योग के दम पर संतोष ने अस्थमा, निमोनिया, एलर्जी को हराया, क्या आपने भी कभी किया प्रयास
20 साल पहले अस्थमा और किसी भी खाद्य पदार्थ से एलर्जी हो जाती थी। निमोनिया भी था। इसलिए जिंदगी की राह बड़ी कठिन हो गई थी। मगर योग से सभी तरह की बीमारी ठीक हो गई।
रोहतक, जेएनएन। योग के दम पर गंभीर बीमारियों को मात दी जा सकती है। गंभीर बीमारियों की चपेट में आने वाली भरत कालोनी निवासी संतोष देशवाल बेहद परेशान रहीं। करीब 20 साल पहले अस्थमा और किसी भी खाद्य पदार्थ से एलर्जी हो जाती थी। निमोनिया भी था। इसलिए जिंदगी की राह बड़ी कठिन हो गई थी। नियमित तौर से दवाएं खाने से भी मानसिक तनाव बढ़ रहा था। सीधे तौर से कहें तो उम्र का पड़ा आगे बढऩे के साथ-साथ बीमारियां भी जकड़ रहीं थीं।
भरत कालोनी निवासी संतोष कहती हैं कि साल 2006 में जाट कालेज में योग गुरु बाबा रामदेव ने योग शिविर का आयोजन किया। योग शिविर में पहुंचकर देखा कि तमाम लोग बीमारियों की चपेट में हैं। कुछ लोगों से बात करने पर पता चला कि वह भी बीमारियों की चपेट में थे, लेकिन अब पूर्ण रूप से स्वस्थ्य हैं। यहीं से योग के प्रति लगाव पैदा हुआ। योग शिविर के बाद नियमित तौर से टीवी पर देखकर योग करना सीखा। अब स्थिति यह हो गई है कि दूसरों को योग सिखाती हैं। युवाओं और बुजुर्गों को भी योग करने के लिए विशेष सलाह देती हैं।
बीमारियों ने जकड़ा तब लिया योग का सहारा
दृड़ इच्छा शक्ति के चलते योग, प्राणायाम और ध्यान करना सीखा। अस्थमा के चलते दवाओं के अलावा इनहेलर का उपयोग करना पड़ता। अस्थमा को हराने के लिए अनुलोम-विलोम का सहारा लिया। दूसरे प्राणायाम, आसन और योगाभ्यास किए। किसी भी खाद्य सामग्री का सेवन करने पर एलर्जी हो जाती थी। इसलिए कपालभाति, भस्त्रिका और साथ में अनुलोम-विलोम भी किया। साल 2006 से सुबह नियमित तौर से योग करने किया। अब रिश्तेदारों से लेकर तमाम जानकारों को योग सिखाया। समय मिलने पर पार्क व दूसरे सार्वजनिक स्थानों पर भी योग सिखाती हैं। संतोष कहती हैं कि दृढ़ संकल्प हो तो योग के बल पर गंभीर बीमारियों को हरा सकते हैं।