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कर्मियों के डेढ़ माह के वेतन के लिए बैठक में सेनेटरी इंस्पेक्टर और प्रधान में हाथापाई

जागरण संवाददाता, अंबाला शहर : आउटसोर्सिग के तहत लगे 100 कर्मचारियों के पिछले करीब दो साल से बकाया डे

By JagranEdited By: Published: Mon, 18 Jun 2018 08:50 PM (IST)Updated: Mon, 18 Jun 2018 08:50 PM (IST)
कर्मियों के डेढ़ माह के वेतन के लिए बैठक 
में सेनेटरी इंस्पेक्टर और प्रधान में हाथापाई
कर्मियों के डेढ़ माह के वेतन के लिए बैठक में सेनेटरी इंस्पेक्टर और प्रधान में हाथापाई

जागरण संवाददाता, अंबाला शहर : आउटसोर्सिग के तहत लगे 100 कर्मचारियों के पिछले करीब दो साल से बकाया डेढ़ माह के वेतन को लेकर नगर निगम में हुई बैठक में सोमवार को सेनेटरी इंस्पेक्टर और नगरपालिका संघ के प्रधान प्रदीप मचल में हाथापाई हो गई। इससे गुस्साए प्रदीप मचल ने इसकी लिखित शिकायत नगर निगम आयुक्त और शहरी विधायक असीम गोयल से कर दी। अपनी शिकायत में प्रदीप मचल ने इस मामले में अनुबंध आधार पर कार्यरत सेनेटरी इंस्पेक्टर राजकुमार को नौकरी से निष्कासित करने की मांग की।

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जानकारी के अनुसार आउटसोर्सिंग का ठेका वर्ष 2016 में राजीव गर्ग को दिया गया था। राजीव ने यह ठेका आगे रामरतन गर्ग को दे दिया। लेकिन इस ठेके को हाईकोर्ट में चैलेंज कर दिया गया था। हाईकोर्ट ने याचिकाकर्ता द्वारा लगाए गए आरोप सही साबित हुए और ठेका रद कर दिया। अक्टूबर 2016 में ठेका रद हुआ था, लेकिन तब से लेकर आज तक कर्मचारियों की डेढ़ माह की तनख्वाह और उनके करीब छह माह के पीएफ को ठेकेदार ने उन्हें नहीं दिया, जबकि नगर निगम से सारा पैसा वसूल चुका है। इसी मामले को लेकर प्रधान और सेनेटरी इंस्पेक्टर में हाथापाई हुई। नगर निगम में राजेंद्र मेहता के कार्यालय में इस मामले को लेकर सुबह बैठक बुलाई गई। बैठक में एमई, जेई और क्लर्क सहित कई कर्मी मौजूद थे। इसी दौरान ठेकदार द्वारा वेतन न दिए जाने को लेकर बहस हो गई।

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ठेकेदार रामरतन गर्ग की दुकान पर ताला जड़ने के लिए कोरे कागज में कर्मियों से साइन करवाए जा रहे थे। मैंने इसका विरोध किया। कहा कि कानूनी लड़ाई लड़ी जाएगी दुकान पर ताला लगाना सही नहीं है। इसी बात को लेकर सेनेटरी इंस्पेक्टर ने बैठक में ही मेरे साथ हाथापाई की। मैंने इसकी शिकायत आयुक्त साहब व विधायक असीम गोयल से कर दी है। मुझे न्याय नहीं मिला तो हम आंदोलन करने पर मजबूर हो जाएंगे।

प्रदीप मचल, प्रधान नगरपालिका सफाई कर्मचारी संघ।

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लगाए गए आरोप बेबुनियाद हैं। हम रामरतन गर्ग से मिले थे। रामरतन ने कहा कि उसका तो ठेका ही नहीं था। ठेकेदार तो राजीव था। हम राजीव से मिले लेकिन उसने भी वेतन देने से इंकार कर दिया। इसी पर कार्रवाई कराने के लिए लिखित रूप से पत्र लिखा था और कार्रवाई के लिए हस्ताक्षर करवाए जा रहे थे। कोई हाथापाई नहीं की गई।

राजकुमार, सेनेटरी इंस्पेक्टर।

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कर्मचारियों का डेढ़ माह को वेतन बकाया है। उसे दिलाने के प्रयास जारी हैं। प्रदीप मचल ने जो शिकायत दी है उसकी जांच कराई जाएगी।

धर्मबीर ¨सह, आयुक्त नगर निगम।


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