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पीएफ अकाउंट से लाभ लेने को केवाईसी अपडेटेशन की राह हुई आसान, बदल गई है प्रक्रिया

केवाईसी अपडेट करने की प्रक्रिया को कर्मचारी भविष्य निधि संगठन ने आसान बना दिया है। अब रोजगार प्रदाता कंपनी के प्रतिनिधि अपने कर्मचारियों के पीएफ अकाउंट की केवाईसी अपडेट करने की अनुमति ऑनलाइन ही ले सकेंगे। पहले इस कार्य को करने के लिए काफी समय लग जाता था।

By Manoj KumarEdited By: Published: Thu, 03 Jun 2021 11:23 AM (IST)Updated: Thu, 03 Jun 2021 11:23 AM (IST)
पीएफ अकाउंट से लाभ लेने को केवाईसी अपडेटेशन की राह हुई आसान, बदल गई है प्रक्रिया
पीएफ अकाउंट में बिना केवाईसी अपडेट हुए नहीं मिलेगा कोई लाभ

हिसार, जेएनएन। कर्मचारी भविष्य निधि संगठन अपने कामकाज के तरीकों में परिवर्तन कर इसे लोगों के लिए आसान बना रहा है। इस बार केवाईसी (नो योर कस्टमर) अपडेट करने के तरीकों को आसान बनाया गया है। क्योंकि बिना केवाईसी की मदद के कर्मचारी अपने भविष्य निधि यानि पीएफ के खाते से कोई फायदा नहीं ले सकते हैं। वह न तो एडवांस ले सकता हैं, न ही कोई धनराशि निकाल सकते हैं और न ही पासबुक जेनरेट कर सकते हैं। ऐसे में उन्हें केवाईसी अपडेट करना जरूरी है।

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केवाईसी अपडेट करने की प्रक्रिया को कर्मचारी भविष्य निधि संगठन ने आसान बना दिया है। अब रोजगार प्रदाता कंपनी के प्रतिनिधि अपने कर्मचारियों के पीएफ अकाउंट की केवाईसी अपडेट करने की अनुमति ऑनलाइन ही ले सकेंगे। पहले इस कार्य को करने के लिए काफी समय लग जाता था। हिसार व रोहतक जोन के क्षेत्रिय आयुक्त परितोष कुमार बताते हैं कि इसी सप्ताह ईपीएफओ ने यह सुविधा दी है। जिसकी मदद से अब नियोक्ता और कर्मचारी दोनों को समय से सेवाओं का लाभ मिलेगा। इस कार्य के लिए क्षेत्रिय कार्यालय में लेखाधिकारी अमित चौधरी को नोडल अफसर बनाया गया है।

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पहले केवाईसी अपडेट करने की यह थी प्रक्रिया

हिसार, सिरसा और फतेहाबाद के प्रवर्तन अधिकारी अनुरंजन कपूर बताते हैं कि पहले केवाईसी अपडेट करने के लिए कंपनी के संचालक डिजिटल सिग्नेटर बनवाते थे, फिर डिजिटल सिग्नेचर को ईपीएफ के पोर्टल पर कनेक्ट कर एक डिजिटल पत्र ऑनलाइन जेनरेट किया जाता था। इसके बाद इस पत्र की हार्ड कॉपी कर्मचारी भविष्य निधि कार्यालय में जाती थी फिर वहां आगे की प्रक्रियाएं होती थी। प्रक्रियाएं समाप्त हाेने के बाद ईपीएफ कार्यालय केवाईसी की अनुमति देता था इसके बाद ही नियोक्ता अपने कर्मचारियों की केवाईसी स्वीकृत कर सकता था। कोरोनाकाल शुरू होने के दौरान ही सुविधा देते हुए ईपीएफओ ने ई-मेल के जरिए यह हार्ड कॉपी मंगाना शुरू किया था। इसमें भी कई बार समय लग जाता था। ऐसे में अब नई प्रक्रिया नियोक्ता को ऑनलाइन ही हार्ड कॉपी जमा करने की सहूलियत देगी।

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कर्मचारी और रोजगार प्रदाता कंपनी को यह होगा लाभ

केवाईसी अपडेट करने की प्रक्रिया आसान बनने से सीधे तौर पर राेजगार प्रदाता कंपनी का कार्य को आसान बनाएगी। मगर अप्रत्यक्ष रूप से कर्मचारियों को भी इसका लाभ होगा। कर्मचारियों की समय से केवाईसी अपडेट होगी तो वह समय से ही अपने लाभ ले सकेंगे। केवाईसी के लिए आधार कार्ड, बैंक अकाउंट, पैन कार्ड प्रयोग में आता है।

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यह भी ध्यान रखें

- डीएससी अपलोड करने के बाद जो फोर्मेट निकलेगा उसे परफोर्मा के स्थान पर हस्ताक्षर स्पष्ट रूप से करें।

- फाइल केवल पीडीएफ में तैयार होगी।

- फाइल का साइज 500 केवी से अधिक नहीं होना चाहिए।

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ऐसे अपलोड कर सकेंगे डिजिटल सिर्टिफिकेट (डीएससी)

स्टेप 1---

एंप्लॉयर पोर्टल खोलकर लॉग इन करें

स्टेप 2-

एस्टेबिल्शमेंट पर क्लिक करने के बाद डिजिटल सिर्टिफिकेट (डीएससी) पर जाएं

स्टेप 3-

डिजिटल सिग्नेचर के लिए अधिकृत हस्ताक्षरकर्ता की डिटेल जमा करें

स्टेप 4-

रिक्वेस्ट लेटर जेनरेट कर इसका प्रिंट लें

स्टेप 5-

अपलोड करने का लिंक स्वयं ही जेनरेट हो जाएगा। प्रिंट किए हुए लेटर पर हस्ताक्षर कर पीडीएफ फार्मेट में अपलोड कर दें।

स्टेप 6-

आपका डिजिटल सिग्नेचर पत्र अप्रूवल के लिए क्षेत्रिय कार्यालय पहुंच गया है।

सभी नियोक्ताओं को पीएफ कार्यालय ने किया सूचित

सामाजिक सुरक्षा संहिता की धारा 142 (आधार का आवेदन) के प्रावधानों के तहत सभी नियोक्ताओं को मेल भेजकर और वेबिनार के माध्यम से, सभी अंशदाताओं के आधार यू ए एन से लिंक करने व अप्रूव करने के लिए कहा जा रहा है ताकि सभी सदस्य और स्थापनाएं बिना किसी बाधा के सेवाएं प्राप्त करते रहें। इस सम्बंध में जिला कार्यालय, हिसार द्वारा सभी स्थापनाओं को मेल भी की जा चुकी है। साथ ही ऐसे सदस्यों की लिस्ट भी मेल की जा रही है जिनके आधार अभी तक नहीं हुए हैं।


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