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अब अस्पताल को नहीं, मरीज को मिलेगा रेमडेसिविर इंजेक्शन

जिला प्रशासन ने रेमडेसिविर इंजेक्शन की आपूर्ति को लेकर नियम बदल दिए हैं। अभी तक रेमडेसिविर इंजेक्शन सीधे अस्पतालों को दिए जाते थे और अस्पताल प्रबंधन की मर्जी पर निर्भर होता था कि वह किस मरीज को रेमडेसिविर इंजेक्शन लगाएंगे।

By JagranEdited By: Published: Sun, 09 May 2021 07:05 PM (IST)Updated: Sun, 09 May 2021 07:05 PM (IST)
अब अस्पताल को नहीं, मरीज को मिलेगा रेमडेसिविर इंजेक्शन
अब अस्पताल को नहीं, मरीज को मिलेगा रेमडेसिविर इंजेक्शन

जागरण संवाददाता, गुरुग्राम: जिला प्रशासन ने रेमडेसिविर इंजेक्शन की आपूर्ति को लेकर नियम बदल दिए हैं। अभी तक रेमडेसिविर इंजेक्शन सीधे अस्पतालों को दिए जाते थे और अस्पताल प्रबंधन की मर्जी पर निर्भर होता था कि वह किस मरीज को रेमडेसिविर इंजेक्शन लगाएंगे। अब ऐसा नहीं होगा। इंजेक्शन की कालाबाजारी रोकने के लिए नया नियम बनाया गया है। नए नियमों में मरीज फार्म भरेगा और प्रशासन को मेल द्वारा भेजेगा। उस फार्म में मरीज की बीमारी के संबंध में सब जानकारी होगी कि मरीज किस अस्पताल में इलाज ले रहा है और उसकी स्थिति कैसी है।

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इसके बाद कमेटी तय करेंगी उस मरीज को रेमडेसिविर इंजेक्शन देना है या नहीं। इसके लिए प्रशासन ने मेलआइडी ह्मद्गद्वस्त्रद्गह्यद्ब1द्बह्म.द्दह्वह्मह्वद्दह्मड्डद्व@द्दद्वड्डद्बद्य.ष्श्रद्व जारी की है, जिस पर मरीज के नाम का फार्म भरकर भेजना है। इस से मरीजों की शिकायत नहीं रहेगी कि गंभीर बीमार होते हुए भी उन्हें रेमडेसिविर इंजेक्शन नहीं मिला। क्योंकि अब अस्पताल को रेमडेसिविर इंजेक्शन मरीज के नाम पर मिलेगा और उसी मरीज को लगाया जाएगा। इस संबंध में अस्पताल और मरीज के स्वजन को सूचना दी जाएगी।

चार सदस्य हैं कमेटी में

कमेटी में चार सदस्य रखे गए है। इसमें जिला अतिरिक्त उपायुक्त, सिविल सर्जन, आइएमए अध्यक्ष और चीफ फार्मेसिस्ट को शामिल किया गया है। यही कमेटी तय करेगी कि किस मरीज को रेमडेसिविर इंजेक्शन की अधिक जरूरत है। तय होने के बाद अस्पताल को उस मरीज के नाम रेमडेसिविर इंजेक्शन दे दिया जाएगा।

कमेटी दिन में दो बार करेगी बैठक:

मरीजों को रेमडेसिविर देने के लिए कमेटी के सदस्य सुबह 10 से 11 बजे तक बैठक करेंगे। इसमें उन फार्म -नाम पर चर्चा की जाएगी, जो उस समय तक आए हैं और इंजेक्शन दिए जाएंगे। उसके बाद शाम 4 से 5 बजे तक बैठक की जाएगी और इंजेक्शन देना तय किया जाएगा। आवेदन करने की प्रकिया:

उप सिविल सर्जन डा. प्रदीप कुमार का कहना है कि सभी अस्पतालों के पास सुविधा है कि वह मेल द्वारा मरीज की सूचना भेज सकता है। अगर किसी को मेल करनी नहीं आती है तो वह सिविल सर्जन कार्यालय सेक्टर 38 में फार्म प्राप्त करे और उस मरीज के संबंध में सूचना भरके वहीं फार्म जमा करा दे। जरूरतमंद मरीज के लिए तुरंत इंजेक्शन दिलाया जाएगा।


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