अब बच्चों की क्वालिटी एजुकेशन की तरफ करना होगा फोकस : डीसी
शिक्षक का देश व समाज के निर्माण में एक अहम रोल होता है। शिक्षक द्वारा दिखाए गये सही मार्गदर्शन से ही विद्यार्थी बुलंदियों को छूता है। यह उद्गार डीसी ने पंचायत भवन अंबाला शहर के सभागार में शिक्षक दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि व्यक्त किए।
जागरण संवाददाता, अंबाला शहर : शिक्षक का देश व समाज के निर्माण में एक अहम रोल होता है। शिक्षक द्वारा दिखाए गये सही मार्गदर्शन से ही विद्यार्थी बुलंदियों को छूता है। यह उद्गार डीसी ने पंचायत भवन अंबाला शहर के सभागार में शिक्षक दिवस पर आयोजित कार्यक्रम में बतौर मुख्य अतिथि व्यक्त किए। उन्होंने 10 राजकीय विद्यालयों के मुखिया, एबीआरसी व अन्य शिक्षकों को स्कूलों में नामांकन बढ़ाने में उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए प्रशंसा पत्र व स्मृति चिन्ह देकर सम्मानित किया।
डीसी विक्रम सिंह ने कहा कि 5 सितंबर को भारत के प्रथम उप राष्ट्रपति व दूसरे राष्ट्रपति डा. सर्वपल्ली राधाकृष्णन के जन्मदिवस के अवसर पर हर वर्ष शिक्षक दिवस मनाया जाता है। उन्होंने कहा कि उन्हें भी राष्ट्रपति भवन में जाने का मौका मिला है और वहां परिसर में जो स्कूल बना है, उसमें डा. अब्दुल कलाम जब राष्ट्रपति थे तो वे वहां जाकर बच्चों से बातचीत करते थे कि विद्यार्थियों की पढ़ाई किस प्रकार चल रही है।
डीसी ने कहा कि अब शिक्षकों को बच्चों की क्वालिटी एजुकेशन की तरफ फोकस करना होगा। कोरोना काल में फिजिकल तौर पर बच्चों को नहीं पढ़ा सके, लेकिन अब उन्हें बेहतर समन्वय के साथ बच्चों को पढ़ाते हुए आगे बढ़ाने का काम करना है।
शिक्षकों के लिए सबसे बड़ी खुशी की बात यह होती है कि उनका पढ़ाया बच्चा किस मुकाम पर पहुंचा है। कई स्कूलों में करियर ओरिएंटेशन चार्ट लगाने का काम भी किया गया है। मौके पर जिला शिक्षा अधिकारी सुरेश कुमार ने कहा कि सरकारी स्कूलों में छात्रों की संख्या 77282 थी, जो अब बढ़कर 86421 हो चुकी है। मंच संचालन हिन्दी प्राध्यापिका ज्योति गर्ग ने संभाला। इस अवसर पर जिला मौलिक शिक्षा अधिकारी अनूप जाखड़, जिला परियोजना समन्वयक सुधीर कालड़ा, मुख्य सुशासन सहयोगी शरद आदि मौजूद रहे।