बंधवाड़ी प्लांट के लिए इसी माह मिल सकती है पर्यावरण मंजूरी
बंधवाड़ी सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट के निर्माण के लिए इसी माह पर्यावरण मंजूरी मिल सकती है। प्लांट का निर्माण कार्य अगस्त 2019 तक पूरा होना था लेकिन अभी तक प्लांट का निर्माण भी शुरू नहीं हो पाया है। अगर इस माह पर्यावरण मंजूरी मिल जाती है तो वेस्ट टू एनर्जी प्लांट के निर्माण में भी कम से कम डेढ साल का वक्त लगेगा।
जागरण संवाददाता, गुरुग्राम : बंधवाड़ी सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट प्लांट के निर्माण के लिए इसी माह पर्यावरण मंजूरी मिल सकती है। प्लांट का निर्माण कार्य अगस्त 2019 तक पूरा होना था, लेकिन अभी तक प्लांट का निर्माण भी शुरू नहीं हो पाया है। अगर इस माह पर्यावरण मंजूरी मिल जाती है तो वेस्ट टू एनर्जी प्लांट के निर्माण में भी कम से कम डेढ़ साल का वक्त लगेगा।
प्लांट के निर्माण से पहले पर्यावरण मंत्रालय से पर्यावरण मंजूरी (एनवायरनमेंट क्लियरेंस) लेनी होती है, जिसके लिए करीब दो माह पहले आवेदन किया गया है। गुरुग्राम और फरीदाबाद शहर में इको ग्रीन एनर्जी कचरा प्रबंधन कर रही है। यह प्लांट इसी कंपनी द्वारा लगाया जाना है।
दोनों शहरों में डोर टू डोर कचरा कलेक्शन और वेस्ट टू एनर्जी प्लांट में कचरे से बिजली पैदा करने की जिम्मेदारी इको ग्रीन की है। गुरुग्राम और फरीदाबाद से रोजाना करीब 1500 टन कचरा निकल रहा है, जो बंधवाड़ी प्लांट पहुंच रहा है, लेकिन इसका निपटान नहीं होने से बंधवाड़ी में कूड़े का पहाड़ बनता जा रहा है। मंजूरी के लिए दोबारा किया आवेदन
नगर निगम अधिकारियों के मुताबिक पर्यावरण मंजूरी के लिए इको ग्रीन एनर्जी ने करीब दो माह पहले दोबारा आवेदन किया है। प्लांट निर्माण की जगह का दायरा बढ़ने के कारण दोबारा आवेदन करना पड़ा था। कंपनी के ढीले रवैये के चलते प्लांट निर्माण कार्य अटका हुआ है। 2013 में बंधवाड़ी प्लांट में आग लगने से यह खराब हो गया था। दो साल में भी नहीं बदले कंपनी के हालात
2017 में इको ग्रीन एनर्जी ने गुरुग्राम और फरीदाबाद शहर के लिए कचरा प्रबंधन का काम शुरू किया था लेकिन करीब दो साल बाद भी हालात बदले नहीं हैं। कंपनी डोर टू डोर कचरा कलेक्शन का कार्य भी 100 फीसद नहीं कर पाई है। इसके लिए नगर निगम की ओर से कई बार कंपनी को नोटिस भेजने के साथ ही जुर्माना लगाने की भी कार्रवाई की जा चुकी है। इसके अलावा नगर निगम द्वारा किए जा रहे कचरा सेग्रिगेशन के दावे भी खोखले साबित हो रहे हैं। घरों पर गीला व सूखा कचरा अभी भी अलग-अलग नहीं किया जा रहा है। प्लांट निर्माण में कम से कम डेढ़ साल और लगने के आसार हैं। वर्जन
बंधवाड़ी वेस्ट टू एनर्जी प्लांट के लिए इसी माह पर्यावरण मंजूरी मिलने की उम्मीद है।
- इंद्रजीत कुल्हड़िया, संयुक्त आयुक्त नगर निगम गुरुग्राम