Move to Jagran APP

30 युवा महोत्‍सवों में अपनी सारंगी के सुर घोल चुके 75 वर्षीय सारंगी वादक मामन खान

गुजवि में आयोजित युवा महोत्सव में कालेज के विद्यार्थियों के साथ पहुंचे सारंगी वादक मामन खां

By manoj kumarEdited By: Published: Fri, 02 Nov 2018 03:42 PM (IST)Updated: Fri, 02 Nov 2018 03:42 PM (IST)
30 युवा महोत्‍सवों में अपनी सारंगी के सुर घोल चुके 75 वर्षीय सारंगी वादक मामन खान
30 युवा महोत्‍सवों में अपनी सारंगी के सुर घोल चुके 75 वर्षीय सारंगी वादक मामन खान

जेएनएन, हिसार : राष्ट्रपति अवार्डी एवं देश के मशहूर सारंगी वादक मामन खां पिछले 30 वर्षों से विभिन्न युवा महोत्सवों को अपना सुर दे रहे हैं। जिले के ही गांव खरक पुनियां के रहने वाले 75 वर्षीय मामन खां ने 9 बरस की उम्र से ही सारंगी को अपना साथी बना लिया था। विभिन्न कार्यक्रमों में वे अपने दादा के साथ सारंगी वादन के लिए जाते थे। गुजवि में आयोजित युवा महोत्सव में आए मामन खां ने कहा कि सारंगी बेहद मुश्किल साज है। इसलिए हुनरमंदों की कमी हो रही है।

loksabha election banner

युवा महोत्सव में सारंगी वादन का उनका मकसद युवाओं को सारंगी के सुंदर साज से अवगत करवाकर उन्हें सारंगी वादन के लिए प्रेरित करना भी है। उन्होंने कहा कि उनके परदादा जींद रियासत के राजा के पास सारंगी बजाते थे और अब उनके पोते ही सारंगी के सुर सीख रहे हैं। उन्होंने कहा कि दूनिया का हर संगीत सारंगी के सात सूरों पर टीका है। युवा महोत्सव को लेकर उन्होंने कहा कि पिछले 30 सालों में हमारी हरियाणवी और भारतीय संस्कृति युवा महोत्सव में दूसरे नंबर पर आ गई गई है। इसे बाहरी संस्कृति से अलग रखना चाहिए, ताकि हरियाणा और भारत की संस्कृति और सभ्यता को भी जिंदा रखा जा सके।

पानीपत से आई सपेरा टीम ने विवि में भरा संगीत का रंग

महोत्सव में आई पानीपत के हरपाल नाथ जोगी की 'सपेरा टीम के कलाकारों द्वारा डोलक, डपली, डेरू, ऊतचुक और बीन की धून लोगों को थिरकने पर मजबूर कर दिया। यह टीम पहले विश्वविद्यालयक के कुलपति ऑफिस के बाहर और बाद में विश्वविद्यालय के अन्य हिस्सों में अपने वाद्य-संगीत का प्रदर्शन कर विद्यार्थियों को लुभाती रही। राज्यसभा सदस्य डा. डीपी वत्स ने इस टीम को 1100 रुपये का इनाम दिया। डीपी वत्स ने विश्वविद्यालय में एक गल्र्स और एक व्वायॅज हॉस्टल के लिए जिम बनवाने की भी घोषणा की।

मेरे वतन के जैसा कोई वतन नहीं....कव्वाली पर बजती रही तालियां

विश्वविद्यालय के शिक्षण खंड 4 के सेमिनार हॉल में कव्वालों ने दर्शकों से भरी महफिल में चार चांद लगा दिए। देशभक्ति पर कव्वाली 'वतन के जैसा कोई वतन नहीं, ये चांद से भी प्यारा, तारों से भी हंसी है ने खूब तालियां बटोरी। वहीं सीआर लॉ कॉलेज के ऋषभ के पंजाबी गीत 'रांझा, तेरे बिना रंझना वे..., पीजी गर्वनमेंट कॉलेज की छात्रा पूजा ने 'मां मिरजे दी...की शानदार प्रस्तुति दी। सीआरएम जाट कॉलेज के छात्र भविष्य ने 'रेशमी रुमाल आदि प्रस्तुतियों से दर्शकों को खूब लुभाया।


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.