किसान आंदोलन में भागीदार रहे लोगों को किया सम्मानित
- सरकार ने वायदों को नहीं किया पूरा तो 31 जनवरी को मनाया जाएगा विश्वासघात दिवस
संवाद सूत्र, साल्हावास : आल इंडिया किसान खेत मजदूर संगठन के बैनर तले गांव मातनहेल में किसान आंदोलन में शामिल हुए लोगों को सम्मानित किया गया। संगठन के प्रदेश अध्यक्ष अनूप सिंह मातनहेल तथा सचिव जयकरण मांडोठी ने आनरेरी कैप्टन बृजेंद्र सिंह, सहदेव सिंह, धर्मवीर सिंह उर्फ लीलासिंह, सत्यनारायण उर्फ सते, रिसाल सिंह, सरदारे सिंह, लक्ष्मण सिंह, देवेंद्र सिंह, करतार सिंह, तथा अन्य को पगड़ी बांधकर, फूल मालाएं पहनाकर और उन्हें प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया। आल इंडिया किसान खेत मजदूर संगठन के प्रदेश सचिव जयकरण मांडोठी ने कहा कि सभी के सहयोग से जीत हुई है। सभी ने तन-मन-धन से आंदोलन की मदद की। जीत ने यह साबित कर दिया है कि किसान मजदूर अपने हकों के लिए संगठित होकर केवल लड़ ही नहीं सकते, बल्कि उन्हें हासिल भी कर सकते हैं। संगठन के प्रदेश अध्यक्ष अनूप सिंह ने कहा कि 15 जनवरी को सिघु बार्डर पर संयुक्त किसान मोर्चा की बैठक में सरकार के साथ हुए समझौते की समीक्षा की गई। केंद्र सरकार ने 9 दिसंबर को जो समझौता किया था, अभी तक उस पर केंद्र सरकार ने कोई कार्रवाई नहीं की है, ना तो एमएसपी पर कमेटी बनाई, ना ही किसानों के खिलाफ दर्ज मुकदमे वापस लिए और ना शहीद किसानों के आश्रितों को मुआवजा दिया। यहां तक कि लखीमपुर खीरी हत्याकांड के साजिशकर्ता मंत्री को बर्खास्त नहीं किया। यदि सरकार ने इन वायदों पर कोई ध्यान नहीं दिया तो 31 जनवरी को पूरे देश में विश्वासघात दिवस के रूप में मनाया जाएगा। हर जिला मुख्यालय पर विरोध प्रदर्शन करके प्रधानमंत्री का पुतला जलाएंगे और आंदोलन को तेज करेंगे।
संगठन के जिला अध्यक्ष करतार सिंह अच्छेज ने कहा कि खेती में लागत बढ़ती जा रही है, फसलों के लागत से डेढ़ गुना दाम नहीं मिलते। ज्यादातर किसान कर्ज में फंसे हुए हैं। किसान मजदूरों के पढ़े लिखे बच्चे रोजगार के लिए दर-दर की ठोकर खा रहे हैं और महंगाई आकाश छू रही है। ऐसे हालात में आंदोलन के अलावा कोई रास्ता नहीं है। सभी को अगले फेज के आंदोलन के लिए तैयार रहना होगा। आठ सदस्य की नई ब्लाक कमेटी का गठन किया गया।