Move to Jagran APP

बिजली कर्मचारियों ने गेट मिटिग कर जताया रोष

रतिया (विज्ञप्ति) एचएसईबी वर्कर्स यूनियन की केंद्रीय कमेटी के आहवान पर यूनियन द्वारा सब यूनिट

By JagranEdited By: Published: Fri, 28 Jan 2022 11:03 PM (IST)Updated: Fri, 28 Jan 2022 11:03 PM (IST)
बिजली कर्मचारियों ने गेट मिटिग कर जताया रोष
बिजली कर्मचारियों ने गेट मिटिग कर जताया रोष

रतिया (विज्ञप्ति) : एचएसईबी वर्कर्स यूनियन की केंद्रीय कमेटी के आहवान पर यूनियन द्वारा सब यूनिट रतिया में दो घंटे की गेट मीटिग का

loksabha election banner

आयोजन किया किया गया। जिसकी अध्यक्षता सब यूनिट प्रधान खुर्शीद ने की। संचालन सब यूनिट सचिव दीवान सिंह ने किया। गेट मीटिग में मुख्य रूप से यूनिट प्रधान फकीर चंद सैनी ने शिरकत की। इस दौरान यूनिट प्रधान ने संबोधित करते हुए कहा कि आज प्रदेश के सभी कर्मचारियों में सरकार व मैनेजमेंट की नित्य नई कर्मचारी विरोधी नीतियों के खिलाफ भारी आक्रोश है। बिजली कर्मचारियों ने दिन रात मेहनत करके मे महकमे को घाटे से उभार कर मुनाफे में लाने का काम किया। साथ ही कोरोना काल में प्रदेश के प्रत्येक बिजली कर्मचारी ने अपनी जान जोखिम में डालकर निर्बाध बिजली आपूर्ति बहाल रखी। लाकडाउन में सफल बनाने का काम किया बल्कि जब पूरा विश्व इस महामारी की चपेट में आर्थिक संकट से जूझ रहा था ऐसे समय में बिजली कर्मचारियों ने बिजली कंपनियों की राष्ट्रीय प्रतिस्पर्धा में देश में दूसरा स्थान लाकर प्रदेश का नाम रोशन करने का काम किया लेकिन बड़े दुख केसाथ कहना पड़ता है कि ऐसे समय में ऐसे समय में जहां विश्व भर में लॉकडाउन था हरियाणा सरकार ने कर्मचारियों के बीच ऑनलाइन ट्रांसफर पालिसी लाकर उन्हें घर से दूर करने का कार्य किया इतना ही नहीं सीमित साधन व संसाधनों के साथ-साथ मैन पावर की कमी से जूझते महकमे में बिना स्थाई भर्ती करें राइट टू सर्विस एक्ट को लागू कर कर्मचारियों को प्रताड़ित करने का काम किया। इतना ही नहीं प्रदेश में हजारों कर्मचारियों को जो लंबे समय से विभाग में पक्के होने की बाट देख रहे थे और सरकार ने सत्ता में आने से पूर्व उन कर्मचारियों से वादा भी किया था कि अगर हम सत्ता में आते हैं तो आपको पहले कलम से पक्का करेंगे अब पक्का करना तो दूर की बात कौशल रोजगार निगम बनाकर वर्षों से लगे कर्मचारियों के वर्तमान वेतन को भी कम करने का काम किया जा रहा है साथ ही स्थायी करने वाली मांग पर पूर्ण विराम लगाने का काम किया है। इतना ही नहीं हमारे 26 श्रम कानूनों को तोड़ मरोड़ कर पूंजीपतियों की सुविधा अनुसार चार श्रम कानूनों में तब्दील करने का काम किया साथ ही कोरोना काल में जान गंवाने वाले कर्मचारियों को न तो कोरोना वारियर्स का दर्जा मिला और न ही 50 लाख मुआवजा और न ही उनके आश्रितों को स्थाई रोजगार। इस मौके पर खानचंद, राजेंद्र बहादुर, केसरीमल, अवतार,रविद्र खोखर, बलराज, रविद्र, मनोज, सुनील, मनदीप, हर्षपाल, महेश, हरदियाल, विनोद, राजू, राजेंद्र शर्मा, राजेश, सुरजीत, धर्मपाल, गोबिद,


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.