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कोरोना काल में कपूरथला कोच फैक्‍टरी ने 40 फीसद बढ़ाया रेल डिब्बों का उत्पादन

कोरेाना संकट के दौरान पंजाब के कपूरथला कोच फैक्‍टरी में उल्‍लेखनीय कार्य हुआ। इस दौरान कपूरथला रेल कोच फैक्टरी में रेल डिब्‍बों का उत्‍पादन 40 फीसद बढ़ गया। यह उपलब्धि कोरोना के प्रतिबंधों व कर्मचारियों की कम संख्‍या के बावजूद हासिल की गई है।

By Sunil Kumar JhaEdited By: Published: Fri, 23 Oct 2020 06:58 AM (IST)Updated: Fri, 23 Oct 2020 06:58 AM (IST)
कोरोना काल में कपूरथला कोच फैक्‍टरी ने 40 फीसद बढ़ाया रेल डिब्बों का उत्पादन
पंजाब का कपूरथला रेल कोच फैक्‍टरी। (फाइल फोटो)

अंबाला, [दीपक बहल]। भारतीय रेल नेटवर्क के कर्मचारियों ने कोरोना काल में जहां माल ढुलाई में रिकार्ड बनाया, वहीं अब रेल डिब्बों के उत्पादन में भी बढ़ोतरी दर्ज कराई है। कोरोना काल में रेलकर्मियों ने बुलंद हौसले के साथ 40 फीसद से अधिक रेल डिब्बों का उत्पादन किया। हालांकि कोरोना की जंग लड़ते हुए एक रेल कर्मी की मौत भी हो गई, बावजूद कर्मचारियों के हौसलों में कमी नहीं आई। वर्ष 2019-20 में अप्रैल से सितंबर तक जहां ¨लक हॉफमैन बुश (एलएचबी) कोच 366 थी, वहीं वर्ष 2020-21 में यह आंकड़ा बढ़कर 601 पर पहुंच गया। पंजाब के कपूरथला रेल कोच फैक्‍टरी के कर्मचारियों ने इस दौरान 40 फीसद अधिक रेल कोचों का उत्‍पादन किया।

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रेल कोच फैक्टरी ने पिछले साल की तुलना में 235 एलएचबी कोच अधिक बनाए, जुलाई में तोड़ा था रिकॉर्ड

इसमें रोचक पहलू यह है कि पिछले साल की तुलना में इस साल कोरोना संक्रमण के कारण बंदिशों और कर्मचारियों की कम संख्या के बीच यह उपलब्धि हासिल की गई है। पंजाब के कपूरथला स्थित रेल कोच फैक्टरी के महाप्रबंधक रविंद्र गुप्ता ने रेल कर्मचारियों की इस उपलब्धि पर पीठ भी थपथपाई थी। इस फैक्टरी में वर्ष 2002 से अब तक 6500 से अधिक एलएचबी कोच बना चुकी है।

50 फीसद कर्मियों को ही काम पर बुलाया

मार्च में लाकडाउन के बाद रेल कोच फैक्टरी को बंद कर दिया गया था। यहां पर करीब 6500 कर्मचारी हैं। फैक्टरी खुलने के बाद 50 फीसद कर्मचारियों को काम पर बुलाया गया। 22 अप्रैल तक कोच फैक्टरी बंद रही और 23 अप्रैल को छूट मिलते ही 30 अप्रैल तक दो कोच तैयार कर दिए गए। 15 मई तक 3200 से 3300 कर्मचारी ड्यूटी पर आ रहे थे, जिसके चलते महज 48 कोच ही तैयार किए जा सके, जबकि पिछले साल यह आंकड़ा 63 का था। हालांकि कम कोच बनने के पीछे भी रेल कर्मचारियों की सराहना की गई, क्योंकि पचास फीसद स्टाफ ने 48 कोच तैयार कर दिए।

अनलाक वन शुरू होते ही पकड़ी रफ्तार

अनलाक वन शुरू होते ही कोच उत्पादन ने रफ्तार पकड़ ली। जून में कोच बनाने की संख्या 107 पहुंच गई, जबकि पिछले साल यह आंकड़ा 61 ही था। इसी तरह जुलाई में 151, जबकि पिछले साल का आंकड़ा इससे पचास फीसद कम था। जुलाई 2019-20 में महज 65 कोच ही बन पाए थे। अगस्त 2019-20 में 74 तो अगस्त 2020-21 में 141 कोच तैयार हुए। साल 2020-21 सितंबर माह में पिछले सारे रिकार्ड तोड़ते हुए 152 कोच बनाए गए। यह आंकड़ा पिछले साल की तुलना में दोगुना से अधिक रहा।

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'' रेल कर्मचारियों ने सराहनीय कार्य किया है। रेल यात्रियों को इन कोच में यात्रा करने वाले यात्रियों को काफी सुविधाएं मिलेंगी। लंबी दूरी की यात्रा राहत भरी होगी। इसमें सुरक्षा उपाय भी कहीं अधिक हैं।

                                                                    - रविंद्र गुप्ता, महाप्रबंधक रेल कोच फैक्टरी, कपूरथला।                     


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