Move to Jagran APP

जिले में सौ फीसद पूरा होगा जल शक्ति अभियान : डीसी

जल शक्ति अभियान के तहत विभिन्न विभागों द्वारा अलग-अलग क्रियाकलाप करके जल संचय का कार्य किया जा रहा है। कृषि एवं कल्याण विभाग में विभिन्न कार्य किए जा रहे हैं। इनकी फीडबैक लेते हुए डीसी प्रदीप दहिया ने दिशा-निर्देश दिए।

By JagranEdited By: Published: Sat, 17 Jul 2021 07:55 AM (IST)Updated: Sat, 17 Jul 2021 07:55 AM (IST)
जिले में सौ फीसद पूरा होगा जल शक्ति अभियान : डीसी
जिले में सौ फीसद पूरा होगा जल शक्ति अभियान : डीसी

कैथल (वि) : जल शक्ति अभियान के तहत विभिन्न विभागों द्वारा अलग-अलग क्रियाकलाप करके जल संचय का कार्य किया जा रहा है। कृषि एवं कल्याण विभाग में विभिन्न कार्य किए जा रहे हैं। इनकी फीडबैक लेते हुए डीसी प्रदीप दहिया ने दिशा-निर्देश दिए।

loksabha election banner

डीसी ने बताया कि जिला में जल शक्ति अभियान के तहत जो भी लक्ष्य दिया गया है, उसे शत-प्रतिशत पूरा किया जाएगा। कृषि विभाग की ओर से आइईसी एक्टिविटी के तहत तीन रेडियो टाक विषय विशेषज्ञों द्वारा दिए जा चुके हैं। माइक्रो इरिगेशन व फसल विविधिकरण के लिए 18 अवेयरनेस कैंप आयोजित किए जा चुके है। इसके साथ-साथ ग्रामीण स्तर पर भी 692 कार्यक्रमों के माध्यम से आ जन को जागरूक किया जा चुका है। मेरा पानी-मेरी विरासत योजना के तहत छह हजार 440 एकड़ एरिया पंजीकृत किया जा चुका है। उन्होंने निर्देश दिए कि इसी प्रकार अन्य कार्य करते रहें ताकि जल संरक्षण की दिशा में कैथल दूसरे जिलों के लिए ही मिसाल बने।

कृषि एवं किसान कल्याण विभाग के उपनिदेशक डा. कर्मचंद ने डीसी को जानकारी दी कि 70 सोखता गड्ढे बनाए जा चुके हैं। जल्द ही 30 और बनाए जाएंगे। इसी प्रकार 18 बोरवेल रिचार्ज स्ट्रक्चर निर्मित किए जा चुके हैं। विभाग के पास इससे पहले भी 23 रेनवाटर हार्वेस्टिग स्ट्रक्चर हैं, जिन्हें दुरुस्त किया जा चुका है। 26 भूजल को मापने के ट्यूब्स भी कार्यरत हैं। इस मौके पर एसडीएओ सतीश नारा के अलावा अन्य संबंधित अधिकारी एवं कर्मचारी मौजूद रहे।

निशानदेही के लिए पैमाइश टोटल सर्वे मशीन के रेट किए गए हैं निर्धारित : डीसी

कैथल : (वि) डीसी प्रदीप दहिया ने बताया कि निशानदेही के लिए पैमाइश टोटल सर्वे मशीन के रेट निर्धारित कर दिए गए हैं। इस व्यवस्था से किसानों को सीधा लाभ मिलेगा। कई बार सीएम विडो पर बहुत सी शिकायतें पैमाइश नहीं होने के कारण लंबित रह जाती है। डीजीपीएस मशीन के लिए 7 हजार 500 रुपये एक दिन के लिए निर्धारित किए गए हैं। अगर पैमाइश में एक दिन से ज्यादा समय लगने की संभावना है तो 10 हजार तक की फीस ली जा सकती है। कोई व्यक्ति अगर किसानों से पैमाइश की एवज में अधिक पैसे लेता है तो उसकी शिकायत दर्ज करवाई जा सकती है और उस पर आवश्यक कार्रवाई अमल में लाई जाएगी।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.