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आइपीएल मैच में सट्टे में हारा 50 हजार तो रच दी खुद के अपहरण की कहानी, परिजनों से मांगी रंगदारी

किशोर ने रचा खुद के अपहरण का नाटक मांगी 25 लाख रंगदारी। सोशल मीडिया पर देखा था जयपुर में हुए एक झूठे अपहरण का मामला। खुद के नंबर से वाट्सएप पर बहन को फोन और किया मैसेज। पुलिस ने चंद घंटों में युवक को कपास के खेतों से किया बरामद।

By Anurag ShuklaEdited By: Published: Mon, 12 Oct 2020 08:24 PM (IST)Updated: Mon, 12 Oct 2020 08:24 PM (IST)
आइपीएल मैच में सट्टे में हारा 50 हजार तो रच दी खुद के अपहरण की कहानी, परिजनों से मांगी रंगदारी
भिवानी में किशोर ने खुद के अपहरण की साजिश रची।

भिवानी, जेएनएन। आइपीएल मैच में सट्टा लगाकर 50 हजार रुपये हारने वाले 17 साल के किशोर ने खुद के अपहरण का ड्रामा रच दिया। उसने पिता और बहन को फान कर अपहरण की सूचना दी। मैसेज और कॉल कर उनसे खुद को छोडऩे के लिए 25 लाख रुपये की रंगदारी मांगी।

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परिवार ने पुलिस को बताया तो वह कपास के खेतों में छिपा हुआ मिला। पकड़े जाने के बाद सामने आया कि किशोर ने सोशल मीडिया पर जयपुर के एक झूठे अपहरण के मामले की वीडियो देखकर यह पूरा ड्रामा रचा। पुलिस ने अब पूरा मामला सुलझने के बाद राहत की सांस ली है।

पुलिस के अनुसार गांव बड़सी जाटान के एक व्यक्ति ने थाना बवानीखेड़ा पुलिस को दी शिकायत में बताया कि 12 अक्टूबर को वह अपने बेटे के साथ कमरे में सोया हुआ था। सुबह जब वह पौने छह बजे उठा तो उसका बेटा उसके पास नहीं था। बाद में उसने देखा की बेटे के मोबाइल से उसके मोबाइल पर फोन आया हुआ है। उसी वक्त उसकी बेटी के मोबाइल पर भी बेटे का फोन आया तो वह रो रहा था।

बेटे की बात पिता को समझ में नहीं आई और फोन कट गया। थोड़ी देर बाद उसकी बेटी के मोबाइल के वाट््सएप पर मैसेज आया कि उसके बेटे का अपहरण कर लिया गया है। इस बारे में वे किसी को या पुलिस को बताएंगे तो उसके बेटे के जान से मार दिया जाएगा।

पुलिस ने शिकायत पर उसके बेटे का अपहरण करने व जान से मारने की धमकी देने के आरोप में अज्ञात के खिलाफ मामला दर्ज कर तुरंत प्रभाव से जांच शुरू की। थाना प्रभारी जयसिंह ने बताया कि किशोर आईपीएल मैच का सट्टा लगाया हुआ था। सट्टे के लिए उसने गांव के एक व्यक्ति के पास से 50 हजार रुपये ब्याज पर उधार लिए। किशोर सट्टा हार गया और उस पर उधार पैसे देने का दबाव था।

उन्होंने बताया कि किशोर ने उधार का पैसा वापस देने के लिए अपने अपहरण का झूठा ड्रामा रचा और वह मकान से कुछ दूर स्थित खेतों में कपास की फसल में छुप कर बैठ गया। अपने अपहरण की झूठी सूचना बहन के मोबाइल फोन पर व्हाट््सएप के माध्यम से देने लगा। थाना प्रभारी ने बताया कि विजेंद्र ने परिजनों से दस लाख रुपये से 25 लाख रुपये तक की डिमांड की।

पुलिस अधीक्षक सुमेर प्रताप सिंह ने भी संज्ञान लिया और मामले को सुलझाने के लिए बवानीखेड़ा थाना पुलिस को सीआईए व अन्य पुलिस की टीमें गठित की। संयुक्त टीमों ने परिजनों के मोबाईल को कब्जे में लिया और ट्रेस करना शुरू कर दिया। किशोर के फोन की लोकेशन के आधार पर पुलिस की टीम मौके पर पहुंची और उसको कपास के खेत से काबू कर लिया।

किशोर ने पूछताछ में खुलासा किया कि उसने सोशल मीडिया पर जयपुर के एक झूठे अपहरण के मामले की वीडियो देखकर यह साजिश रची और कर्जा उतारने के लिए स्वयं के अपहरण की योजना बना डाली। सुबह ही उसने अपने अपहरण का ड्रामा रचा और पुलिस ने सायं करीब साढ़े तीन बजे काबू कर लिया और इस झूठे अपहरण के मामले को सुलझा लिया।


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