छठ पर्व के लिए शुरू हुईं तैयारियां, उत्सव मनाने के लिए मांगी प्रशासन से अनुमति, घरों को लौट रहे पूर्वांचलवासी
-महावीर पार्क के पास नहर में और माया विहार कालोनी में छठ पूजा घाट बनाने के लिए एसडीए
-महावीर पार्क के पास नहर में और माया विहार कालोनी में छठ पूजा घाट बनाने के लिए एसडीएम से मांगी अनुमति जागरण संवाददाता, बहादुरगढ़ :
छठ पर्व को लेकर पूर्वांचल की तरफ जाने वाली ट्रेनों में इन दिनों भीड़ है। टिकट रिजर्वेशन के लिए भी मारामारी चल रही है। सोमवार को भी यहां पर अत्यधिक भीड़ लगी रही। बहुत से पूर्वांचल वासी बसों से ही लौट रहे हैं। इस बीच बाजारों पर इस पर्व का रंग चढ़ने लगा है। छठ पर्व की शुरूआत 18 नवंबर को नहाय-खाय से होगी। 19 नवंबर को खरना है और 20 को अस्ताचलगामी सूर्य को अर्घ्य दिया जाएगा। 21 नवंबर को उगते सूर्य को अर्घ्य दिया जाएगा। पूर्वाचल का यह प्रसिद्ध त्योहार है। ऐसे में इस पर्व को परिवार के साथ मनाने के लिए घर लौटने का सिलसिला जारी है। काफी लोग तो दीपावली से पहले ही लौट गए। कोरोना काल की वजह से ट्रेनों की संख्या इन दिनों सीमित ही है तो बहादुरगढ़ से श्रमिक परिवार के साथ बसों से ही बिहार लौट रहे हैं। इससे बसों में भी भीड़ है। उनके खड़े होकर यात्रा करने की मजबूरी बनी हुई है। बहादुरगढ़ से कई ट्रांसपोर्टरों ने बिहार के विभिन्न शहरों के लिए विशेष तौर पर बसें चलाई हैं। राष्ट्रीय पूर्वांचल परिवार के राष्ट्रीय अध्यक्ष प्रदीप सिन्हा ने बताया कि बहादुरगढ़ में भारी संख्या में पूर्वांचल वासी रहते हैं। हमने महाबीर पार्क के पास नहर में और माया विहार कालोनी में छठ पूजा घाट बनाने और उत्सव बनाने की अनुमति एसडीएम से मांगी है। एसडीएम ने उन्हें बताया कि यह अनुमति डीसी देंगे। शहर के बाजार सजे :
छठ पूजा पर्व को लेकर शहर के बाजार सज गए हैं। जगह-जगह छठ की पूजा सामग्री के स्टॉल लग गए हैं। मंगलवार से खरीददारी का सिलसिला जोर पकड़ेगा। इस बीच शहर में छठ पूजा घाट बनाने की भी तैयारी की जा रही है, मगर प्रशासन की ओर से छठ पूजा सामूहिक रूप से बनाने की अनुमति मिलेगी या नहीं इस पर अभी संदेह है। पुलिस भी हुई सक्रिय :
पूर्वांचल वासियों के त्योहार को लेकर घर वापसी के रुख से स्थानीय जीआरपी भी सक्रिय है। उप्र, बिहार समेत पूर्वांचल के राज्यों की तरफ जाने वाली ट्रेनों के आगमन के समय स्टेशन पर गश्त बढ़ा दी गई है। पुलिस का मानना है ऐसी स्थिति में जहर खुरानी या फिर जेब तराश गिरोह सक्रिय हो जाते हैं। भोले-भाले लोगों को निशाना बनाया जाता है। ऐसे में उनसे सावधानी बरतने की अपील की जा रही है। जरूरत पर ट्रेनों की कुछ बोगियों की तलाशी भी ली जा रही है। जीआरपी थाना प्रभारी रणबीर ने बताया कि पुलिस अपनी तरफ से पूरी तरह मुस्तैद है। यह है छठ पूजा का शेडयूल:
पहला दिन- नहाय-खाय:
छठ पूजा की शुरुआत कार्तिक शुक्ल चतुर्थी तिथि से होती है। यह छठ पूजा का पहला दिन होता है। इस दिन नहाय खाय होता है। इस वर्ष नहाय-खाय 18 नवंबर को है। इस दिन सूर्योदय सुबह 6:46 बजे और सूर्य अस्त शाम को 5:26 बजे पर होगा। दूसरा दिन- लोहंडा और खरना:
लोहंडा और खरना छठ पूजा का दूसरा दिन होता है। यह कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की पंचमी तिथि को होता है। इस वर्ष लोहंडा और खरना 19 नवंबर को है। इस दिन सूर्योदय सुबह 6:47 बजे पर होगा और सूर्य अस्त शाम को 5:26 बजे पर होगा। तीसरा दिन- छठ पूजा संध्या अर्घ्य:
छठ पूजा का मुख्य दिन कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की षष्ठी तिथि को होता है। इस दिन ही छठ पूजा होती है। इस दिन शाम को सूर्य को अर्घ्य दिया जाता है। इस वर्ष छठ पूजा 20 नवंबर को है। इस दिन सूर्यादय 6:48 बजे पर होगा और सूर्य अस्त 5:26 बजे पर होगा। छठ पूजा के लिए षष्ठी तिथि का प्रारम्भ 19 नवंबर को रात 9:59 बजे से हो रहा है, जो 20 नवंबर को रात 9:29 बजे तक है। चौथा दिन- सूर्योदय अर्घ्य:
छठ पूजा का अंतिम दिन कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की सप्तमी तिथि होती है। इस दिन सूर्योदय के समय सूर्य देव को अर्घ्य अर्पित किया जाता है। उसके बाद पारण कर व्रत को पूरा किया जाता है। इस वर्ष छठ पूजा का सूर्योदय अर्घ्य तथा पारण 21 नवंबर को होगा। इस दिन सूर्योदय सुबह 6:49 बजे तथा सूर्योस्त शाम को 5:25 बजे होगा।