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ओमप्रकाश चौटाला बोले- हार के डर से ऐलनाबाद में चुनाव नहीं करवा रही थी सरकार, जनता का चुना हुआ होगा इनेलो प्रत्‍याशी

चौ. ओमप्रकाश चौटाला ने कहा कि कोई भी सीट छह महीने से ज्यादा खाली नहीं रह सकती। सरकार उपचुनाव से ड़री हुई है। इनके किए हुए कृत्यों से इन्हें मालूम था कि चुनाव में इनकी बहुत बेइज्जती होगी। सरकार ने चुनाव को टालने का प्रयास किया।

By Manoj KumarEdited By: Published: Sun, 03 Oct 2021 02:37 PM (IST)Updated: Sun, 03 Oct 2021 02:37 PM (IST)
ओमप्रकाश चौटाला बोले- हार के डर से ऐलनाबाद में चुनाव नहीं करवा रही थी सरकार, जनता का चुना हुआ होगा इनेलो प्रत्‍याशी
ओपी चौटाला ने कहा ऐलनाबाद उपुचनाव के बाद बदलेगी प्रदेश की परिस्थितियां

जागरण संवाददाता, सिरसा। इनेलो सुप्रीमो चौ. ओमप्रकाश चौटाला ने कहा कि कोई भी सीट छह महीने से ज्यादा खाली नहीं रह सकती। सरकार उपचुनाव से ड़री हुई है। इनके किए हुए कृत्यों से इन्हें मालूम था कि चुनाव में इनकी बहुत बेइज्जती होगी। सरकार ने चुनाव को टालने का प्रयास किया। सरकार ने दूसरे प्रदेशों में चुनाव करवाए परंतु हरियाणा के चुनाव को टालते गए। ऐसे मौके पर चुनाव घोषित किया, जिसका आप सबको बैठे बिठाए लाभ मिल जाएगा।

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वे रविवार को डबवाली रोड स्थित इनेलो कार्यालय में पार्टी की प्रदेश कार्यकारिणी की बैठक को संबोधित कर रहे थे। इस मौके पर इनेलो नेता अभय सिंह, पार्टी प्रदेशाध्यक्ष नफे सिंह राठी , पूर्व विधायक भागीराम, डा. सीताराम व अन्य पार्टी पदाधिकारी मौजूद रहे। उन्होंने कहा कि चौ. देवीलाल की 108वीं जयंती पर आयोजित जींद की रैली ने समूचे राष्ट्र की भावना बदल दी, इसका समूचा लाभ आपको मिलेगा। अपनी कब्र ये खुद खोद रहे हैं किसी को कुछ करने की जरूरत नहीं। हमारा कोई व्यक्तिगत राजनैतिक स्वार्थ नहीं। हम तो चौ. देवीलाल के स्वप्न साकार करने के पक्षधर है।

उन्होंने कहा कि चुनाव में इस सरकार को सबक सिखाने का काम करेंगे। इनेलो के मुकाबले जितने भी चुनाव लड़ेंगे, किसी की जमानत नहीं बच सकती। उन्होंने कहा कि वे कोई ज्योतिषी तो नहीं है लेकिन जिन हालातों से देश गुजर रहा है वे दावे के साथ कह रहे हैं कि चुनाव निश्चित रूप से इनेलो प्रत्याशी जीतेगा। इसके लिए आपको शुभ अवसर मिला है। इस चुनाव के बाद सरकार के सहयोगी दल छोड़कर भागेंगे। जिसके बाद सरकार अल्पमत में होगी और प्रदेश में मध्यावधि चुनाव होंगे। ऐलनाबाद उपचुनाव का असर प्रदेश पर पड़ेगा और जब प्रदेश में मध्यावधि चुनाव के बाद इनेलो की सरकार बनेगी तो इसका असर देश की राजनीति पर भी पड़ेगा।

उन्होंने कहा कि पिछले दस महीनों से देश के किसान सरकार के गलत निर्णयों को बदलने के प्रयास में हैं। आज उनके साथ राष्ट्र के 36 जातियों के लोग शामिल है। किसान आंदोलन में सभी जाति धर्म के लोग, मजदूर व्यापारी शामिल है और सरकार के गलत नीतियों से दुखी है। ये लुटेरे लोगों का गिरोह है। किन्हीं हालात में दाव लग गया सरकार बन गई अब सरकार आए लोग मान कर चल रहे हैं कि तुम्हें दोबारा अवसर नहीं मिलेगा, इसलिए दोनों हाथों से लूटने में लगे हुए हैं।

जात पात का जहर फैला कर के जो लोग सत्ता का सुख भोग रहे हैं उनके स्वप्न साकार नहीं हो पाएंगे, जब भी चुनाव हाेंगे, 36 बिरादियों के लोग इकट्ठे होकर लुटेरी सरकार को परस्त करेंगे, राष्ट्र का भविष्य उज्जवल होगा। इस देश की अर्थव्यवस्था कृषि पर टिकी है। अगर किसान मालामाल तो देश खुशहाल और अगर किसान कंगाल तो देश भी लाचार हो जाता है। वर्ष 2005 में जब इनेलो की सरकार थी तो हरियाणा सरकार के खजाने में दो हजार करोड़ रुपये नकद छोड़कर गए थे।


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