यूएफा चैंपियंस लीग के फाइनल में पीएसजी को म्यूनिख से मिलेगी कड़ी टक्कर, आज होगा महामुकाबला
पीएसजी रविवार को यूएफा चैंपियंस लीग के फाइनल में पांच बार के चैंपियन जर्मन क्लब बायर्न म्यूनिख की कड़ी चुनौतियों का सामना करने उतरेगा।
लिस्बन, एपी। फ्रांस का फुटबॉल क्लब पेरिस सेंट जर्मेन (पीएसजी) रविवार को यूएफा चैंपियंस लीग के फाइनल में पांच बार के चैंपियन जर्मन क्लब बायर्न म्यूनिख की कड़ी चुनौतियों का सामना करने उतरेगा। दोनों के पास अच्छे खिलाडि़यों की भरमार है जो इस सत्र में अच्छे फॉर्म में हैं।
नेमार पर खुद को साबित करने का दबाव : दुनिया के सबसे महंगे फुटबॉलर नेमार के पास फाइनल में खुद को साबित करने का बड़ा मौका होगा। पिछले दो सत्र में वह चोट से परेशान रहे थे और उन पर यह साबित करने का दबाव होगा कि पीएसजी ने उन्हें बार्सिलोना से तीन साल पहले रिकॉर्ड कीमत पर टीम से जोड़कर कोई गलती नहीं की थी।
डिफेंस बनाम आक्रामक : इस सत्र में पीएसजी का डिफेंस सबसे मजबूत रहा जिसे किसी भी टीम को भेदना आसान नहीं रहा है तो वहीं, म्यूनिख ने ज्यादातर मैच आक्रामक अंदाज में खेले हैं जिसका असर स्पेनिश दिग्गज क्लब बार्सिलोना के खिलाफ देखने को मिला था जब टीम ने 8-2 से क्वार्टर फाइनल मुकाबला जीता था। इस मैच में भी सर्वश्रेष्ठ आक्रमण के सामने सर्वश्रेष्ठ डिफेंस होगा।
नेमार बनाम लेवानदोवस्की : नेमार को यह भी साबित करना होगा कि वह बड़े मैच के खिलाड़ी हैं क्योंकि रॉबर्ट लेवानदोवस्की के होने से म्यूनिख को हराना फ्रांस की इस टीम के लिए आसान नहीं रहेगा। लेवानदोवस्की का नाम भले ही लियोन मेसी और क्रिस्टियानो रोनाल्डो के बाद लिया जाता हो लेकिन उन्होंने अपनी टीम को फाइनल तक पहुंचाया है। ब्राजील के स्ट्राइकर नेमार लिस्बन में हुए क्वार्टर फाइनल में अटलांटा और सेमीफाइनल में लीप्जिग के खिलाफ कोई गोल नहीं कर पाए जबकि कुछ मौकों पर उन्हें गोल करने का मौका भी मिला। म्यूनिख जैसी मजबूत टीम के खिलाफ उन्हें इस चीज पर ध्यान देना होगा।
वह टीम को खिताब दिलाकर साबित कर सकते हैं कि क्लब ने उन्हें 16 अरब रुपये में खरीदकर कोई गलती नहीं की है। वहीं, पोलैंड के लेवानदोवस्की इस सत्र में शानदार फॉर्म में चल रहे हैं। उन्होंने बार्सिलोना के खिलाफ जीत में एक गोल किया तो फिर अंतिम चार में ल्योन के खिलाफ गोल दाग दिया। उनकी फॉर्म ने टुकेल के लिए सिरदर्दी बढ़ा दी है। इसके अलावा पीएसजी के पास कायलियन एमबापे और एंजेल डि मारिया हैं जो कई मौकों पर टीम को जीत दिलाने में आगे रहे हैं तो वहीं, म्यूनिख के पास सर्ज नाबरी और इवान पेरेसिक हैं जो किसी भी टीम के डिफेंस को भेदने में माहिर हैं। नाबरी ने ल्योन के खिलाफ सेमीफाइनल में 3-0 की जीत में दो गोल किए थे। अब मैनेजर फ्लिक को उनसे ऐसे ही प्रदर्शन की आस रहेगी।
प्रशंसकों को रोकने के लिए अतिरिक्त सुरक्षा : पीएसजी अगर यह खिताब जीत जाता है तो वह ऐसा करने वाला फ्रांस का दूसरा क्लब होगा। हालांकि यह मैच लिस्बन में हो रहा है लेकिन इस बड़े मैच को देखते हुए पेरिस में चैंप्स एलसीस स्टेडियम के बाहर 3000 पुलिसकर्मियों को लगाया गया है जिससे कोई भी प्रशंसक टीम की जीत के बाद हंगामा नहीं मचा सके।
नंबर गेम -
- 1993 में मार्सेले ने चैंपियंस लीग का खिताब जीता था और वह फ्रांस की तरफ ये खिताब जीतने वाला इकलौता क्लब है।
- 8 बार चैंपियंस लीग में म्यूनिख और पीएसजी आमने-सामने हुए हैं जिसमें पीएसजी पांच बार मैच जीतने में सफल रहा है जबकि तीन मे उसे हार झेलनी पड़ी है।
- 2017 में म्यूनिख ने चैंपियंस लीग के ग्रुप स्टेज के मुकाबले में पीएसजी को 3-1 से शिकस्त दी थी।
- 15 गोल नौ मैचों में चैंपियंस लीग के इस सत्र में कर चुके हैं बायर्न म्यूनिख के रॉबर्ट लेवानदोवस्की। किसी खिलाड़ी द्वारा लीग के इस सत्र में यह सबसे ज्यादा गोल हैं। जबकि छह गोल करने में उन्होंने मदद की।
- 55 गोल 46 मैचों में इस सत्र में लेवानदोवस्की ने दागे हैं।
- 3 गोल छह मैचों में लीग के इस सत्र में कर पाए हैं पीएसजी के नेमार। इस दौरान उन्होंने चार गोल करने में मदद भी की। इसके अलावा उन्होंने इस सत्र में 26 मैचों में सिर्फ 19 गोल किए हैं।
-2016 में सेविया ने पिछला यूरोपा लीग का खिताब जीता था। तब स्पेनिश टीम ने 2014 और 2015 के बाद लगातार तीसरी बार यह खिताब अपने नाम किया था।
- 30 साल में पहली बार यूरोपा लीग के फाइनल में सबसे कम समय 12 मिनट के अंदर दोनों टीमों ने 1-1 गोल किया। इससे पहले 1990 में जुवेंटस और फॉरेंटिना के मुकाबले में 10 मिनट में 1-1 हुए थे।