जिले में 10 हजार मीट्रिक टन यूरिया खाद का है स्टॉक
जागरण संवाददाता फतेहाबाद जिले में यूरिया खाद की कोई किल्लत नहीं है। अब तो एजेंसी संचालक
जागरण संवाददाता, फतेहाबाद :जिले में यूरिया खाद की कोई किल्लत नहीं है। अब तो एजेंसी संचालक ऐसे बैठे है कि कहीं किसान आ जाए और खाद लेकर चला जाए। क्योंकि अब यूरिया खाद डालने का समय निकल गया है। अब केवल गन्ने की फसल में ही यूरिया खाद प्रयोग हो सकती है। धान व नरमे की फसल में किसानों ने पहले ही यूरिया खाद प्रयोग कर ली है। अगले महीने में धान की फसल में बाली आ जाएगी। वही किसान नरमे की चुगाई भी शुरू कर देंगे। वही कृषि अधिकारियों का दावा है कि जिले में अब यूरिया खाद का इतना स्टॉक है कि गेहूं के सीजन में भी इसका प्रयोग हो सकता है।
जिले में करीब तीन साल पहले यानि 2017 में यूरिया खाद की किल्लत हुई थी। किसानों को खाद लेने के लिए आधार कार्ड से लेकर राशन कार्ड लेकर आना पड़ा। किसान सुबह लाइनों में लगते और उसे देर शाम तक केवल एक ही बैग यूरिया खाद का मिल पाता। लेकिन अब स्थिति बदल गई है। पिछले दो सालों से ऐसी स्थिति है कि एजेंसी संचालकों को रैंक रूकवानी पड़ रही है। अब वही हाल फिर से होने वाले है।
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जिले में 10 हजार मीट्रिक टन यूरिया खाद का स्टॉक
फतेहाबाद जिले में अब 10 हजार मीट्रिक टन यूरिया खाद का स्टॉक पड़ा है। कृषि विभाग दावा कर रहा है कि इतना स्टॉक केवल गेहूं की फसल में प्रयोग होता है। अब खाद डालने का समय निकल गया है। जिले में धान व नरमे की फसल अधिक है। लेकिन किसान पहले ही यूरिया खाद खरीदकर अपने घरों में स्टॉक कर रखी है। ऐसे में आने वाले समय में इस खाद का प्रयोग नहीं होगा। नवंबर महीने में गेहूं फसल की बुआई होगी और अगले साल जनवरी में यूरिया खाद किसान प्रयोग करेंगे।
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हर गांव में खरीद केंद्र, जिले में 2000 हजार के पास लाइसेंस
कृषि विभाग के आंकड़ों पर गौर करे तो जिले में हर गांव में खरीद केंद्र है। चाहे वो इफको का हो या फिर पैक्स का। इसके अलावा प्राइवेट दुकानदार भी खाद बेच रहे है। जिले में 2000 के पास लाइसेंस है जो बीज, दवाई व खाद बेच सकते है। इसमें से करीब 1500 लोग यह काम कर भी रहे है। पहले किसानों को यूरिया खाद लेने के लिए शहर में आना पड़ता था। लेकिन अब तो गांव में ही मिल रही है। ऐसे में उनका किराया बचने के साथ ही समय भी बच रहा है। यही कारण है कि शहर में बने इफकों सेंटर से कुछ ही किसान खाद लेकर जा रहे है।
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अब जानिए किसन खाद के क्या रेट है
यूरिया : 266.50 45 किलो प्रति बैग
डीएपी : 1150 50 किलो प्रति बैग
जिक सल्फेट : 425 प्रति 5 किलो बैग
सल्फर : 180 प्रति 5 किलो प्रति बैग
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आंकड़ों में जाने कितनी हेक्टेयर में फसले
नरमे की फसल : 72 हजार हेक्टेयर
धान : 1 लाख हेक्टेयर
ग्वार : 4 हजार हेक्टेयर
बाजरी : 2 हजार हेक्टेयर
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जिले में यूरिया खाद की कोई किल्लत नहीं है। हमारे पास इस समय 10 हजार मीट्रिक टन यूरिया खाद पड़ी है। अब तो एजेंसी देख रही है कि कोई किसान आए और खाद लेकर आए। धान व नरमे की फसल में यूरिया डालने का समय निकल गया है। वहीं अब तो गेहूं के सीजन में खाद का प्रयोग होगा।
डा. राजेश सिहाग
कृषि उपनिदेशक फतेहाबाद।