खरीद प्रक्रिया तेज होने से किसानों को राहत
एसीएस के दौरे के बाद भी अभी तक नहीं सुधरे हालात जागरण संवाददाता चरखी दादरी दादरी क
एसीएस के दौरे के बाद भी अभी तक नहीं सुधरे हालात
जागरण संवाददाता, चरखी दादरी : दादरी की अनाज मंडी में आढ़तियों के विरोध के बाद बीती 3 अप्रैल से सुचारू रूप से शुरू हुई सरसों की खरीद प्रक्रिया अब धीरे-धीरे पटरी पर आने लगी है। आढ़तियों को हैंडलिग एजेंट बनाकर उनके माध्यम से फसल की खरीद होने से किसानों को भी काफी राहत मिली है। मंडी में एंट्री करते समय गेट पास लेने के बाद किसान सीधे हैंडलिग एजेंट के पास जाकर अपनी फसल को बेच रहे है। शुक्रवार को दादरी की नई अनाज मंडी में करीब 4 हजार क्विंटल सरसों की खरीद की गई।
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एसीएस निरीक्षण के बाद भी समस्याएं बरकरार
पशुपालन एवं डेयरी विभाग के अतिरिक्त मुख्य सचिव सुनील कुमार गुलाटी ने सरसों खरीद तैयारियों का जायजा लेने के लिए बीती 29 मार्च को दादरी की नई अनाज मंडी का दौरा किया था। इस दौरान उन्होंने वहां पर टीन शेड, किसान विश्राम गृह, सुलभ शौचालयों इत्यादि का भी निरीक्षण किया था। एसीएस के निरीक्षण के चलते उस दिन तो मंडी में बने सुलभ शौचालयों को पूरी तरह से साफ कर दिया गया था। लेकिन अब शौचालय के गेट पर ताला ही लगा दिया गया है। मंडी में बने शौचालय पर ताला लगा होने के कारण किसानों को भी काफी परेशानियों का सामना करना पड़ा। इसके अलावा एसीएस गुलाटी ने शौचालय के गेट पर खुले पड़े बिजली के बोर्ड तथा तारों को भी बंद करने के निर्देश भी मार्केटिग बोर्ड के एसई को दिए थे। लेकिन एक सप्ताह का समय बीतने के बाद भी बिजली के बोर्ड को दुरूस्त नहीं किया गया है। ऐसे में तारों में बिजली आपूर्ति होने पर हादसा होने का भी अंदेशा बना हुआ है।
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डीसी के लिखित आदेश नहीं होने से किसानों की बढ़ी परेशानियां
बीती दो अप्रैल को दादरी के उपायुक्त ने प्रेस को जारी बयान में कहा था कि दादरी अनाज मंडी में सरसों की फसल बेचने के लिए आने वाले किसानों को गिरदावरी या जमीन की फर्द लाने की कोई आवश्यकता नहीं है। जिसके बाद मंडी में केवल रजिस्ट्रेशन नंबर, आधार कार्ड व बैंक खाता पास बुक की प्रति जमा करवाकर ही हैफेड द्वारा सरसों की खरीद की जा रही है। लेकिन अभी तक हैफेड अधिकारियों के पास इस संबंध में कोई लिखित आदेश नहीं पहुंचे है। ऐसे में कहा जा रहा है कि जल्द ही किसानों को फिर से गिरदावरी या जमीन की फर्द भी साथ लानी पड़ सकती है। जिससे किसानों को दिक्कतों का सामना करना पड़ सकता है। यहां यह भी उल्लेखनीय है कि फसल बिक्री के समय गिरदावरी या जमीन की फर्द लाने में किसानों को भी काफी परेशानियों का सामना करना पड़ता है।
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एक से 5 अप्रैल वाले किसान बेच सकेंगे अपनी फसल
शनिवार 6 अप्रैल को उन गांवों के किसानों से सरसों की खरीद की जाएगी, जो अभी तक पहले जारी किए गए शेड्यूल के दौरान नहीं आ सके थे। जिसमें एक से पांच अप्रैल तक के शेड्यूल में शामिल हुए गांव के किसान सरसों बिक्री के लिए आ सकते है।