्ता ने बताया कि रेलवे ट्रैक से जिला के लोगों को नई ट्रेनें मिलने की उम्मीद जगेगी। ट्रैक का कार्य शुरू होने से जिला के लिए लोगों को काफी राहत मिलेगी। रेल कल्याण समिति की मांग करती है कि कैथल रेलवे स्टेशन पर प्लेटफार्म बढ़ाने की मांग करता है। रेलवे को चाहिए है कि वे नई ट्रेन चलाकर जिला के लोगों को नई सौगात दें।