औद्योगिक इकाइयों में 85 फीसद काम स्थानीय युवाओं को देने का दबाव
गुजरात सरकार औद्योगिक इकाइयों को नोटिस देकर 85 फीसद काम स्थानीय युवाओं को देने का दबाव बना रही है।
अहमदाबाद, जेएनएन। गुजरात में रोजी-रोटी व नौकरी करने आए परप्रांत के लोगों खिलाफ जहां एक ओर अभियान चल रहा है। सरकार व पुलिस उनकी सुरक्षा का भरोसा देकर उन्हें रोकने के प्रयास कर रहे हैं, वहीं दूसरी ओर गुजरात सरकार औद्योगिक इकाइयों को नोटिस देकर 85 फीसद काम स्थानीय युवाओं को देने का दबाव बना रही है। सुजुकी मोटर्स सहित कई कंपनियों को सरकार ने एक परिपत्र जारी कर इस संबंध में जानकारी देने को कहा है।
गुजरात श्रम व रोजगार मंत्रालय के अतिरिक्त मुख्य सचिव विपुल मित्रा के मुताबिक, राज्य सरकार गुजरात के युवाओं को औद्योगिक इकाइयों में रोजगार व नौकरी दिलाने के लिए राज्य सरकार पूर्व मुख्यमंत्री केशुभाई पटेल के वर्ष 1995 में लाए गए एक कानून को अमल में ला रही है। इस संबंध में मसौदा तैयार है तथा जल्द ही सरकार इसे मंजूरी देने वाली है, ताकि सरकारी व गैर सरकारी औद्योगिक इकाइयों में 85 प्रतिशत स्थानीय युवाओं को काम देने को सुनिश्चित किया जा सके।
मेहसाणा के बेचराजी में चल रहे सुजुकी के प्लांट में फिलहाल करीब 50 फीसद स्थानीय युवाओं को काम दिया गया है, जिसकी संख्या धीरे-धीरे बढ़ाई जाएगी। कंपनी ने अपने ईमेल के जरिए भेजे संदेश में ऐसी जानकारी दी है। मित्रा के मुताबिक, सरकार की ओर से एक सर्वे कर स्थानीय युवाओं को 85 फीसद नौकरी व रोजगार देने के संबंध में रिपोर्ट तैयार की जाएगी।
श्रम राज्यमंत्री दिलीप ठाकोर के मुताबिक, सरकार निजी कंपनियों को जमीन, पानी, बिजली सस्ते दामपर उपलब्ध कराती है तथा कम ब्याज पर लोन भी देती है ऐसे में कंपनियां स्थानीय युवाओं को रोजगार व नौकरी में प्राथमिकता दें, इसे सुनिश्चित करना सरकार व कंपनी की जिम्मेदारी है।