Move to Jagran APP

रेलमंत्री बोले- वंदे भारत एक्सप्रेस को 180 किमी से दौड़ने में लगेगा थोड़ा वक्त

वंदेभारत एक्सप्रेस ट्रेन के सफल उद्घाटन के बावजूद हाईस्पीड ट्रेन को दौड़ाने में अभी समय लगेगा।। रेल मंत्री ने माना कि ट्रेनों की औसत स्पीड बढ़ाने के लिए सुधार किए जा रहे हैं।

By Kamlesh BhattEdited By: Published: Sun, 17 Feb 2019 08:27 PM (IST)Updated: Mon, 18 Feb 2019 12:56 PM (IST)
रेलमंत्री बोले- वंदे भारत एक्सप्रेस को 180 किमी से दौड़ने में लगेगा थोड़ा वक्त
रेलमंत्री बोले- वंदे भारत एक्सप्रेस को 180 किमी से दौड़ने में लगेगा थोड़ा वक्त

अंबाला [दीपक बहल]। चारों तरफ वाहवाही लूट रही वंदेभारत एक्सप्रेस ट्रेन के सफल उद्घाटन के बावजूद हाईस्पीड ट्रेन को दौड़ाने में अभी समय लगेगा। इसके बाद ही 180 किमी प्रति घंटा की स्पीड से दौड़ने में सक्षम वंदेभारत एक्सप्रेस सहित राजधानी और शताब्दी की औसत स्पीड भी बढ़ेगी।

loksabha election banner

वंदेभारत एक्सप्रेस के उद्घाटन सफर के दौरान रेल मंत्री पीयूष गोयल ने माना कि ट्रेनों की औसत स्पीड बढ़ाने के लिए सुधार किए जा रहे हैं। दिल्ली से मुंबई और दिल्ली से हावड़ा के बीच बन रहे वेस्टर्न और ईस्टर्न कॉरिडोर पूरा होने के बाद यात्री  ही नहीं, बल्कि सामानों की आवाजाही के समय में भी काफी कमी आएगी। ये दोनों रूट काफी व्यस्त माने जाते हैं।

उन्होंने कहा कि वेस्टर्न फ्रैट कॉरिडोर दिल्ली के निकट दादरी से शुरू होगा और लगभग 1500 किमी दूर मुंबई में जवाहर लाल नेहरू पोर्ट पर खत्म होगा। इसी तरह लगभग 1800 किमी लंबा वेस्टर्न फ्रैट कॉरिडोर लुधियाना से शुरू होगा और पश्चिम बंगाल के दनकुनी पर खत्म होगा। यह प्रोजेक्ट 2020 तक पूरा हो जाएगा।

दैनिक जागरण ने 15 फरवरी के अंक में '180 किमी प्रति घंटा की स्पीड पर सफर कब' शीर्षक से समाचार प्रकाशित किया था। गतिमान एक्सप्रेस की 150, शताब्दी और राजधानी 130 किमी प्रति घंटा और वंदे भारत एक्सप्रेस 180 तक दौड़ने में सक्षम हैं, लेकिन 100 से अधिक औसत स्पीड किसी भी ट्रेन की नहीं आ रही है। बता दें कि दिल्ली-जम्मू के बीच दौड़ने वाली राजधानी की औसत स्पीड 64 तो दिल्ली-मुंबई के बीच दौडऩे वाली राजधानी की 89 और दिल्ली-झांसी के बीच दौडऩे वाली गतिमान की 90 है।

पिछली सरकारों पर निशाना

रेलमंत्री गोयल मौजूदा हालात के लिए पिछली सरकारों को दोषी मानते हैैं। उन्होंने कहा कि लालू प्रसाद यादव और पिछली सरकारों के समय निर्धारित मापदंड से अधिक ट्रेनों को पटरी पर उतार दिया गया। पटरियों के दोनों तरफ कंक्रीट की दीवार बनाने के लिए रेलवे बोर्ड ने आदेश के साथ बजट भी जारी कर दिया है। दीवार होने के बाद ही औसत स्पीड बढ़ेगी।

उन्होंने कहा कि कांग्रेस के राज में 2009 से 2014 तक हरियाणा में रेलवे इंफ्रास्ट्रक्चर पर 3500 करोड़ रुपये खर्च किए गए थे, जबकि भाजपा ने चार सालों में ही यहां 15 हजार करोड़ रुपये खर्च कर दिए। डेडिकेटेड फ्रैट कॉरिडोर परियोजना की शुरुआत 2007 में हुई, लेकिन कांग्रेस के राज में इस परियोजना के लिए सिर्फ 25 प्रतिशत जमीन का अधिग्रहण हुआ। भाजपा सरकार में साढ़े चार सालों में 40 हजार करोड़ रुपये का काम कराया। 2020 में प्रोजेक्ट पूरा होने के बाद मालगाडिय़ों की भी स्पीड बढ़ेगी। गोयल ने कहा कि रेलवे के इतिहास में पहली बार मुंबई से निजामुद्दीन के बीच पुश-पुल मोड समेत दोनों साइड में इंजन जोड़कर राजधानी चलाई गई।

हरियाणा की ताजा खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें

पंजाब की ताजा खबरें पढ़ने के लिए यहां क्लिक करें


Jagran.com अब whatsapp चैनल पर भी उपलब्ध है। आज ही फॉलो करें और पाएं महत्वपूर्ण खबरेंWhatsApp चैनल से जुड़ें
This website uses cookies or similar technologies to enhance your browsing experience and provide personalized recommendations. By continuing to use our website, you agree to our Privacy Policy and Cookie Policy.