अंबाला के ब्राह्माण माजरा में शिफ्ट होंगी डेयरियां
अंबाला छावनी में घर-घर में चल रही डेयरियां अब ब्राह्माण माजरा में शिफ्ट होंगी। दो साल बाद लंबे इंतजार के बाद ब्राह्माण माजरा में नगर परिषद ने पांच एकड़ जमीन फाइनल कर ली है।
जागरण संवाददाता, अंबाला: अंबाला छावनी में घर-घर में चल रही डेयरियां अब ब्राह्माण माजरा में शिफ्ट होंगी। दो साल बाद लंबे इंतजार के बाद ब्राह्माण माजरा में नगर परिषद ने पांच एकड़ जमीन फाइनल कर ली है। हालांकि इस जमीन का अभी रेट फाइनल होना बाकी। इस पांच एकड़ जमीन में डेयरियों को शिफ्ट किया जाना है। रेट फाइनल होने के बाद कंपनी को निर्माण कार्य के लिए टेंडर अलाट किया जाएगा। जिसके बाद गोशाला का काम शुरू होगा।
डेयरियों के बाहर शिफ्ट होने से गंदगी की समस्या से निजात मिलेगी। बता दें कि अंबाला छावनी के घर-घर में डेयरियां चल रही है। डेयरियों से निकलने वाला मलबा नाले और नालियों में बहाया जाता है। इससे गंदगी कम होने के बजाए बढ़ रही है।
----------------- नगर परिषद ने सरकार से मांगी जमीन
प्रदेश के गृहमंत्री अनिल विज ने करीब दो साल पहले नगर परिषद के अधिकारियों को डेयरियों को बाहर ले जाने के निर्देश दिए थे। दो साल से नगर परिषद गोशाला के लिए जमीन तलाशता रहा। उगाड़ा-बाड़ा में भी जमीन देखी। मगर वहां पर डिफेंस की लैंड होने के कारण यह प्रोजेक्ट अटक गया। उसके बाद नगर परिषद ने सरकार को पत्र लिखकर जमीन की मांग की। जिसके बाद ब्राह्माण माजरा में जमीन दी गई।
-------------- बेसहारा पशुओं को मिलेगा ठिकाना
ब्राह्माण माजरा में गोशाला बनने के बाद बेसहारा पशुओं को भी ठिकाना मिल सकेगा। अंबाला छावनी की सड़कों पर घूम रहे बेसहारा पशुओं को गोशाला में शिफ्ट किया जाएगा। अंबाला छावनी के रामबाग रोड पर गोशाला बनी है, लेकिन इसमें एक हजार से अधिक पशु हैं। नगर परिषद ने पहले इस गोशाला में बेसहारा पशुओं को रखा था, मगर जगह कम होने के कारण पशुओं को वापस खुले में छोड़ दिया गया।
नगर परिषद के सचिव राजेश कुमार का कहना है कि डेयरियों को शिफ्ट करने के लिए ब्राह्माण माजरा में जमीन की तलाश कर ली गई है। इस जमीन का रेट फाइनल होने के बाकी है।