Asiatic Lion In Gujarat: गुजरात में एशियाई शेरों की संख्या 674 हुई, पीएम मोदी ने दी बधाई
Asiatic Lion. एशियाई शेरों की एक मात्र शरणस्थली सासण गीर जंगल में साल 1990 में 284 शेर हुआ करते थे जो अब बढ़कर 674 हो गए हैं
अहमदाबाद, शत्रुघ्न शर्मा। Asiatic Lion. गुजरात में एशियाई शेरों की संख्या 674 हो गई है। बीते तीन दशक में शेरों की संख्या में लगातार इजाफा हो रहा है। सौराष्ट्र के करीब 10 जिलों के 30 हजार वर्ग किलोमीटर क्षैत्रफल में एशियाई शेरों की दहाड़ गूंजती है।
इस बीच, पीएम नरेंद्र मोदी ने ट्वीट में लिखा किगुजरात के गिर जंगल में एशियाई शेरों की आबादी में करीब 29 फीसद की बढ़ोतरी हुई है। उनके रहने के दायरे में भी 36 फीसद का इजाफा हुआ है। पीएम ने लिखा कि गुजरात के लोग और वे सभी लोग बधाई के पात्र हैं, जिनके योगदान यह उपलब्धि हासिल हुई है।
एशियाई शेरों की एक मात्र शरणस्थली सासण गीर जंगल में साल 1990 में 284 शेर हुआ करते थे जो अब बढ़कर 674 हो गए हैं, वहीं संरक्षित वन का क्षेत्रफल भी 6600 वर्ग किमी से 30 हजार वर्ग किमी हो गया है। वर्ष 2015 में राज्य में एशियाई शेरों की संख्या 523 थी। वन विभाग की ओर से जारी आंकड़ों के मुताबिक सौराष्ट्र के दस जिले गीर सोमनाथ, अमरेली, भावनगर, राजकोट, जूनागढ़, पोरबंदर, जामनगर, बोटाद, मोरबी व सुरेंद्रनगर तक फैले गीर जंगल में 161 नर शेर, 260 मादा शेर, 45 अवयस्क नर, 49 अवयस्क मादा तथा 137 बच्चे हैं तथा 22 की पहचान नहीं हो सकी।
गुजरात सरकार के वन विभाग की ओर से हर पांच साल में शेरों की गणना की जाती है। इस साल 5-6 जून को शेरों की गणना होनी थी, लेकिन कोरोना महामारी के चलते यह नहीं हो पाया लेकिन वन विभाग ने ब्लॉक काउन्ट मेथड व लेंडस्केप एनालिसिस के जरिए शेरों की यह संख्या निकाली जिसमें वन विभाग के करीब 1400 कर्मचारी शामिल हुए। जीपीएस, रेडियो कॉलर आदि की भी इसमें मदद ली गई। सरकार ने बताया कि लोकभागीदारी, आधुनिक तकनीक तथा कैनिन डिस्टेंम्पर वायरस (सीडीवी) वैक्सीन के आयात करने से भी शेरों की मौत कम हुई, जिससे उनकी संख्या में बढ़ोतरी हुई।
वर्ष शेरों की संख्या
1990- 284
2001- 327
2010- 411
2020- 674