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कार्यशाला : परीक्षाओं में सफलता के लिए सम्प्रेषण कला का बताया महत्व

जागरण संवाददाता चरखी दादरी आजादी का अमृत महोत्सव श्रृंखला के तहत राजकीय महाविद्यालय बिरोह

By JagranEdited By: Published: Mon, 17 Jan 2022 06:22 PM (IST)Updated: Mon, 17 Jan 2022 06:22 PM (IST)
कार्यशाला : परीक्षाओं में सफलता के लिए सम्प्रेषण कला का बताया महत्व

जागरण संवाददाता, चरखी दादरी : आजादी का अमृत महोत्सव श्रृंखला के तहत राजकीय महाविद्यालय बिरोहड़ की प्लेसमेंट सेल के तत्वावधान में सात दिवसीय राष्ट्रीय कार्यशाला के छठे दिन प्रतियोगी परीक्षाओं में सम्प्रेषण कला का महत्व विषय पर विशेष व्याख्यान श्रृंखला का आयोजन किया गया। प्लेसमेंट सैल प्रभारी डा. अमरदीप ने कहा कि सुव्यवस्थित सम्प्रेषण कला सफलता का आधार होती है। सम्प्रेषण कला इंसान के व्यक्तित्व का अभिन्न अंग है। प्रत्येक अभ्यार्थी को इतनी क्षमता विकसित करनी चाहिए कि अपनी बात को लोगों के सामने प्रभावी रूप से रख सके। किसी भी क्षेत्र में क्यों ना हो अगर बात करने का तरीका सही है तो सफल हो जाएंगे। कार्यशाला के मुख्य वक्ता एवं राजकीय महिला महाविद्यालय कुलाना से अंग्रेजी के सहायक प्रवक्ता प्रो. राजेश कुमार ने कहा कि अच्छी सम्प्रेषण कला के बिना हर विद्यार्थी का ज्ञान अधूरा है। इसका नकारात्मक परिणाम सामने आता है। शब्दों का उचित चयन एवं सटीक प्रयोग द्वारा विद्यार्थी अपनी सम्प्रेषण कला को सुदृढ़ कर सकते हैं। इसके लिए पहले विद्यार्थियों को अपने आत्मविश्वास को मजबूत करना होगा। महाविद्यालय के प्राचार्य राजकुमार वर्मा, सहायक प्रो. डा. सुरेंद्र सिंह, डा. अनिता रानी, शिवांशी शर्मा, डा. नरेंद्र सिंह, ओमबीर, पवन कुमार, निशा रानी, सवीन, जितेंद्र, डा. जयप्रकाश शर्मा, डा. राजपाल सिंह इत्यादि ने भी अपने विचार रखे।

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