Move to Jagran APP

134ए के तहत 2124 विद्यार्थी ही पाए 55 अंक

शुक्रवार को खंड शिक्षा अधिकारी कार्यालय में 134ए का परीक्षा परिणाम चस्पा कर दिया गया। सरकारी और प्राइवेट स्कूल के 3400 विद्यार्थियों ने आवेदन किया था जिनमें से परीक्षा और सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले विद्यार्थियों का अंकों के आधार पर परिणाम तैयार किया गया।

By JagranEdited By: Published: Sat, 20 Apr 2019 10:58 AM (IST)Updated: Sun, 21 Apr 2019 06:30 AM (IST)
134ए के तहत 2124 विद्यार्थी ही पाए 55 अंक
134ए के तहत 2124 विद्यार्थी ही पाए 55 अंक

जागरण संवाददाता, कैथल : शुक्रवार को खंड शिक्षा अधिकारी कार्यालय में 134ए का परीक्षा परिणाम चस्पा कर दिया गया। सरकारी और प्राइवेट स्कूल के 3400 विद्यार्थियों ने आवेदन किया था, जिनमें से परीक्षा और सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले विद्यार्थियों का अंकों के आधार पर परिणाम तैयार किया गया। 2124 विद्यार्थी ही जरूरी 55 प्रतिशत अंक हासिल कर पाए। परीक्षा में पास होने के बाद भी बच्चों के अभिभावक परेशान दिखाई दिए। अभिभावक परिणाम देखते हुए कार्यालय में पहुंच रहे थे। उनका सवाल एक ही था अब आगे क्या करना होगा, क्योंकि काउंसलिग कब और कैसे होगी इसको लेकर अभिभावकों में असमंजस की स्थिति थी।

loksabha election banner

कार्यालय के कर्मचारियों ने सबको ये कहते हुए वापस भेजा कि इस बार काउंसलिग ऑनलाइन होगी और मेरिट के आधार पर कौन सा स्कूल अलॉट हुआ इसका मैसेज आ जाएगा। फिर भी किसी को परेशानी हो तो कार्यालय पहुंचकर जानकारी प्राप्त कर सकेंगे।

बॉक्स

परिणाम देखते हुए शुरु हो

गया शिकायतों का दौर

जो बच्चे परीक्षा पास नहीं हो पाए उनके अभिभावक तुरंत कार्यालय पहुंच गए। अभिभावक सुशील कुमार ने बताया कि उनके बेटा का प्राइवेट स्कूल का वार्षिक परिणाम 95 प्रतिशत है और यहां 55 प्रतिशत अंक भी नहीं ले पाया। उन्हें विश्वास नहीं हो पा रहा है उन्हें पेपर दिखाया जाना चाहिए। कर्मचारियों ने कहा कि ये संभव नहीं है जो परिणाम है इसी को फाइनल माना जाए। सुशील कुमार की तरह कई अभिभावक इसी तरह की शिकायत लेकर पहुंचे थे।

बॉक्स

परीक्षा नौवीं की दी, रिजल्ट आठवीं का

अमरगढ़ निवासी श्री राम ने बताया कि पहले सेंटर वाले ने आवेदन में नौवीं की जगह आठवीं कर दिया था, लेकिन उन्होंने कार्यालय में इसको ठीक करवा लिया था। उनकी बेटी को रोल नंबर भी नौवीं कक्षा के लिए दिया गया था और उन्होंने परीक्षा भी नौवीं की ही थी, लेकिन रिजल्ट आठवीं का दे दिया। ऐसे कई केस पहुंचे तो कर्मचारियों ने कहा कि ये ठीक करने के लिए ऊपर भेजा हुआ है जब तक सिस्टम में ठीक नहीं होगा तब तक ये समस्या रहेगी। अब ये अभिभावक काउंसलिग कैसे होगी इसको लेकर परेशान थे।

वर्जन

परीक्षा से पहले भी अभिभावकों की समस्याओं को नोट कर दूर करवाया गया था। अभिभावकों की शिकायतों को गंभीरता से लिया जाता है जिसकी जो भी शिकायत है उसको दूर किया जाएगा। परिणाम कई बार चेकिग के बाद जारी किया गया है और इसी फाइनल मानकर स्कूल अलॉट किए जाएंगे।

- रति राम शर्मा, खंड शिक्षा अधिकारी कैथल।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.