सिरसा में आंगनबाड़ी वर्करों ने जलाई कांटों की होली, बाजारों में काले दुप्पटे लेकर करेंगी प्रदर्शन
सिरसा में आंगनबाड़ी वर्करों के विरोध प्रदर्शन करने की सूचना मिलने पर सीटीएम अजय कुमार और सिविल लाइन थाना प्रभारी सुरेश कुमार मौके पर पहुंच गए और यूनियन की सदस्यों को पांच सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल बनाने की बात कही। जिस पर वर्करों ने बातचीत करने से मना कर दिया।
सिरसा, जागरण संवाददाता। सिरसा लघु सचिवालय के समक्ष अपनी मांगों को लेकर धरनारत आंगनबाड़ी वर्कर्स एंड हेल्पर्स यूनियन की सदस्यों ने वीरवार को प्रशासन द्वारा वार्ता के लिए समय नहीं देने से गुस्साई आंगनबाड़ी वर्करों ने जमकर बवाल काटा। यूनियन की सदस्यों ने लघु सचिवालय के गेट के आगे कांटों की लोहड़ी जलाई और सरकार व जिला प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी की। आंगनबाड़ी वर्करों ने शुक्रवार को शहर में काले दुपट्टे लेकर रोष मार्च निकालने की बात कहीं।
कांटों की लोहड़ी जलाकर मनाई लोहड़ी
दरअसल बुधवार को वर्करों के जेल भरो आंदोलन में एसडीएम जयवीर यादव व महिला एंव बाल विकास विभाग की जिला परियोजना अधिकारी डा. दर्शना सिंह ने वर्करों के प्रतिनिधिमंडल को एसडीएम कार्यालय में वीरवार को सुबह 10 बजे बातचीत के माध्यम से उनकी लोकल मांगों का समाधान करने का आश्वासन दिया था। जिसके पश्चात वीरवार को सुबह आंगनबाड़ी वर्कर्स धरनास्थल पर पहुंचनी शुरू हो गई। करीब एक बजे तक प्रशासन द्वारा उन्हें बातचीत के लिए नहीं बुलाया गया तो डेढ़ बजे सभी वर्कर्स नारेबाजी करते हुए लघु सचिवालय के समक्ष पहुंच गई और रोष स्वरूप लघु सचिवालय के गेट के आगे कांटों की लोहड़ी जलाई तथा उसमें मूंगफली, रेवड़ी डाली।
इन मांगो की तैयार की सूची
आंगनबाड़ी वर्करों के विरोध प्रदर्शन करने की सूचना मिलने पर सीटीएम अजय कुमार व सिविल लाइन थाना प्रभारी सुरेश कुमार मौके पर पहुंच गए और यूनियन की सदस्यों को पांच सदस्यीय प्रतिनिधिमंडल बनाने की बात कही। जिस पर वर्करों ने बातचीत करने से मना कर दिया। अधिकारियों ने काफी समझाने का प्रयास किया, लेकिन वर्करों ने अधिकारियों की बात नहीं सुनी। ढ़ाई बजे तक वर्करों ने सरकार व प्रशासन के खिलाफ जमकर नारेबाजी करती रही। आंगनबाड़ी वर्कर्स एंड हेल्पर्स यूनियन की जिला प्रधान कृष्णा दहिया, उपप्रधान वीरो देवी, सचिव परमिला, शकुंतला ने कहा कि उन्होंने अधिकारियों के कहने पर वर्करों की जिले की लोकल 26 मांगों की एक सूची तैयार की थी, ताकि अधिकारियों के साथ टेबल पर आमने-सामने बैठकर उनका समाधान किया जा सकें। लेकिन अधिकारियों ने उन्हें समय नहीं दिया। उन्होंने प्रशासन पर वादाखिलाफी का आरोप लगाते हुए कहा कि जिला के अधिकारी उन्हें बार-बार बुलाकर आश्वासन दे रहे है, लेकिन उनका समाधान नहीं कर रहे है।